टारिंग की गुणवत्ता पर उठे सवाल
राष्ट्रीय उच्च मार्ग नेशनल हाइवे-205 शालाघाट-दाड़लाघाट-भराड़ीघाट सड़क में पिछले दिनों हुई टारिंग दोबारा सड़क पूर्वावस्था में आने से विभाग की पोल खुलती नजर आ रही है। एनएच द्वारा की गई टारिंग का दम कुछ दिनों में निकल गया। एनएच-205 पर जहां देखो वहां गड्ढे ही गड्ढे पड़ गए हैं। इन गड्ढों की हालत इतनी भयावह है कि इनसे बचकर चलते-चलते भी कई लोग बड़े हादसे का शिकार हो चुके हैं।ऐसा ही कई गड्ढे अम्बुजा चौक के साथ बीच मध्य में ऐसे बहुत से छोटे बड़े गड्ढे है जो कभी भी किसी हादसे का कारण बन सकते है। वही बस स्टैंड दाड़लाघाट में पड़ा एक गड्ढा ऐसे स्थान पर हर क्षण हादसों को न्योता दे रहा है जो कंस्वाला रोड़ का बिल्कुल टर्निंग प्वाइंट है। इस पॉइंट पर हर समय गाड़ियां इधर उधर जाते समय इस गड्ढे में जा फंसती है और जाम की स्थिति बन जाती है। हैरानी की बात तो यह है कि यह सब देख कर विभाग के अधिकारियों पर जब कोई असर नहीं हुआ तो यह देखकर स्थानीय निवासी रेम चन्द व समाजसेवक अनिल गुप्ता ने इन गड्ढों को देखा तो उनसे रहा नही गया ओर इनके साथ अम्बुजा चौक में ट्रैफिक व्यवस्था में तैनात कॉन्स्टेबल चद्रशेखर से भी रहा नही गया तो अनिल गुप्ता व रेम के साथ पुलिस कांस्टेबल चद्रशेखर ने भी इनका सहयोग करते हुए सड़क में गहरे गड्ढे को भरने निकल पड़े,इन्होंने दाड़लाघाट अम्बुजा चौक व बस अड्डे के पास सहित अन्य स्थानों पर पड़े खतरनाक गड्ढे को पथरों से भर दिया ताकि किसी वाहन या दोपहिया वाहन की दुर्घटना न हो सके।लोगो के अनुसार सरकार तो इस तरफ कोई ध्यान नही दे रही है,वही एक आम नागरिक व पुलिस जवान ने इस काम को अंजाम दिया जिसकी लोग प्रशंसा कर रहे हैं।
