*कांगड़ा को मिल सकता है विलम्ब का मीठा फल सुक्खू कैबिनेट में अब तक जिला कांगड़ा को मनमाफिक अधिमान नहीं मिला है। कांगड़ा संसदीय क्षेत्र के लिहाज से भी देखे तो अब तक हिस्से में सिर्फ एक मंत्री पद आया है। हालांकि विधानसभा अध्यक्ष की कुर्सी, दो सीपीएस और कई कैबिनेट रैंक जरूर मिले है, लेकिन जो वजन मंत्री पद में है वो भला और कहाँ ? बहरहाल सवाल ये है कि जिस संसदीय क्षेत्र ने कांग्रेस की झोली में 17 में से 12 सीटें डाली, क्या सत्ता में आने के बाद कांग्रेस उसे हल्के में ले रही है, या इस इन्तजार का मीठा फल मिलने वाला है। माहिर तो ये ही मान रहे है कि जल्द कांगड़ा के इस विलम्ब की पूरी भरपाई होगी। ऐसा होना लाजमी भी है क्यों कि लोकसभा चुनाव में ज्यादा से ज्यादा एक साल का वक्त है और यहाँ हार की हैट्रिक लगा चुकी कांग्रेस कोई चूक नहीं करना चाहेगी। अलबत्ता कांगड़ा को मंत्री पद मिलने में कुछ देर जरूर हो रही है लेकिन खुद मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू का ये कहना कि वे भी कांगड़ा के ही है, उम्मीद की बड़ी वजह है। कांगड़ा को टूरिज्म कैपिटल बनाने का सीएम का विज़न हो या आईटी पार्क जैसे अधर में लटके प्रोजेक्ट्स में तेजी लाना, ये दर्शाता है कि सीएम सुक्खू कांगड़ा को लेकर किसी तरह की चूक करना नहीं चाहते। सीएम का नौ दिन का कांगड़ा दौरा भी इसकी तस्दीक करता है। सरकार के पिटारे में कांगड़ा के लिए न योजनाओं की कोई कमी नहीं दिखती। ये ही कारण है कि 2024 से पहले कांगड़ा में कांग्रेस जोश में है। इस बीच मंत्री पद भरने को लेकर फिर सुगबुगाहट तेज हुई है। माना जा रहा है कि कुल तीन रिक्त मंत्री पदों में से दो कांगड़ा के हिस्से आएंगे। इनमें एक ब्राह्मण हो सकता है और एक एससी। ऐसे में एक युवा राजपूत चेहरा भी डार्क हॉर्स है। बहरहाल अंदर की बात ये बताई जा रही है कि सब लगभग तय है और जल्द कांगड़ा को दो मंत्री पद मिलेंगे। प्रदेश की सियासत अपनी जगह पर 2024 में कांग्रेस के लिए कांगड़ा फ़तेह करना आसान नहीं होने वाला है। कई चुनौतियों के बीच कांग्रेस के सामने सबसे बड़ी चुनौती है एक दमदार चेहरा। तीन चुनाव हार चुकी कांग्रेस को ऐसा चेहरा चाहिए जो जातीय, क्षेत्रीय और पार्टी की भीतरी राजनीति के लिहाज से संतुलन लेकर आएं। पिछले तीन चुनावों में पार्टी ने यहाँ से ओबीसी कार्ड खेला है, पर नतीजे प्रतिकूल रहे है। ऐसे में पार्टी को फिर सोचने की जरुरत जरूर है। बताया जा रहा ही कि पार्टी अभी से इस पर चिंतन -मंथन में जुटी है। खुद सीएम सुक्खू चाहते है कि जो भी चेहरा हो, उसे पर्याप्त समय मिले। चर्चा में कई वरिष्ठ नाम है जिनमें पूर्व सांसद और मंत्री चौधरी चंद्र कुमार, पूर्व मंत्री और विधायक सुधीर शर्मा, आशा कुमारी जैसे नाम शामिल है। पर संभव है कि इस बार पारम्परिक कास्ट डायनामिक्स को ताक पर रख पार्टी किसी युवा चेहरे को मैदान में उतारे। सुक्खू सरकार के आईटी सलाहकार गोकुल बुटेल भी ऐसा ही एक विकल्प हो सकते है। भाजपा से कौन होगा चेहरा ! 2009 से लेकर अब तक कांगड़ा लोकसभा सीट पर भाजपा लगातार जीत दर्ज करने में कामयाब रही है। पिछले लोकसभा चुनाव में न केवल हिमाचल में बल्कि पूरे देश में भी सबसे ज्यादा मत प्रतिशत हासिल करने का रिकॉर्ड कांगड़ा संसदीय क्षेत्र के सांसद किशन कपूर के नाम रहा था। 7,25,218 मत प्राप्त कर किशन कपूर लोकसभा पहुंचे, लेकिन इस बार सियासी समीकरण कुछ बदलते नज़र आ रहे है। दरअसल 2022 के विधानसभा चुनाव में भी कांगड़ा संसदीय क्षेत्र में भाजपा की परफॉरमेंस बेहद खराब रही है। इस संसदीय क्षेत्र की 17 में से सिर्फ पांच सीटें ही भाजपा जीत पाई है। ऐसे में क्या पार्टी चेहरा बदलेगी इसे लेकर कयासों का दौर जारी है। संभावित उम्मीदवारों की फेहरिस्त में मौजूदा सांसद किशन कपूर के अलावा कई और नाम चर्चा में है। इस लिस्ट में गद्दी समुदाय से धर्मशाला के पूर्व विधायक विशाल नेहरिया का नाम भी चर्चा में है। इसके अलावा कांग्रेस से भाजपा में शामिल हुए पवन काजल का नाम भी लिस्ट में है। अब देखना ये होगा कि भाजपा इस दफा कांगड़ा के दुर्ग को फ़तेह करने के लिए किस पर दांव खेलती है। कब कौन बना सांसद 1977 दुर्गा चंद भारतीय लोक दल 1980 विक्रम चंद महाजन कांग्रेस 1984 चंद्रेश कुमारी कांग्रेस 1989 शांता कुमार भाजपा 1991 डीडी खनौरिया भाजपा 1996 सत महाजन कांग्रेस 1998 शांता कुुमार भाजपा 1999 शांता कुमार भाजपा 2004 चंद्र कुमार कांग्रेस 2009 डॉ. राजन सुशांत भाजपा 2014 शांता कुमार भाजपा 2019 किशन कपूर भाजपा ReplyForward * कांगड़ा को मिल सकता है विलम्ब का मीठा फल सुनैना कश्यप। फर्स्ट वर्डिक्ट सुक्खू कैबिनेट में अब तक जिला कांगड़ा को मनमाफिक अधिमान नहीं मिला है। कांगड़ा संसदीय क्षेत्र के लिहाज से भी देखे तो अब तक हिस्से में सिर्फ एक मंत्री पद आया है। हालांकि विधानसभा अध्यक्ष की कुर्सी, दो सीपीएस और कई कैबिनेट रैंक जरूर मिले है, लेकिन जो वजन मंत्री पद में है वो भला और कहाँ ? बहरहाल सवाल ये है कि जिस संसदीय क्षेत्र ने कांग्रेस की झोली में 17 में से 12 सीटें डाली, क्या सत्ता में आने के बाद कांग्रेस उसे हल्के में ले रही है, या इस इन्तजार का मीठा फल मिलने वाला है। माहिर तो ये ही मान रहे है कि जल्द कांगड़ा के इस विलम्ब की पूरी भरपाई होगी। ऐसा होना लाजमी भी है क्यों कि लोकसभा चुनाव में ज्यादा से ज्यादा एक साल का वक्त है और यहाँ हार की हैट्रिक लगा चुकी कांग्रेस कोई चूक नहीं करना चाहेगी। अलबत्ता कांगड़ा को मंत्री पद मिलने में कुछ देर जरूर हो रही है लेकिन खुद मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू का ये कहना कि वे भी कांगड़ा के ही है, उम्मीद की बड़ी वजह है। कांगड़ा को टूरिज्म कैपिटल बनाने का सीएम का विज़न हो या आईटी पार्क जैसे अधर में लटके प्रोजेक्ट्स में तेजी लाना, ये दर्शाता है कि सीएम सुक्खू कांगड़ा को लेकर किसी तरह की चूक करना नहीं चाहते। सीएम का नौ दिन का कांगड़ा दौरा भी इसकी तस्दीक करता है। सरकार के पिटारे में कांगड़ा के लिए न योजनाओं की कोई कमी नहीं दिखती। ये ही कारण है कि 2024 से पहले कांगड़ा में कांग्रेस जोश में है। इस बीच मंत्री पद भरने को लेकर फिर सुगबुगाहट तेज हुई है। माना जा रहा है कि कुल तीन रिक्त मंत्री पदों में से दो कांगड़ा के हिस्से आएंगे। इनमें एक ब्राह्मण हो सकता है और एक एससी। ऐसे में एक युवा राजपूत चेहरा भी डार्क हॉर्स है। बहरहाल अंदर की बात ये बताई जा रही है कि सब लगभग तय है और जल्द कांगड़ा को दो मंत्री पद मिलेंगे। प्रदेश की सियासत अपनी जगह पर 2024 में कांग्रेस के लिए कांगड़ा फ़तेह करना आसान नहीं होने वाला है। कई चुनौतियों के बीच कांग्रेस के सामने सबसे बड़ी चुनौती है एक दमदार चेहरा। तीन चुनाव हार चुकी कांग्रेस को ऐसा चेहरा चाहिए जो जातीय, क्षेत्रीय और पार्टी की भीतरी राजनीति के लिहाज से संतुलन लेकर आएं। पिछले तीन चुनावों में पार्टी ने यहाँ से ओबीसी कार्ड खेला है, पर नतीजे प्रतिकूल रहे है। ऐसे में पार्टी को फिर सोचने की जरुरत जरूर है। बताया जा रहा ही कि पार्टी अभी से इस पर चिंतन -मंथन में जुटी है। खुद सीएम सुक्खू चाहते है कि जो भी चेहरा हो, उसे पर्याप्त समय मिले। चर्चा में कई वरिष्ठ नाम है जिनमें पूर्व सांसद और मंत्री चौधरी चंद्र कुमार, पूर्व मंत्री और विधायक सुधीर शर्मा, आशा कुमारी जैसे नाम शामिल है। पर संभव है कि इस बार पारम्परिक कास्ट डायनामिक्स को ताक पर रख पार्टी किसी युवा चेहरे को मैदान में उतारे। सुक्खू सरकार के आईटी सलाहकार गोकुल बुटेल भी ऐसा ही एक विकल्प हो सकते है। भाजपा से कौन होगा चेहरा ! 2009 से लेकर अब तक कांगड़ा लोकसभा सीट पर भाजपा लगातार जीत दर्ज करने में कामयाब रही है। पिछले लोकसभा चुनाव में न केवल हिमाचल में बल्कि पूरे देश में भी सबसे ज्यादा मत प्रतिशत हासिल करने का रिकॉर्ड कांगड़ा संसदीय क्षेत्र के सांसद किशन कपूर के नाम रहा था। 7,25,218 मत प्राप्त कर किशन कपूर लोकसभा पहुंचे, लेकिन इस बार सियासी समीकरण कुछ बदलते नज़र आ रहे है। दरअसल 2022 के विधानसभा चुनाव में भी कांगड़ा संसदीय क्षेत्र में भाजपा की परफॉरमेंस बेहद खराब रही है। इस संसदीय क्षेत्र की 17 में से सिर्फ पांच सीटें ही भाजपा जीत पाई है। ऐसे में क्या पार्टी चेहरा बदलेगी इसे लेकर कयासों का दौर जारी है। संभावित उम्मीदवारों की फेहरिस्त में मौजूदा सांसद किशन कपूर के अलावा कई और नाम चर्चा में है। इस लिस्ट में गद्दी समुदाय से धर्मशाला के पूर्व विधायक विशाल नेहरिया का नाम भी चर्चा में है। इसके अलावा कांग्रेस से भाजपा में शामिल हुए पवन काजल का नाम भी लिस्ट में है। अब देखना ये होगा कि भाजपा इस दफा कांगड़ा के दुर्ग को फ़तेह करने के लिए किस पर दांव खेलती है। कब कौन बना सांसद 1977 दुर्गा चंद भारतीय लोक दल 1980 विक्रम चंद महाजन कांग्रेस 1984 चंद्रेश कुमारी कांग्रेस 1989 शांता कुमार भाजपा 1991 डीडी खनौरिया भाजपा 1996 सत महाजन कांग्रेस 1998 शांता कुुमार भाजपा 1999 शांता कुमार भाजपा 2004 चंद्र कुमार कांग्रेस 2009 डॉ. राजन सुशांत भाजपा 2014 शांता कुमार भाजपा 2019 किशन कपूर भाजपा ReplyForward
वो लोग जो बेहतर की उम्मीद में साथ छोड़ कर गए थे, शायद आज वापस हाथ पकड़ने की सोचते होंगे। हम बात कर रहे है कांग्रेस के उन तमाम नेताओं की, जिनका पूर्वानुमान एक दम गलत साबित हुआ। वो नेता जो चुनाव से पहले सत्ता में आती हुई कांग्रेस का साथ छोड़ सत्ता से बाहर होती हुई भाजपा के खेमे में जा मिले थे। इस फेहरिस्त में काँगड़ा से विधायक पवन काजल, नालागढ़ से पूर्व विधायक लखविंदर राणा और हर्ष महाजन मुख्य तौर पर शामिल है। ये वो नेता है जिनका कांग्रेस छोड़ भाजपा में शामिल होना पार्टी के लिए बड़ा झटका माना जा रहा था, मगर परिणाम सामने आए तो झटका इन्हें ही लग गया। सर्विदित है कि अगर ऐसा न हुआ होता तो निजी तौर पर आज इनके लिए सियासी परिस्थितियां बेहतर हो सकती थी। हिमाचल प्रदेश में सत्ता की चाबी रखने वाले कांगड़ा जिले के ओबीसी नेता पवन काजल किसी समय कांग्रेस पार्टी की आंखों का 'काजल' माने जाते थे। मगर विधानसभा चुनाव से साढ़े 3 महीने पहले भाजपा ने कांग्रेस के इस 'काजल' को अपनी आंखों का 'नूर' बना लिया था। यूँ तो काजल भाजपा से ही कांग्रेस में आए थे, मगर काजल की ऐसे भाजपा में वापसी होगी ये किसी ने नहीं सोचा था। दरअसल पवन काजल ने वर्ष 2012 में भाजपा का टिकट नहीं मिलने पर बगावत करते हुए बतौर निर्दलीय कैंडिडेट चुनाव लड़ा और जीत दर्ज की। विधानसभा चुनाव में तब पवन काजल पहली बार जीते थे। पवन काजल के विधानसभा चुनाव जीतने के बाद तत्कालीन मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह उन्हें कांग्रेस में ले आए। वीरभद्र सिंह ने ही वर्ष 2017 के विधानसभा चुनाव में पवन काजल को कांगड़ा से कांग्रेस का टिकट दिया। पवन काजल भी वीरभद्र सिंह के भरोसे पर खरा उतरे और लगातार दूसरी बार विधायक चुने गए। काजल अक्सर ये कहा भी करते थे कि वे कांग्रेस के साथ नहीं वीरभद्र सिंह के साथ है। कांग्रेस ने उन्हें कार्यकारी अध्यक्ष भी बनाया, मगर काजल ने कांग्रेस को छोड़ जाना सही समझा। काजल तो चुनाव जीत गए, मगर भाजपा चुनाव हार गई। माना जाता है कि अगर काजल पार्टी न छोड़ते तो उनका मंत्री पद तय था। बात लखविंदर राणा की करें तो राणा तीन बार कांग्रेस टिकट पर चुनाव लड़ विधानसभा पहुंचे थे । वर्ष 2010-11 में नालागढ़ के तत्कालीन विधायक हरिनारायण सैणी के निधन के बाद हुए उपचुनाव में लखविंद्र राणा कांग्रेस के टिकट पर मैदान में उतरे और पहली बार विधायक चुने गए। वर्ष 2012 के विधानसभा चुनाव में राणा हार गए। वर्ष 2017 में उन्होंने एक बार फिर नालागढ़ सीट से कांग्रेस के टिकट पर चुनाव लड़ा और जीत दर्ज की। मगर 2022 के विधानसभा चुनाव से साढ़े 3 महीने पहले वह कांग्रेस छोड़कर भाजपा में चले गए। भाजपा ने उन्हें टिकट दिया मगर भाजपा में बगावत के चलते राणा चुनाव हार गए। इन दो विधायकों के अलावा कांग्रेस के वरिष्ठ नेता कहे जाने वाले हर्ष महाजन भी चुनाव से पहले भाजपा के हो गए थे। शायद ही किसी ने सोचा हो कि वीरभद्र सिंह के हनुमान कहे जाने वाले हर्ष महाजन और कांग्रेस की राह अलग भी हो सकती है। हर्ष महाजन होलीलॉज के करीबी थे और वे कई बार वीरभद्र सिंह के चुनाव प्रभारी भी रह चुके थे। कहते है कि साल 2012 के विधानसभा चुनाव में वीरभद्र सिंह को मुख्यमंत्री बनाने में हर्ष महाजन का सबसे बड़ा योगदान रहा था। इस चुनाव से पहले भी कांग्रेस द्वारा इन्हें कार्यकारी अध्यक्ष बनाया गया था, मगर कांग्रेस पर नज़रअंदाज़गी का आरोप लगाते हुए महाजन भाजपा में शामिल हो गए थे। हालंकि अब भाजपा में हर्ष महाजन को कितनी तवज्जो मिल रही है, ये वे ही जानते होंगे। अगर महाजन कांग्रेस में रहते तो शायद बात कुछ और होती।
प्रदर्शन और आभार कार्यक्रम तो बहुत हुए मगर इस तरह पहले कभी सरकार का आभार व्यक्त करने को कर्मचारियों का हुजूम नहीं उमड़ा। लाखों की संख्या में कर्मचारी सीएम सुक्खू का दिल की गहराईयों से आभार करने को पहुंचे और धर्मशाला का पुलिस ग्राउंड जय सुक्खू के नारो से गूँज उठा। ऐसा स्वागत या स्नेह, सरकार को कर्मचारियों से शायद ही पहले कभी मिला हो, और हो भी क्यों न सीएम सुक्खू के नेतृत्व की इस कांग्रेस सरकार ने कर्मचारियों की उस मांग को पूरा किया है जिसके लिए प्रदेश के लाखों कर्मचारी सालों तक नेताओं की दरों पर दस्तक देते रहे। सीएम सुक्खू ने कर्मचारियों के इस अनंत संघर्ष पर पूर्ण विराम लगाया है, जिसके लिए कर्मचारियों ने सीएम सुक्खू को सर माथे लगा लिया। कभी उन्हें नायक बताया तो कभी पेंशन पुरुष। आभार के जवाब में सीएम सुक्खू भी कह गए कि मैं आपका सेनापति हूँ और आप मेरी सेना हो। 11 दिसंबर को कर्मचारियों के आशीर्वाद से कांग्रेस सरकार बनी और आगे भी ऐसे ही हमारा साथ देते रहना। कर्मचारियों की ये मांग कोई आम मांग नहीं थी। ये वो मसला था जिससे प्रदेश के लाखों कर्मचारियों का भविष्य जुड़ा था, वो कर्मचारी जो एनपीएस के अंतर्गत आते थे और जिन्हें शायद सेवानिवृत होने के बाद अपने बुढ़ापे में किसी और का सहारा लेना पड़ता। एनपीएस के अंतर्गत आने वाले कर्मचारियों के ऐसे कई मामले सामने आए है, जब इन कर्मचारियों को सेवानिवृत होने के बाद नाम मात्र पेंशन मिली। पूरे जीवन सरकार की सेवा करने के बाद ये कर्मचारी बुढ़ापे में इतने लाचार हो गए की जीवन व्यापन कठिन हो गया। इसी के बाद से पुरानी पेंशन बहाली के लिए महासंघर्ष का आरम्भ हुआ। न जाने कितनी ही हड़तालें, प्रदर्शन, अनशन इन कर्मचारियों ने किये मगर एक लम्बे समय तक इनकी नहीं सुनी गई। अपने बुढ़ापे की सुरक्षा के लिए संघर्षरत इन कर्मचारियों पर एफआईआर भी हुई, इन पर वाटर कैनन्स भी दागी गई और इनकी आवाज़ दबाने की कोशीश भी की गई, मगर संघर्ष थमने के बजाए और उग्र होता गया। आखिर जिस सरकार ने कर्मचारियों की नहीं सुनी वो सरकार सत्ता से बाहर हुई और सीएम सुक्खू के नेतृत्व की कांग्रेस सरकार कर्मचारियों के लिए मसीहा बन गई। वादे अनुसार पहली कैबिनेट की बैठक में ही पुरानी पेंशन को बहाल कर दिया गया। सरकार के इस फैसले से कर्मचारियों में केसा उत्साह है ये एक बार फिर धर्मशाला के पुलिस ग्राउंड में देखने को मिल गया।
राजकीय आदर्श वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला पांगणा की जुड़वा बहनों ने दसवीं के परीक्षा परिणाम में मेरिट में जगह बनाई है। छात्रा मान्या महाजन ने हिमाचल प्रदेश शिक्षा बोर्ड द्वारा जारी किए गए कक्षा दसवीं के परीक्षा परिणाम में प्रदेशभर में 700 में से 687 अंक प्राप्त कर आठवां स्थान प्राप्त कर स्कूल, क्षेत्र और अभिभावकों का नाम रोशन किया है। वहीं दूसरी बहन मन्नत महाजन ने भी प्रदेश स्तर पर 683 अंक प्राप्त कर 12वां स्थान हासिल किया है। दोनों जुड़वा बहने पढ़ाई में पहले से ही अव्वल रही हैं। उनकी इस कामयाबी से परिजन, अध्यापक और क्षेत्रवासी बहुत खुश हैं । मान्या + 2 मेडिकल विषय में करने के बाद डॉक्टर बनना चाहती है तो मन्नत इंजीनियर बनना चाहती है। बेटियां अपनी दादी गीता देवी और चाचा-चाची के साथ संयुक्त परिवार में रहती हैं। उनकी माता अरुणा महाजन आंगनवाड़ी कार्यकर्ता हैं। उनके चाचा धर्मेंद्र कुमारऔर चाची कुसुम लता महाजन दोनों ही गणित के प्रवक्ता हैं। उन्होंने बताया कि दोनों बेटियों ने प्रदेश की मेरिट में स्थान हासिल कर नाम रोशन किया है। प्रधानाचार्य संजय कुमार और समस्त स्टाफ द्वारा उन्हें और अभिभावकों को शुभकामनाएं दी हैं।
***कुल्लू जिले के स्नॉवर वैली पब्लिक स्कूल बजौरा की छात्रा मानवी ने 99.14 प्रतिशत (694) अंक लेकर प्रदेश में पहला स्थान हासिल किया है। हमीरपुर जिले के सीनियर सेकेंडरी स्कूल चूबतरा की छात्रा दीक्षा कथयाल ने (693) 99 प्रतिशत अंक लेकर प्रदेश में दूसरा स्थान हासिल किया है। वहीं हमीरपुर जिले के ही दो छात्रों ने संयुक्त रूप से तीसरा स्थान हासिल किया है। न्यू इरा सीनियर सेकेंडरी स्कूल परोल के छात्र अक्षित शर्मा और सीनियर सेकेंडरी स्कूल बदारान के छात्र आकर्षक ठाकुर ने 98.86 प्रतिशत (692) अंक लेकर प्रदेश में तीसरा स्थान हासिल किया है। हिमाचल प्रदेश स्कूल शिक्षा बोर्ड ने 10वीं कक्षा का परिणाम घोषित कर दिया है। शिक्षा बोर्ड के सचिव डॉ. (मेजर) विशाल शर्मा ने बताया कि 91440 विद्यार्थियों ने 10वीं कक्षा की परीक्षा दी थी जिसमें से 81732 विद्यार्थी परीक्षा में पास हुए हैं और 7534 विद्यार्थी परीक्षा में फेल हुए हैं। उन्होंने ने बताया कि इस बार का परिणाम 89.7 प्रतिशत रहा है। वर्ष 2022 में 10वीं कक्षा का परीक्षा परिणाम 87.5 प्रतिशत रहा था। सचिव डॉ. (मेजर) विशाल शर्मा ने बताया कि विद्यार्थी शिक्षा बोर्ड की बेवसाइट पर परिणाम चेक कर सकते हैं।
हिमाचल प्रदेश स्कूल शिक्षा बोर्ड ने 10वीं कक्षा का परिणाम घोषित कर दिया है। शिक्षा बोर्ड के सचिव डॉ. (मेजर) विशाल शर्मा ने बताया कि परिणाम 89.7 प्रतिशत रहा है। 91440 विद्यार्थियों ने 10वीं कक्षा की परीक्षा दी थी। 81732 विद्यार्थी परीक्षा में पास हुए हैं। 7534 विद्यार्थी परीक्षा में फेल हुए हैं। वर्ष 2022 में 10वीं कक्षा का परीक्षा परिणाम 87.5 प्रतिशत रहा था। सचिव डॉ. (मेजर) विशाल शर्मा ने बताया कि विद्यार्थी शिक्षा बोर्ड की बेवसाइट पर परिणाम चेक कर सकते हैं।
जमा दो का परीक्षा परिणाम घोषित हुआ, जिसमें वैदिक वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला शानन का परीक्षा परिणाम शत- प्रतिशत रहा। विद्यालय की होनहार छात्रा कनिका ने 97% अंक लेकर शिक्षा बोर्ड में टॉप दस में स्थान सुनिश्चित किया। कुमारी कनिका पहले से ही होनहार छात्रा रही है और दसवीं कक्षा में भी 99% अंक प्राप्त किए थे। विद्यालय में पीयूष ठाकुर 96% लेकर द्वितीय और प्राशुल अवस्थी 94% लेकर तृतीय स्थान पर रहें । सभी विद्यार्थी प्रथम श्रेणी में पास हुए। परिक्षा परिणाम की सूचना मिलते ही विद्यालय में खुशी का माहौल छा गया व स्कूल परिसर मे मिठाई बाँटी गयी। निर्देशक मेघ सिंह ठाकुर ने और प्रधानाचार्य कंचन ठाकुर ने जमा के उतीर्ण हुए सभी बच्चों और अध्यापक वर्ग को बधाई दी तथा आने वाले भविष्य के लिए शुभकामनाएं दीं।
मंडी के जाने-माने वरिष्ठ पत्रकार और प्रदेश के वेटर्न जर्नलिस्ट हेमकांत कात्यान अब इस दुनिया में नहीं रहे। 80 वर्षीय हेमकांत कात्यान की बीती रात को अचानक तबीयत खराब हो गयी, जिसके बाद उन्हें उपचार के लिए अस्पताल ले जाया गया। वहां से स्वास्थ्य में थोड़ा सुधार होने के बाद वापिस घर लाया गया, लेकिन घर पहुंचने के कुछ देर बाद उन्होंने प्राण त्याग दिए। हेमकांत कात्यान अपने पीछे धर्मपत्नी और बेटे को छोड़ गए हैं। मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने पत्रकार कात्यान के निधन पर शोक व्यक्त किया। मुख्यमंत्री ने अपने शोक संदेश में कहा कि कात्यान ने पत्रकारिता के क्षेत्र में उनके उल्लेखनीय योगदान को सदैव याद रखा जाएगा। उन्होंने पत्रकारिता के क्षेत्र में उच्च मानक स्थापित किए। मुख्यमंत्री ईश्वर से दिव्यगत आत्मा की शांति और शोक संतप्त परिजनों को इस अपूर्णी क्षति को सहन करने की शक्ति प्रदान करने की प्रार्थना की।
साइंस स्ट्रीम में ओजस्विनी उपमन्यु ने प्रदेश में पहला स्थान हासिल किया है। 500 में से 493 अंक (98.6 प्रतिशत) हासिल किए हैं। ओजस्विनी उपमन्यु जिला ऊना के घनारी सीनियर सेकेंडरी स्कूल के छात्र हैं। कॉमर्स स्ट्रीम में सिरमौर जिले के सीनियर सेकेंडरी स्कूल सराहन की छात्रा वृंदा ठाकुर ने प्रदेश में पहला स्थान हासिल किया है। वृंदा ने 500 में से 492 अंक (98.4 प्रतिशत) हासिल किए हैं। आर्ट्स स्ट्रीम में प्रदेशभर में पहले स्थान पर चार विद्यार्थी रहे हैं। चारों ने 500 में से 487 अंक (97.4 प्रतिशत) हासिल किए हैं। डीएवी सीनियर सेकेंडरी स्कूल ऊना की छात्रा तरनिजा शर्मा, रूट मॉडल सीनियर सेकेंडरी स्कूल करसोग की छात्रा दिव्य ज्योति, सीनियर सेकेंडरी स्कूल पोर्टमोर शिमला की छात्रा नूपुर कैथ और सिरमौर जिले के सीनियर सेकेंडरी स्कूल जरवा जुनेली के छात्र ज्येश प्रदेश भर में पहले स्थान पर रहे हैं।
हिमाचल प्रदेश स्कूल शिक्षा बोर्ड (HPBOSE) 12वीं कक्षा का वार्षिक (12th Class Result) परिणाम इस बार 79.4 फीसदी रहा है। ऊना की सीसे स्कूल घनारी की ओजस्वनी उपमन्यु पुत्री राम कुमार ऑलओवर परीक्षा में 98.6 अंक हासिल कर पहले स्थान पर रही। सिरमौर की वृंदा ठाकुर पुत्री अरुण कुमार ने 98.6 फीसदी अंक हासिल कर दूसरे नंबर पर रही वहीं सीसे स्कूल चूरड़ू की कनूप्रिया पुत्री संजय कुमार ने 98.2 फीसदी अंक लेकर तीसरा स्थान हासिल किया।
**ओजस्विनी उपमन्यु ने साइंस संकाय में 500 में से 493 अंक (98.6 प्रतिशत) हासिल कर प्रदेश में पहला स्थान हासिल किया है। जिला ऊना के घनारी सीनियर सेकेंडरी स्कूल के छात्र हैं। **कॉमर्स संकाय में सिरमौर जिले के सीनियर सेकेंडरी स्कूल सराहन की छात्रा वृंदा ठाकुर ने 500 में से 492 अंक (98.4 प्रतिशत) हासिल प्रदेश में पहला स्थान हासिल किया है। **आर्ट्स संकाय में प्रदेशभर में चार विद्यार्थी ने 500 में से 487 अंक (97.4 प्रतिशत) हासिल कर पहला स्थान हासिल किया है। जिसमे डीएवी सीनियर सेकेंडरी स्कूल ऊना की छात्रा तरनिजा शर्मा, रूट मॉडल सीनियर सेकेंडरी स्कूल करसोग की छात्रा दिव्य ज्योति, सीनियर सेकेंडरी स्कूल पोर्टमोर शिमला की छात्रा नूपुर कैथ और सिरमौर जिले के सीनियर सेकेंडरी स्कूल जरवा जुनेली के छात्र ज्येश प्रदेश भर में पहले स्थान पर रहे हैं। हिमाचल प्रदेश स्कूल शिक्षा बोर्ड ने 12वीं कक्षा की परीक्षा परिणाम घोषित कर दिया है। परिणाम 79.4 प्रतिशत रहा है। 105369 विद्यार्थियों ने 12वीं कक्षा की परीक्षा दी थी जिसमे से 83418 विद्यार्थी परीक्षा में पास हुए हैं।13335 विद्यार्थियों की कंपार्टमेंट आई है। 8139 विद्यार्थी परीक्षा में फेल हुए हैं। वर्ष 2022 में 12वीं कक्षा का परीक्षा परिणाम 93.90 प्रतिशत रहा था। सचिव डॉ. (मेजर) विशाल शर्मा ने जानकारी दी की विद्यार्थी शिक्षा बोर्ड की बेवसाइट पर अपना परिणाम देख सकते हैं।
अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद की गतिविधि विकासार्थ विद्यार्थी शिमला ने आज से पूरे शिमला में "पंछी हमारे मित्र" नाम का एक अभियान चलाया है। इस अभियान के तहत विकासार्थ विद्यार्थी शिमला, सुनील उपाध्याय एजुकेशनल ट्रस्ट के साथ मिलकर शिमला के 15 से ज्यादा स्थानों में पक्षियों के लिए जल-पात्र रखकर छात्र समुदाय में प्रकृति व उसके जीव-जंतुओं के प्रति अपने कर्तव्यों आह्वान का शुरुआत की। विकासार्थ विद्यार्थी शिमला के जिला सयोंजक ने कहा कि गर्मियां आ रही है। इस दौरान पक्षियों को किसी भी प्रकार अन्न और जल की कमी न हो इसलिए एक सकोरा एक प्राण, सेल्फी विद सकोरा नाम से अभियान चलाया है। इस अभियान के तहत शिमला में जगह 15 मिट्टी से निर्मित सकोरे लगाए हैं और इन सकोरों में अन्न और जल रखा है। उन्होंने कहा कि विकासार्थ विद्यार्थी ने यह अभियान पूरे देश भर में चलाया है। इस अभियान के माध्यम से पक्षी मित्र, सकोरा इंचार्ज जैसे प्रयोगों के नाम से SFD केवल सकोरा लगाने का नहीं उन्हें गर्मियों तक नियमित भरने और उनकी साफ सफाई के लिए भी विद्यार्थियों को नियुक्त कर रही है। एसएफडी के कार्यकर्ताओं ने देशभर में छात्रों के साथ मिलकर इस मुहिम की इन गर्मियों के आने के साथ ही शुरुआत की है। बढ़ते हुए तापमान और प्राकृतिक जल स्रोतों के सुख जाने के कारण पक्षियों और पशुओं को पीने के पानी की समस्या होती है जिससे इनकी मृत्यु तक हो जाती है एसएफडी ने इस पहल के माध्यम से परिसरों में छात्र समुदाय को पुनः जागृत करने का बीड़ा उठाया है, और कार्यकर्ताओं ने उम्मीद जताई है कि विभिन्न माध्यमों से हम समुदाय के बीच पहुंचकर इस कार्य को प्रभावी बनाने की दिशा में कार्य करते रहेंगे। ज्ञात हो कि स्टूडेंट फॉर डेवलपमेंट या विकासार्थ विद्यार्थी (एसएफडी), प्रतिवर्ष शैक्षणिक परिसरों में गर्मियां आते ही पक्षियों के लिए पानी के सिकोरे रखने की मुहीम वर्षों से चलता आ रहा हैं, जिसमें अनेकों की संख्या में प्रतिवर्ष छात्र उनके साथ जुड़ते हैं। इसके अलावा पर्यावरण से अन्य महत्वपूर्ण कार्य कारण की भी जिम्मेदारी वर्षों से एसएफडी लेता आया है। भारत देश में सभी प्राणियों के प्रति अपनत्व का भाव यहाँ की संस्कृति का अभिन्न हिस्सा रहा। इसका जीता-जागता उदाहरण हमारे साहित्य लेखन में स्पष्टरुप से दिखाई पड़ता है। खासतौर से पक्षियों में चातक (पपीहा) नामक जीव का मनोहक वर्णन पक्षियों के प्रति हमारे प्रेम देखभाल की परंपरा को दर्शाता है। अब ये भाव जनमानस में कहीं धुंधला होता जा रहा है जिसका परिणाम आज इन जीवों की कम होती संख्या के रूप में देखा जा सकता है। एक सकोरा एक प्राण और सेल्फी विद सकोरा के नाम से यह अभियान देश के अलग अलग प्रांतों में जनमानस के बीच लोकप्रिय हो रहा है।
प्रदेश सरकार की कल्याणकारी योजनाएं आम लोगों के जीवन में बदलाव ला रही है और यह बदलाव लोगों के वास्तविक जीवन में दिखाई भी दे रहा है। राज्य सरकार की कल्याणकारी योजनाओं का लाभ उठाकर ग्रामीण क्षेत्र की महिलाएं भी अब गांव में रह कर, अपने घर व आस-पास छोटे-छोटे कार्य शुरू कर अब अपनी आजीविका कमा, अपने परिवार का सहयोग करने के साथ अपनी आर्थिकी को सुदृढ़ कर रही है। करसोग उपमंडल के कलैहणी गांव की संतोषी देवी ने मशरूम की खेती कर इसे साबित किया है। संतोषी देवी ने जनवरी, 2023 में खंड विकास कार्यालय करसोग के माध्यम से राष्ट्रीय आजीविका मिशन के तहत मशरूम की जैविक खेती करने का 10 दिन का प्रशिक्षण प्राप्त किया। प्रशिक्षण के पश्चात, अपने घर के एक कमरे में ढीगंरी मशरूम की खेती करना शुरू किया। प्लस-टू पास संतोषी देवी ने घर के कमरे में 17 बैगों में ढीगंरी मशरूम की जैविक खेती की, जिसमें उन्हें उम्मीद से कहीं ज्यादा ढीगंरी मशरूम की फसल मिली। आम तौर पर ढीगंरी मशरूम की फसल तैयार होने के बाद, उसकी 2 से 3 बार कटाई की जाती है। लेकिन संतोषी देवी द्वारा उगाई गई मशरूम की फसल की, उन्होंने 4 से 5 बार कटाई कर अच्छी आय अर्जित की। संतोषी देवी करसोग बाजार में हिम ईरा नाम से दुकान भी चला रही है, जहां पर अपने घर में तैयार किए जाने वाले जैविक ढीगंरी मशरूम को 250 से 300 रुपये प्रति किलोग्राम बेचा जाता है। संतोषी देवी का कहना है कि इस कार्य को शुरू करने से पहले, उनकी अपनी कोई स्वतंत्र आय नहीं थी। घर के कार्यो में ही समय बीत जाता था। स्वयं सहायता समूहों से जुड़ी हुई महिलाओं के लिए आजीविका मिशन के अन्तर्गत ढीगंरी मशरूम की खेती करने संबंधी प्रशिक्षण दिए जाने की जानकारी खंड विकास कार्यालय करसोेग से मिली। उसके पश्चात ढीगंरी मशरूम की खेती करने का प्रशिक्षण हासिल किया और इसे अपनी स्वतंत्र आय का जरिया बनाया। इनका कहना है कि परिवार के लोगों ने भी इस कार्य में सहयोग किया और अब वे इस कार्य से प्रतिमाह 4 से 5 हजार और 50 से 60 हजार रुपये वार्षिक आय अर्जित कर रही है। जिससे परिवार की आर्थिक स्थिति भी सुदृढ़ हुई है। संतोषी देवी ने बताया कि इस कार्य को शुरू करने के लिए उन्होंने केवल मात्र 500 रुपये खर्च किए। इनका कहना है कि मशरूम की अन्य विभिन्न किस्मों को उगा कर इस कार्य को साल भी किया जा सकता है, जो आय का एक बेहतर विकल्प है। आजीविका मिशन के अन्तर्गत स्वयं सहायता समूह बनाकर, अन्य महिलाओं द्वारा तैयार किए जाने वाले विभिन्न उत्पादों को भी संतोषी देवी अपनी हिम ईरा दुकान पर बेच रही है। जिससे एक ओर जहां स्वयं सहायता समूहों से जुड़ी हुई महिलाओं को, उनके द्वारा घरों में तैयार किए जाने वाले विभिन्न प्रकार के उत्पाद बेचने के लिए बेहतर प्लेटफाॅर्म उपलब्ध रहा है वहीं वे उनकी आर्थिक स्थिति को सुदृढ़ करने में भी सहयोग कर रही है। इनका कहना है कि सफलता कभी भी, किसी भी क्षेत्र में हासिल की जा सकती है, बशर्ते उसके लिए कड़ी मेहनत और लग्न से कार्य करने की आवश्यकता है। करसोग के सहायक आयुक्त एवं बीडीओ अमित कल्थाईक का कहना है कि महिलाओं को अर्थिक रूप से सुदृढ़ करने के लिए सरकार द्वारा अनेक कल्याणकारी योजनाएं चलाई जा रही है। जिनमें राष्ट्रीय आजीविका मिशन भी एक है। इस योजना का लाभ उठा कर क्षेत्र की महिलाओं ने आर्थिक सशक्तिकरण की दिशा में अपने कदम आगे बढ़ाएं है।
अंतर्राष्ट्रीय ख्याति प्राप्त लोक कलाकार जोगेंद्र हाब्बी ने भाषा एवं संस्कृति विभाग द्वारा जिला सिरमौर में प्रतिवर्ष आयोजित की जा रही लोकनृत्य प्रतियोगिता में लगातार दस बार प्रथम स्थान प्राप्त कर "इंडिया बुक ऑफ रिकॉर्ड्स " तथा "एशिया बुक ऑफ रिकॉर्ड्स " में नाम दर्ज करवाकर लोक नृत्य के क्षेत्र में ऐतिहासिक कीर्तिमान स्थापित किया है। इंडिया बुक आफ रिकॉर्ड्स व एशिया बुक आफ रिकॉर्ड्स की विशेषज्ञ समिति ने हाब्बी को बधाई देते कहा कि लगातार दस-ग्यारह वर्षों की मेहनत और लगन से प्रथम स्थान बरकरार रखते हुए हम आपके धैर्य की सराहना करते हैं। कुछ समय पूर्व ही हाब्बी का इंडिया बुक ऑफ रिकॉर्ड्स में नाम दर्ज हुआ था और अब एशिया बुक ऑफ रिकॉर्ड्स में भी नाम दर्ज कर चुके हैं, जिससे जिला सिरमौर की लोक संस्कृति का विश्व स्तर पर पहचान व मान और अधिक बढ़ा है। जोगेंद्र हाब्बी ने इन दोनों रिकॉर्ड्स का श्रेय अपने गुरु पद्मश्री विद्यानंद सरैक व सहयोगी कलाकारों को दिया और आसरा तथा चूड़ेश्वर मंडल के सभी कलाकारों का विशेष आभार व्यक्त किया जिन्होंने अनुकरण कर लगातार मेहनत के परिणाम स्वरूप प्रथम पुरस्कार को अब तक लगातार बरकरार रखा है। दस-बारह वर्षों से आयोजित की जा रही इन प्रतियोगिताओं में लगभग साठ से अधिक लोक कलाकारों ने हाब्बी के नेतृत्व में लोक नृत्य प्रतिस्पर्धा में भाग लिया जिसमें उस्ताद बिस्मिल्लाह खां युवा पुरस्कार से राष्ट्रीय स्तर पर सम्मानित सुप्रसिद्ध लोक कलाकार गोपाल हाब्बी, प्रदेश के जाने-माने लोक गायक धर्मपाल चौहान व रामलाल वर्मा और सरोज ने दस बार भाग लेकर लगातार प्रथम स्थान बरकरार रखने में भरपूर सहयोग दिया। इसके अलावा बलदेव, अमीचंद, चमन, संदीप, अनुजा, सीमा, रीना, सुनपति, लक्ष्मी, प्रिया, सरस्वती, जितेंद्र, हंसराज, चिरंजीलाल, सोहनलाल, चेतराम, कृष्ण लाल, मुकेश, देवीराम, अनिल, रमेश, सुनील, बिमला, पायल, आदि कलाकारों ने भी कई बार इन प्रतिस्पर्धाओं में भाग लेकर दल को प्रथम स्थान प्राप्त करने में पूर्ण सहयोग दिया है। हाब्बी ने कहा कि हमारा दल सांस्कृतिक प्रतियोगिताओं में जिला सिरमौर का आदिकालीन ठोडा नृत्य, ढीली नाटी, रिहाल्टी गी, दीपक नृत्य, परात नृत्य, सिरमौरी मुंजरा, रासा व हुड़ग नृत्य, झुरी, सिंहटू तथा भड़ाल्टू नृत्य आदि लोक विधाओं को कोरियोग्राफ कर तथा समय सीमा में बांधकर एक गुलदस्ते के रूप में सिरमौरी हाटी जनजातीय संस्कृति के वास्तविक स्वरूप को प्रस्तुत करता आया है। हाब्बी दल का नेतृत्व एवं निर्देशन करते हुए स्वयं भी मुख्य लोक नर्तक के रूप में सांस्कृतिक दल की अगुवाई करते आए हैं। उन्होंने बताया कि निसंदेह जिला सिरमौर की संस्कृति में एक कशिश व आकर्षण है तथा पद्मश्री विद्यानंद सरैक द्वारा गुरु शिष्य परंपरा के अंतर्गत सिखाई गई लोकनृत्य विधाओं को प्रदर्शित कलाकारों ने अपने हुनर व फन से लगातार दस बार जिला स्तर पर प्रथम पुरस्कार प्राप्त किया है। इसके अलावा इन्हीं लोक कलाकारों के दल ने विभिन्न विभागों व संस्थानों द्वारा आयोजित लोकनृत्य प्रतिस्पर्धाओं में आठ बार राज्य स्तर पर एक बार राष्ट्रीय स्तर पर तथा एक बार अन्तर्राष्ट्रीय स्तर पर भी जीत हासिल कर सिरमौरी संस्कृति का लोहा मनवाया है। जोगेंद्र हाब्बी ने सभी कलाकारों की ओर से निदेशक भाषा एवं संस्कृति विभाग और जिला भाषा अधिकारी का इस प्रकार की लोक नृत्य प्रतियोगिताएं आयोजित कर कलाकारों को अपना हुनर दिखाने का अवसर प्रदान करने के लिए तथा प्रतिस्पर्धाओं के निर्णायक मंडल के सभी सदस्यों का निष्पक्ष एवं निर्विवाद निर्णय के लिए हार्दिक आभार व्यक्त करते कहा कि हम सदैव इसी प्रकार हिमाचल व सिरमौर जनपद की समृद्ध संस्कृति को विश्व स्तर पर और अधिक पहचान दिलाने के लिए प्रयासरत रहेंगे।
युवा विधायक दीपराज भंथल के नेतृत्व में बुधवार को करसोग क्षेत्र के स्कूली बच्चों ने दिल्ली में केंद्रीय सूचना-प्रसारण और युवा कार्यक्रम एवं खेल मंत्री अनुराग ठाकुर से मुलाकात की। करसोग क्षेत्र के विभिन्न स्कूलों से 12 बच्चे शैक्षणिक भ्रमण के लिए दिल्ली गए हैं। ऐसे में विधायक ने इन बच्चों को केंद्रीय खेल मंत्री अनुराग ठाकुर से रूबरू करवाया। इस दौरान केंद्रीय मंत्री ने बच्चों का मार्गदर्शन किया। उन्होंने कहा कि करसोग क्षेत्र के युवा विधायक दीपराज की यह सराहनीय पहल है। इस पहल के अंतर्गत बच्चों को अन्य राज्यों की विशेषताओं की जानकारी भी हो सकेगी। केंद्रीय खेल मंत्री अनुराग ठाकुर ने बच्चों को सलाह देते हुए कहा कि जब भी इस तरह भ्रमण हो तो विशेष जानकारियों एवं किस्सों को अपनी नोटबुक में जरूर लिखें। ऐसा इसलिए क्योंकि आने वाले समय में वह नोटबुक आनंदमयी स्मृति के साथ अनुभव का काम भी करेगी। विधायक दीपराज ने खेल मंत्री के समक्ष रखा करसोग में स्पोर्ट्स एकाडमी खोलने का मुद्दा विधायक दीपराज भंथल ने इस भेंटवार्ता के दौरान केंद्रीय खेल मंत्री अनुराग ठाकुर के समक्ष करसोग विधानसभा क्षेत्र में स्पोर्ट्स एकाडमी खोलने संबंधी विषय को भी रखा। उन्हांने कहा कि करसोग क्षेत्र में प्रतिभाशाली बच्चों की कमी नहीं है लेकिन विडंबना यह है कि करसोग में खेल की एक भी अकादमी नहीं है। ऐसे में करसोग के युवाओं की सुविधा हेतु स्पोर्ट्स एकाडमी को स्थापित करना समय की प्रमुख मांग है। केंद्रीय खेल मंत्री ने उनकी मांग को ध्यानपूर्वक सुना और इस विषय पर विचार करने का आश्वासन दिया। विधायक दीपराज ने केंद्रीय मंत्री का आभार व्यक्त किया। बच्चों ने आईआईटी दिल्ली में प्राप्त की महत्वपूर्ण जानकारियां केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर से भेंट करने के पश्चात करसोग क्षेत्र के स्कूली बच्चों ने भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आईआईटी) दिल्ली का शैक्षणिक भ्रमण किया। आईआईटी में बच्चों ने विभिन्न प्रयोगशालाओं के बारे में जाना तथा विज्ञान विषय से जुड़े विषयों की महत्वपूर्ण जानकारी भी प्राप्त की। इसके पश्चात बच्चों ने करसोग क्षेत्र के विधायक दीपराज का आभार व्यक्त किया। बच्चों ने उनसे आग्रह भी किया कि भविष्य में भी स्कूली विद्यार्थियों से इस तरह का शैक्षणिक भ्रमण करवाया जाए। वहीं विधायक दीपराज ने कहा कि वे बच्चों की मांग के अनुरूप आने वाले समय में अवश्य विद्यार्थियों से शैक्षणिक भ्रमण करवाएं ताकि बच्चों का समग्र विकास हो सके।
जिला सोलन के अटल शिक्षा कुंज स्थित प्रसिद्ध आईईसी यूनिवर्सिटी में हिमाचल प्रदेश की 19वीं राज्य स्तरीय वुशु प्रतियोगिता का आयोजन किया गया। प्रतियोगिता में मंडी की टीम ओवरऑल विजेता बनी। वहीं, सांडा प्रतियोगिता में पहला स्थान मंडी, दूसरा स्थान शिमला और तीसरा स्थान सोलन की टीम ने हासिल किया। ताउलू प्रतियोगिता में पहला स्थान डब्ल्यूईसी मंडी, दूसरा स्थान मंडी जिला और तीसरा स्थान बिलासपुर की टीम ने हासिल किया। दो दिवसीय प्रतियोगिता का शुभारंभ जिला खेल अधिकारी सोलन सविंद्र कैंथ ने किया। वहीं, समापन समारोह के अवसर पर असिस्टेंट कमिश्नर, स्टेट टैक्सेज एंड एक्साइज हिमाचल प्रदेश बीआर नेगी ने विजेताओं को ट्रॉफी, मेडल और प्रमाण पत्र देकर सम्मानित किया। प्रतियोगिता में हिमाचल प्रदेश के आठ जिलों के 150 खिलाड़ियों ने भाग लिया। आईईसी विश्वविद्यालय की ओर से प्रतियोगिता के अलग-अलग वर्गों में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले प्रदेश के 50 खिलाड़ियों को स्वर्ण पदक, 50 खिलाड़ियों को रजत पदक और 100 खिलाड़ियों को कांस्य पदक से नवाजा गया। इस अवसर पर आईईसी विश्वविद्यालय के प्रो. वाइस चांसलर डॉ. रणदीप सिंह, रजिस्ट्रार विनोद कुमार, डीन अकैडेमिक अफेयर डॉ. विजय ठाकुर आदि उपस्थित रहे। वहीं, हिमाचल प्रदेश वुशु संघ के महासचिव पीएन अजाद वुशु संघ सोलन के अध्यक्ष जतिंदर राणा जी, प्रधान आनंद ठाकुर, महासविच श्याम लाल ठाकुर, कोषाध्यक्ष हरेदव सैणी, महासविच जिला कुल्लू के लूदर चंद, महासविच कांगड़ा पवन नाग, महासविच मंडी खेम चंद, राज्य कार्यालय सचिव रमेश कुमार, राज्य कोषाध्यक्ष पूर्ण चंद, हेम राज उपस्थित रहे।
करसोग के विधायक दीपराज भन्थल की अनूठी पहल के तहत आज करसोग क्षेत्र के स्कूली बच्चे शैक्षणिक भ्रमण के लिए रवाना हुए। इस शैक्षणिक भ्रमण के दौरान बच्चों को भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आईआईटी) दिल्ली घुमाया जाएगा। इसके उपरांत बच्चों को आगरा भी घुमाया जाएगा। दल में 12 बच्चे तथा अन्य प्रतिनिधि शामिल हैं। इस टूअर के दौरान बच्चों के खाने और ठहरने की उचित व्यवस्था की गई है। इस दौरान बच्चों को जहां साइंस की जानकारी उपलब्ध करवाई जाएगी, वहीं उन्हें विभिन्न स्थानों के बारे में भी अवगत करवाया जाएगा। बता दें कि युवा विधायक ने हाल ही में हुए जिला स्तरीय करसोग नलवाड़ मेले में बच्चों के लिए विज्ञान मेले का आयोजन करवाया था। इस स्पर्धा में विजेता रहे स्कूली बच्चों को विधायक ने 51 हजार रुपये की इनामी राशि भी भेंट की थी। इतना ही नहीं विधायक ने घोषणा की थी कि अव्वल रहे बच्चों को शैक्षिक भ्रमण के लिए भी भेजा जाएगा। ऐसे में सारी औपचारिकताएं पूर्ण करने पर आज विधायक की पहल के तहत बच्चों को करसोग से शैक्षिक भ्रमण के रवाना किया गया। विधायक की इस पहल से जहां बच्चों में खुशी को लहर है, वहीं क्षेत्रवासियों ने युवा एमएलए दीपराज की खूब सराहना भी की है।
मंडी जिला के करसोग कस्बे के साथ लगती ग्राम पंचायत ममेल ने पंचायत क्षेत्र में युवाओं व पर्यटकों के लिए सेल्फी प्वाइंट बना कर पंचायत को पर्यटन की दृष्टि से विकसित करने का प्रयास किया है। पंचायत द्वारा आई लव ममेल के नाम से भ्याल गांव में यह सेल्फी प्वाइंट बनाया गया है। करसोग ब्लाॅक में पंचायत क्षेत्र में सेल्फी प्वाइंट बनाने वाली ममेल पहली पंचायत है। पंचायत द्वारा जिस स्थान पर यह सेल्फी प्वाइंट बनाया गया है, वह स्थल करसोग क्षेत्र के अराध्य देव ममलेश्वर महादेव की बैठक स्थली भी है। पंचायत प्रधान नारायण सिंह ठाकुर का कहना है कि पंचायत ने देवता के इस पवित्र स्थल को पंचवटी पार्क के रूप में विकसित करने का निर्णय लिया, जिसके तहत सबसे पहले यहां स्थित प्राचीन वाबड़ी का जीर्णोद्धार कर इसे पुनः विकसित किया गया। यहां पर एक भव्य पार्क भी बनाया जा रहा है, जिसे पंचवटी पार्क का नाम दिया गया है। ममेल नगर पंचायत करसोग के साथ लगती पंचायत है। पंचायत क्षेत्र को पर्यटन की दृष्टि से विकसित करने का प्रयास किया जा रहा है। पंचायत में लोगों की सुविधा के लिए रास्तों को पक्का बनाया जा रहा है और अन्य विभिन्न प्रकार की मूलभूूत सुविधाएं भी लोगों की जरूरतों के अनुसार उपलब्ध करवाई जा रही हैं। पंचायत प्रधान का कहना है कि पंचायत को एक आदर्श पंचायत के रूप में विकसित करने का प्रयास किया जा रहा है। वहीं सहायक आयुक्त विकास एवं बीडीओ करसोग अमित कल्थाईक का कहना है कि ग्राम पंचायतें युवा वर्ग की उम्मीदों, बच्चों व बुजुर्गों की आवश्यकताओं के अनुसार कार्य कर, उन्हें विभिन्न सुविधाएं उपलब्ध करवा रही हैं। गांव में अब पार्कों का निर्माण करने के साथ-साथ गांव को पर्यटन गतिविधियों से भी जोड़ा जा रहा है। शहरों की तर्ज पर सेल्फी प्वाइंट भी बनाए जा रहे हैं। ममेल पंचायत द्वारा पंचवटी पार्क में सेल्फी प्वाइंट बनाना पंचायत की एक अच्छी पहल है। ग्राम ममेल पंचायत गांव में सेल्फी प्वाइंट बनाने वाली करसोग ब्लाॅक की पहली पंचायत है।
जोगिंद्र नगर उपमंडल की ग्राम पंचायत द्रुब्बल में पंचायत स्तरीय तीन दिवसीय मां गायत्री मेले संपन्न हो गया। मां गायत्री मेले के समापन समारोह में शुक्रवार को स्थानीय विधायक प्रकाश राणा ने बतौर मुख्य अतिथि शिरकत की। लोगों ने उनका द्रुब्बल में भव्य स्वागत किया। मेला कमेटी की अध्यक्ष एवं ग्राम पंचायत द्रुब्बल की प्रधान रेनू राणा ने विधायक प्रकाश राणा का स्वागत व अभिनदंन किया। तीन दिवसीय मेले में महिला मंडलों व युवक मंडलों के कार्यक्रम, स्कूली बच्चों की खेलकूद प्रतियोगिताएं, विभिन्न सांस्कृतिक कार्यक्रम, वालीबाल व क्रिकेट प्रतियोगिताएं, मटका फोड़, कुर्सी दौड़, रस्साकशी व विभिन्न कार्यक्रमों का आयोजन किया गया। विधायक प्रकाश राणा ने पंचायत प्रधान, उपप्रधान, वार्ड पंचों, मेला कमेटी के सदस्यों व स्थानीय जनता का उन्हें मान-सम्मान देने के लिए धन्यवाद व आभार व्यक्त किया।
पांगणा पंचायत के प्रधान बसंत लाल को उपायुक्त अरिंदम चौधरी के न्यायालय ने अयोग्य घोषित कर दिया है। गौरतलब रहे कि पांगणा पंचायत के प्रधान के विरुद्ध उनके प्रतिद्वंदी ने एक चुनाव याचिका दायर की थी, जिसमें उप मंडलाधिकारी नागरिक व पंचायती राज अधिनियम 1994 के तहत ऑथराइज्ड ऑफिसर सन्नी शर्मा की अदालत ने कार्रवाई करते हुए फैसला सुनाया था कि याचिकाकर्ता की मांग सही है और नोमिनेशन के समय शपथ पत्र पर गलत व झूठी जानकारी देने के आधार पर चुनाव याचिका को मंजूर करते हुए पंचायत प्रधान पांगणा को अयोग्य घोषित कर दिया था। अब उपायुक्त अरिंदम चौधरी के न्यायालय ने एडवोकेट भीम सिंह ठाकुर की दलील पर उपरोक्त फैसले को सही ठहराते हुए पंचायत प्रधान की अपील को खारीज़ किया और पांगणा पंचायत प्रधान पद के चुनाव को तुरंत प्रभाव से निरस्त कर दिया है। अब पंचायत प्रधान का नए सिरे से चुनाव होगा।
मंगलवार को लगभग 30 वर्षो के बाद श्री नाग हुंगलू मंदिर खन्योल च्वासी में नई कमेटी का चयन किया गया, चुनाव प्रक्रिया की अध्यक्षता मंदिर कमेटी के पूर्व प्रधान फिल्लौर सिंह ठाकुर ने की। इसमें संतोष कुमार को प्रधान, उप प्रधान राम कृष्ण, धर्म सिंह सचिव सोहन सिंह, नितेश कुमार कढेला भीखम राम, कोम सिंह कोषाध्यक्ष कृष्ण लाल, खेम सिंह नेता सलाहकार फिल्लौर सिंह, धनी राम, बालक राम, झाबे राम सदस्य राम लाल चंद्र मणी, योग राज, नेत्र सिंह, सुभाष चंद्र, गीता राम, जय प्रकाश, जसवंत, कांशी राम, टीसी ठाकुर, घनश्याम, केशव राम को नई कार्यकारणी में चुना गया। पूर्व प्रधान फिल्लौर सिंह ठाकुर ने नवनियुक्त कार्यकारिणी को हार्दिक बधाई व शुभकामनाएं दीं।
प्राकृतिक खेती के लिए मशहूर गांव पज्यानु में मंगलवार को पद्मश्री नेकराम शर्मा को एक बहुत बड़े कार्यक्रम मेँ सम्मानित किया गया। नेकराम शर्मा को टोपी पहनाकर सम्मानित किया गया। उनके साथ पूर्व जिला परिषद सदस्य व समाजसेवी श्याम सिंह चौहान भी मौजूद थे। महिला शक्तिकरण मेँ प्रयासरत और प्राकृतिक खेती क़ी मास्टर ट्रेनर लीना शर्मा के प्राकृतिक खेती समूह ने पद्मश्री नेक राम का जोरदार स्वागत किया। इस अवसर पर विभिन्न महिला मंडलों, जिनमें महिला मंडल थाच, छंडयारा, पज्यानु, थाची, पन्याडू समेत अनेक महिला मंडल व अन्य किसान तथा अन्य लोग उपस्थित थे। पज्यानु महिलाओं मेँ ममता शर्मा सत्या कौंडल, सावित्री कौंडल, किरण शर्मा, मीना शर्मा, भुवनेश्वरी, शांता शर्मा, तारा शर्मा, तेजी देवी इत्यादि बहुत सी महिलाएं व पुरुष उपस्थित थे।
राजकीय आदर्श वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला पांगणा में स्काउट एंड गाइड के प्रथम सोपान का प्रशिक्षण शुरू हो गया है। इसमें बीपी सिक्स एक्सरसाइज, स्काउट एंड गाइड सैलूट, ओथ और सांग की ट्रेनिंग दी जा रही है। स्काउट एंड गाइड प्रभारी टीजीटी आर्ट्स रमेश चौहान और कमलेश शर्मा ने बताया कि इसके लिए विद्यालय में एक विशेष सत्र चलाया जा रहा है, जिसमें विद्यालय के सीनियर अध्यापक इंग्लिश प्रवक्ता मुनीश शर्मा के सहयोग से विद्यार्थियों को अपना ध्यान रखने और अनुशासन सेवा सहित कई कार्यों में प्रशिक्षित किया जा रहा है। स्काउट एंड गाइड के विद्यार्थियों ने एजुकेशनल और करिकुलर एक्टिविटी फंड के लिए सभी से 5100 रुपये एकत्रित कर ये राशि प्रधानाचार्य को भेंट की। विद्यालय के प्रधानाचार्य संजय कुमार ने विद्यार्थियों की प्रशंसा करते हुए उन्हें समाज कल्याण के लिए प्रेरित किया।
स्यांज बगड़ा का ऐतिहासिक ठिरशु मेला नाग धमुनी मंदिर स्यांज के परिसर में विधिवत संपन्न हुआ। मेले के समापन समारोह में स्थानीय विधायक दीप राज भन्थल ने शिरकत की। जानकारी देते हुए आशुतोष सारस्वत ने कहा कि इस मेले का आयोजन कई सदियों से किया जा रहा है। इस मेले का आयोजन सुकेत रियासत के सैन वंशज के राजाओं के कटवाल द्वारा क्षेत्र में लगे असाध्य रोग की मुक्ति के निवारण हेतु नाग धमुनी के मंदिर में किया गया था। आज भी इस परंपरा का निर्वहन नाग धमुनी के गणो के झाड़े से किया जाता है। ठिरशु मेला वसन्तोत्सव के रूप में भी मनाया जाता है। यह मेला वसंत ऋतु के मध्य में 11 व 12 प्रविषठे वैशाख को नाग धमुनी मंदिर स्यांज में विधिवत मनाया जाता है। मेले में डॉ . गोपाल चौहान राज्य कार्यक्रम अधिकारी स्वास्थ्य विभाग, एडी शर्मा समाजसेवी व सेवानिवृत महाप्रबंधक पर्यटन विभाग एवं नेक राम शर्मा पदम श्री 2023 को सम्मानित किया गया। इस अवसर पर विधायक भन्थल ने नाग धमुनी मंदिर के जीर्णोद्धार के लिए पांच लाख रुपये देने की घोषणा की। एक लाख रुपये की राशि डॉ. गोपाल चौहान ने मंदिर के जीर्णोद्धार के लिए भेंट की। कल्याण चौहान ने दस हजार रुपये की राशि आयोजन समिति को प्रदान की। विधायक दीप राज द्वारा 9 महिला मंडल तथा 4 युवक मंडलों को पांच पांच हजार रुपये की राशि प्रदान की। इस दौरान विशेष तौर पर केसर सिंह ठाकुर, गुलाब सिंह ठाकुर, राज कुमार, पन्ना लाल वर्मा, लाल चन्द वर्मा, दाखु राम शर्मा, बिट्टू वर्मा आदि उपस्थित रहे।
एसडीएम जोगिंद्र नगर कृष्ण कुमार शर्मा ने कहा कि भारत सरकार के वर्ष 2025 तक देश को क्षयरोग (टीबी) मुक्त बनाने के लक्ष्य प्राप्ति के लिए चौंतड़ा चिकित्सा खंड में क्षय रोग मुक्त पंचायत अभियान शुरू किया जाए। उन्होंने कहा कि विभाग के इस कदम से न केवल टीबी मुक्त पंचायत का लक्ष्य प्राप्त होगा, बल्कि क्षयरोग मुक्त भारत बनाने में भी मदद मिलेगी। एसडीएम आज चिकित्सा खंड लडभड़ोल की खंड स्तरीय क्षयरोग उन्मूलन समिति बैठक की अध्यक्षता कर रहे थे। बैठक में जिला क्षय रोग निगरानी अधिकारी डॉ. अरिंदम रॉय तथा डब्ल्यू.एच.ओ. सलाहकार हिमाचल डॉ. सैजल भी विशेष तौर पर उपस्थित रहे। बैठक का संचालन खंड चिकित्साधिकारी लडभड़ोल डॉ. ए.के. सिंह ने किया। कृष्ण कुमार शर्मा ने कहा कि देश से क्षयरोग के संपूर्ण उन्मूलन के लिए लोगों में टीबी के प्रति जागरूकता व गंभीरता होना बेहद आवश्यक है। उन्होने विभागीय अधिकारियों को ग्रामीण स्तर पर लोगों को क्षयरोग से जुड़े विभिन्न लक्षणों एवं बचाव के साथ व्यापक जन जागरूकता लाने पर भी बल दिया। एसडीएम ने विभागीय अधिकारियों के हवाले से बताया कि वर्तमान में लडभड़ोल चिकित्सा खंड में कुल 58 क्षयरोग पीड़ित मरीज उपचाराधीन हैं, जिनमें एक मरीज एमडीआर वर्ग का है। उन्होने बताया कि सरकार टीबी मरीजों को निक्षय पोषण योजना के तहत इलाज की पूर्ण अवधि तक प्रतिमाह 500 रुपये बतौर पोषण सहायता प्रदान करती है। साथ ही राज्य सरकार बिगड़ी टीबी के इलाज की पूर्ण अवधि तक मरीज को 1500 रुपये की राशि प्रदान करती है। चिकित्सा खण्ड लडभड़ोल के अंतर्गत वर्ष 2022 में 166 क्षयरोग लाभार्थियों को 4 लाख 77 हजार रुपये तथा वर्ष 2023 मे 36 क्षयरोग लाभार्थियों को 55 हजार रुपये की राशि का निर्वहन किया जा चुका है।
नगर परिषद जोगिंद्र नगर के तीन मनोनीत पार्षदों को एसडीएम जोगिंद्र कृष्ण कुमार शर्मा ने पद व गोपनीयता की शपथ दिलाई। इनमें रंजन शर्मा, प्रशांत शर्मा व अधिवक्ता सुनित कुमार शामिल हैं। एसडीएम जोगिंद्र नगर कृष्ण कुमार शर्मा ने बताया कि प्रदेश सरकार ने नगर परिषद जोगिंद्र नगर में तीन सदस्यों को मनोनीत किया है, जिन्हें आज पद व गोपनीयता की शपथ दिलाई गई है। नगर परिषद में मनोनीत तीनों पार्षदों ने नियुक्ति के लिए प्रदेश सरकार का आभार व्यक्त किया है तथा कहा कि नगर परिषद के विभिन्न विकास कार्यों में वे अपना पूरा सहयोग प्रदान करेंगे। वहीं, प्रदेश कांग्रेस सचिव जीवन ठाकुर भी इस अवसर पर विशेष रूप से उपस्थित रहे।
मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि प्रदेश के मेडिकल कॉलेजों में विश्व स्तरीय सुविधाएं उपलब्ध करवाई जाएंगी। यह बात उन्होंने आज जिला मंडी के श्री लाल बहादुर शास्त्री राजकीय चिकित्सा महाविद्यालय नेरचौक में एमबीबीएस चिकित्सकों के प्रथम दीक्षांत समारोह की अध्यक्षता करते हुए कही। समारोह में उन्होंने प्रथम बैच के चिकित्सकों को इंटरनशिप सर्टिफिकेट प्रदान किए। उन्होंने विद्यार्थियों की मांग पर चिकित्सा महाविद्यालय में खेल मैदान तथा अतिरिक्त हॉस्टल का निर्माण करने के लिए महाविद्यालय प्रबन्धन को भूमि का चयन करने के निर्देश दिए। मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू ने अपने संबोधन में कहा कि वर्तमान में चिकित्सकों को भी चुनौतियों से गुजरना पड़ रहा है। उन्होंने कहा कि चुनौतियों से निपटने के लिए कड़ा परिश्रम करना पड़ता है और मेहनत के बाद ही सफलता हासिल होती है। सरकारी क्षेत्र में रोजगार के सीमित अवसर होने के बावजूद राज्य सरकार चिकित्सकों को रोजगार के अवसर प्रदान करने की दिशा में कार्य कर रही है। उन्होंने कहा कि चिकित्सा विज्ञान में तकनीकी बदलावों के दृष्टिगत चिकित्सकों को नई तकनीक अपनाकर आगे बढ़ना होगा। ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि राज्य सरकार डिपार्टमेंट ऑफ इमरजेंसी मेडिसन बना रही है, जिसके तहत चिकित्सकों और पैरामेडिकल स्टाफ आठ घंटे की शिफ्ट में काम करेंगे। इससे आपातकालीन सेवाओं में गुणवत्ता बढ़ने के साथ-साथ चिकित्सक और पैरामेडिकल स्टॉफ स्वस्थ भी रहेंगे। मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार राज्य के चार चिकित्सा महाविद्यालयों शिमला, टांडा, नेरचौक, हमीरपुर में रोबोटिक सर्जरी शुरू करने जा रही है। शिमला और टांडा चिकित्सा महाविद्यालयों में लेटेस्ट पैट स्कैन और सीटी स्कैन की सुविधा दी जाएगी। उन्होंने कहा कि आने वाले समय में चिकित्सा महाविद्यालयों में विश्व स्तरीय सुविधाएं उपलब्ध करवाई जाएंगी और राज्य सरकार इस पर गंभीरता के साथ कार्य कर रही है। हमीरपुर में कैंसर का आधुनिक अस्पताल निर्मित किया जा रहा है। राज्य सरकार ने मेडिकल सर्विस कॉरपोरेशन का गठन किया है, जिससे सरकारी खरीद में पारदर्शिता आएगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार पेयजल की गुणवत्ता में सुधार के लिए प्रयास कर रही है और प्रदेश की सभी पेयजल योजनाओं में चरणबद्ध तरीके से यूवी आधारित वॉटर प्यूरिफाइर की तकनीक का इस्तेमाल किया जाएगा। ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि पिछली सरकार के वित्तीय कुप्रबंधन के कारण राज्य की आर्थिक स्थिति चिंताजनक थी, जिस कारण राज्य सरकार को 6 हजार करोड़ रुपये का ऋण लेना पड़ा है। उन्होंने कहा कि हिमाचल प्रदेश की अर्थव्यवस्था को चार वर्ष में पटरी पर लाया जाएगा, जिसके लिए कड़े फैसले लेने होंगे। उन्होंने कहा कि आईजीएमसी महाविद्यालय, शिमला ने देश को सर्वश्रेष्ठ चिकित्सक प्रदान किए हैं। आईजीएमसी से शिक्षा ग्रहण करने के उपरान्त चिकित्सक दिल्ली के सर्वश्रेष्ठ चिकित्सा संस्थानों में सेवाएं दे रहे हैं। उन्होंने कहा कि राजकीय महाविद्यालय संजौली के सीएसए का चुनाव जीता और 17 वर्ष की आयु में वह सीआर बने थे। उन्होंने हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय में बिताए दिनों को भी याद किया। स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री डॉ. (कर्नल) धनी राम शांडिल ने कहा कि विद्यार्थी के जीवन में कॉलेज का समय महत्वपूर्ण होता है। सभी उत्तीर्ण विद्यार्थियों को शुभकामनाएं देते हुए उन्होंने कहा कि कांग्रेस सरकार ने इस महाविद्यालय की स्थापना के लिए काफी प्रयास किए हैं और आज यहां बेहतर सुविधाएं उपलब्ध हैं, जिससे आम लोगों को भी सुविधाएं मिल रही हैं।
प्रदेश सरकार की स्वर्ण जयंती आश्रय योजना करसोग क्षेत्र के गरीब, पिछड़े व अल्प संख्यक वर्ग के लोगों के लिए सच में ही गोल्ड साबित हुई है। इस योजना के माध्यम से क्षेत्र के गरीब, पिछड़े व अल्प संख्यक वर्ग के लोगों का अपना पक्का घर होने का सपना साकार होगा। योजना के तहत करसोग क्षेत्र में बनने वाले सैकड़ों घरों का निर्माण करने को राज्य सरकार नेे स्वीकृति प्रदान कर दी है। इन घरों को बनाने पर राज्य सरकार लगभग 3 करोड़ रुपये से अधिक की धन राशि व्यय करेगी। योजना का लाभ पाने के लिए चयनित प्रत्येक लाभार्थी को योजना के तहत अपने सपनों का आशियाना बनाने के लिए प्रति घर एक लाख 50 हजार रुपये की वित्तीय सहायता प्रदान की जाएगी। करसोग क्षेत्र के लिए यह पहला मौका है कि एक साथ इतने अधिक, सैकड़ों मकान क्षेत्र के गरीब, पिछड़े व अल्प संख्यक वर्ग के लोगों के लिए स्वीकृत किए गए हैं। गत वर्षो में क्षेत्र के लोगों के लिए स्वीकृत किए गए मकानों की संख्या पर नजर डाली जाए तो एक वर्ष में 50-60 से ज्यादा मकान स्वीकृत नहीं होते थे, जबकि इस वित्तीय वर्ष में राज्य सरकार की ओर से एक साथ 215 लोगों के सपनों को पूरा करने के लिए अपनी स्वीकृती प्रदान की है। क्षेत्र के लोगों को यह सौगात, राज्य की सुख की सरकार के प्रयासों से संभव हुई है। दो किस्तों में मिलेगा पैसा चयनित सभी पात्र लाभार्थियों को पैसा दो किस्तों में दिया जाना है। क्षेत्र के लिए स्वीकृत कुल 215 घरों का निर्माण कार्य शुरू करवाने के लिए विभाग की ओर से पहली किस्त के रूप में लगभग डेढ़ करोड़ रुपये से अधिक की धन राशि सभी चयनित लाभार्थियों को प्रदान की जानी है। जिसकी प्रक्रिया विभाग द्वारा शुरू कर दी गई है। करसोग के तहसील कल्याण अधिकारी भोपाल शर्मा ने बताया कि स्वर्ण जयंती आश्रय योजना के तहत करसोग क्षेत्र के लिए इस वर्ष 215 मकान स्वीकृत हुए है। इन मकानों के निर्माण पर लगभग 3 करोड़ रुपये से अधिक की धन राशि व्यय की जानी है। सभी चयनित लाभार्थियों को योजना के तहत वित्तीय सहायता प्रदान करने की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है।
जिला एवं सत्र न्यायाधीश मंडी की अदालत में एक व्यक्ति रमेश कुमार गांव सिंहज को अनुसूचित जाति जनजाति से संबंधित एक व्यक्ति भूपेंद्र के साथ मारपीट करने और पीड़ित भूपेंद्र की मृत्यु का कारण बनने का दोष सिद्ध होने पर रमेश कुमार को भारतीय दंड संहिता की धारा 304 भाग 2 के तहत 7 वर्ष के कठोर कारावास के साथ 1,00,000 रुपये जुर्माने की सजा सुनाई है। साथ ही अनुसूचित जाति जनजाति अत्याचार निवारण अधिनियम की धारा 3(2)(अ) के तहत आजीवन कारावास के साथ 1,00,000 रुपये के जुर्माने की भी सजा सुनाई । आदेश के अनुसार यदि उक्त दोषी जुर्माना अदा नहीं करता है तो दोनों सजा में एक 1 वर्ष का अतिरिक्त कठोर कारावास दोषी को भुगतना पड़ेगा। कारावास की दोनों सजाएं साथ-साथ चलेंगी। लोक अभियोजक मंडी नवीन राही ने बताया कि दिनांक 23-10- 2018 को पुलिस को शिकायत प्राप्त हुई थी कि 22- 10 -2018 को भूपेंद्र कुमार अपनी बेटी के साथ बाजार गया था। उसकी बेटी घर वापस आ गई थी, जबकि वह घर नहीं आया था। 22-10 -2018 को रात 9:20 पर फोन पर सूचना मिली कि भूपेंद्र कुमार जख्मी हालत में करसोग अस्पताल में था। वहां से उसको शिमला आईजीएमसी और शिमला से चंडीगढ़ पीजीआई रेफर कर दिया गया। इस घटना के आधार पर दोषी के खिलाफ पुलिस थाना करसोग जिला मंडी में अभियोग संख्या 157- 2018 दर्ज हुआ था। इस मामले की छानबीन के दौरान ही पीजीआई में पीड़ित भूपेंद्र की मृत्यु हो गई थी। मामले की छानबीन पूरी होने पर मामले का चालान थाना अधिकारी करसोग द्वारा अदालत में दायर किया गया था। न्यायालय के समक्ष मामले में सरकार की तरफ से पैरवी जिला न्यायवादी कुलभूषण गौतम ने अमल में लाई थी और अभियोजन पक्ष ने इस मामले में 31 गवाहों के बयान कलमबद्ध करवाए थे।
बाल विकास परियोजना रिवालसर के अंतर्गत आंगनबाड़ी कार्यकर्ता व सहायिका के रिक्त पड़े कुल आठ पदों को भरा जाना हैं। इसमें आंगनबाड़ी कार्यकर्ता का एक पद तथा सहायिका के सात पद शामिल हैं। इन पदों के लिए पात्र व इच्छुक उम्मीदवार एक मई को सायं 5 बजे तक बाल विकास परियोजना अधिकारी (सीडीपीओ) रिवालसर कार्यालय में सभी आवश्यक दस्तावेजों के साथ अपना आवेदन पत्र प्रस्तुत कर सकते हैं, जबकि साक्षात्कार 4 मई को प्रात 11 बजे से उपमण्डलाधिकारी कार्यालय बल्ह में लिया जाएगा। यदि किसी कारणवश कोई उम्मीदवार निर्धारित तिथि व समय तक आवेदन पत्र जमा नहीं करवा पाता है तो ऐसे पात्र उम्मीदवार आवश्यक दस्तावेजों के साथ साक्षात्कार वाले दिन भी अपना आवेदन पत्र प्रस्तुत कर सकते हैं। इस बारे जानकारी देते हुए बाल विकास परियोजना अधिकारी रिवालसर संजीव ने बताया कि आंगनबाडी कार्यकर्ता का रिक्त पद ग्राम पंचायत बैरी के आंगनबाड़ी केंद्र अंद्रेटा में भरा जाना है। इसी तरह आंगनबाड़ी सहायिका के कुल सात रिक्त पदों में से ग्राम पंचायत रियूर का आंगनबाड़ी केंद्र सुक्का रियूर, ग्राम पंचायत दूसरा खाबू का सेरला खाबू-।।, लोअर रिवालसर के आंगनबाड़ी केंद्र धार-1 और धार-।।, डहणु का डहणु, कोठी का समलेहड़, बैहल पंचायत का मोहरी में एक-एक पद भरा जाना है। चयनित होने पर आंगनबाड़ी कार्यकर्ता व सहायिका को निर्धारित दर पर प्रतिमाह मानदेय दिया जाएगा। उन्होने बताया कि आंगनबाड़ी कार्यकत्र्ता व सहायिका के पदों हेतु केवल ऐसी महिला उम्मीदवार ही पात्र होंगी जिनकी आयु 21 से 45 वर्ष के मध्य होगी। इसके अलावा प्रार्थी का नाम संबंधित आंगनबाड़ी केंद्र के परिवारों की सूची में शामिल हो तथा प्रार्थी के परिवार की वार्षिक आय 35 हजार रुपये से अधिक न हो एवं इस बारे कार्यकारी दंडाधिकारी द्वारा आय प्रमाण पत्र जारी किया हो। इसके अतिरिक्त आवेदक का नाम पंचायत रजिस्टर में एक जनवरी, 2023 से पहले पंजीकृत होना चाहिए। सीडीपीओ ने बताया कि आंगनबाड़ी कार्यकर्ता के लिए न्यूनतम शैक्षणिक योग्यता 12वीं पास जबकि सहायिका के लिए आठवीं पास होना अनिवार्य है। इन रिक्त पदों के लिए इच्छुक व पात्र महिला उम्मीदवार सभी आवश्यक दस्तावेजों सहित एक मई सायं पांच बजे तक बाल विकास परियोजना अधिकारी कार्यालय रिवालसर को अपना आवेदन पत्र प्रस्तुत कर सकते हैं। यदि किसी कारणवश कोई उम्मीदवार निर्धारित तिथि व समय तक अपना आवेदन प्रस्तुत नहीं करवा पाता है तो साक्षात्कार वाले दिन भी सभी आवश्यक दस्तावेजों के साथ अपना आवेदन प्रस्तुत कर सकते हैं। उन्होने बताया कि 4 मई को प्रातः 11 बजे से एसडीएम कार्यालय बल्ह में साक्षात्कार लिया जाएगा। इस संबंध में अधिक जानकारी के लिए बाल विकास परियोजना अधिकारी कार्यालय रिवालसर से संपर्क किया जा सकता है।
मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू स्पिति घाटी के अपने पहले प्रवास के दौरान घाटी के रंग में रंगे नजर आए। अपने भाषण की शुरूआत उन्होंने ‘जूले’ कहकर की, जिसका हिंदी में अर्थ है नमस्ते। जूले कहते ही स्थानीय लोगों ने जोरदार तालियां बजाकर मुख्यमंत्री का स्वागत किया। इसके बाद स्थानीय निवासियों ने पारंपरिक परिधान "छूबा" पहनाकर उनका स्वागत भी किया। मुख्यमंत्री की धर्मपत्नी कमलेश ठाकुर को भी स्पिति वासियों ने पारंपरिक परिधान पहनाया। मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू ने स्थानीय संस्कृति पर आधारित कार्यक्रमों में गहरी रुचि दिखाई और कलाकारों की खुले मन से प्रशंसा की। उन्होंने कलाकारों को सम्मानित किया और सभी स्पितिवासियों को अपनी प्राचीन एवं अनूठी संस्कृति के संरक्षण के लिए बधाई भी दी।
हिमाचल प्रदेश में कोरोना की रफ़्तार लगातार बढ़ती जा रही है। संक्रमण के आंकड़ों में हर दिन बढ़ोतरी हो रही है। वहीं, कोरोना की संक्रमण दर भी अब आठ प्रतिशत को पार कर चुकी है। बीते कल को स्वास्थ्य विभाग द्वारा प्रदेश भर में कुल 5226 लोगों के सैंपल लिए थे। इनमें से 422 लोग कोरोना पॉजिटिव पाए गए हैं, जबकि दो लोगों की कोरोना से मौत हुई है। इनमें एक मौत ऊना और एक मौत कुल्लू जिला में हुई है। कोरोना के नए मामले कोरोना वायरस के नए मामलों में बिलासपुर जिला में 30, चंबा में 10, हमीरपुर में 71, कांगड़ा में 126, किन्नौर में सात, कुल्लू में आठ, लाहुल-स्पीति में आठ, मंडी में 85, शिमला में 23, सिरमौर में 21, सोलन में 20 और ऊना जिला में 14 नए मामले आए हैं। इन मामलों के साथ ही प्रदेश में कोरोना के एक्टिव केस 1762 हो चुके हैं, जबकि संक्रमण दर प्रदेश में 8.7 प्रतिशत हो चुकी है। कोरोना का संक्रमण मंडी, हमीरपुर और कांगड़ा जिला में सबसे ज्यादा है। एक्टिव केस की बात करें तो कांगड़ा जिला में 394, बिलासपुर में 143, चंबा में 171, हमीरपुर में 314, कांगड़ा में 392, किन्नौर में 26, कुल्लू में 60, लाहुल-स्पीति में 20, मंडी में 315, शिमला में 136, सिरमौर में 112, सोलन में 117 और ऊना में 56 एक्टिव केस है। स्वास्थ्य विभाग ने लोगों से अपील की है कि कोरोना संक्रमण को रोकने के लिए कोविड प्रोटोकॉल का पालन करे।
राज्यपाल शिव प्रताप शुक्ल ने कहा कि हिमाचल प्रदेश को नशामुक्त राज्य बनाने में हम सभी को सामूहिक जिम्मेदारी के साथ नशीले पदार्थों के खिलाफ अभियान को गति प्रदान करते हुए इसे आगे ले जाना होगा। आज मंडी के समीप रघुनाथ का पधर में स्थित नशा निवारण केंद्र के दौरे के दौरान उन्होंने यह बात कही। राज्यपाल ने कहा कि इस कार्य में समय अवश्य लग सकता है लेकिन यह असंभव कदापि नहीं है। उन्होंने कहा कि प्रत्येक व्यक्ति के सहयोग से हम नशा निवारण अभियान में निश्चित तौर पर सफलता प्राप्त कर सकते हैं। शुक्ल ने कहा कि राज्य सरकार नशीले पदार्थों के विरुद्ध प्रभावी ढंग से कार्य कर रही है। राज्यपाल के तौर पर उन्होंने भी एक अभियान के रूप में इस कार्य को आगे बढ़ाते हुए सभी के सहयोग से हिमाचल को नशामुक्त बनाने की दिशा में प्रयास आरंभ किए हैं। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री के क्षय रोग मुक्त भारत अभियान को भी इसी तर्ज पर आगे बढ़ाते हुए हिमाचल को भी क्षय रोग मुक्त राज्य बनाने के लिए कार्य किया जाएगा। राज्यपाल ने केंद्र में उपचाराधीन आवासियों से संवाद भी किया। इस दौरान प्राप्त जानकारी पर संज्ञान लेते हुए राज्यपाल ने उपायुक्त को निजी स्तर पर संचालित किए जा रहे नशा निवारण केंद्रों की निगरानी के निर्देश भी दिए। इससे पहले, राज्यपाल ने क्षेत्रीय अस्पताल मंडी में आईसीयू, कैजुअल्टी ओपीडी और हंस रिनल केयर सेंटर का दौरा किया और रोगियों को उपलब्ध करवाई जा रही सेवाओं की जानकारी प्राप्त की। उन्होंने अस्पताल में उपलब्ध सुविधाओं की समीक्षा भी की। राज्यपाल ने जिला रेडक्रॉस के माध्यम से अस्पताल में रोगियों को डिजिटल एक्स-रे, ईसीजी और एंबुलेंस इत्यादि की सुविधा उपलब्ध करवाने पर संतोष व्यक्त किया। स्थानीय विधायक अनिल शर्मा, उपायुक्त अरिंदम चौधरी सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी इस अवसर पर उपस्थित थे।
हिमाचल प्रदेश में हुए 2022 के विधानसभा चुनावों में कांग्रेस सत्ता में तो आई मगर पार्टी के कई दिग्गज नेता चुनाव हार गए। हारने वाले इन दिग्गजों में कांग्रेस के वरिष्ठ नेता व पूर्व प्रदेश अध्यक्ष कौल सिंह ठाकुर का नाम भी शामिल था। कौल सिंह ठाकुर चुनाव से पहले लगातार मुख्यमंत्री पद पर भी अपनी दावेदारी पेश कर रहे थे मगर वो चुनाव तक नहीं जीत पाए और कौल सिंह ठाकुर को चुनाव हराने वाले नेता थे भाजपा की ओर से पहली बार चुनाव लड़े पूर्ण चंद ठाकुर। द्रंग की जनता ने पूर्ण चंद ठाकुर को चुनाव जीता कर विधानसभा भेजा और अब वे सदन में लगातार अपने क्षेत्र की जनता की आवाज़ उठा रहे है। विधानसभा के बजट सत्र के दौरान द्रंग के किन मुद्दों को पूर्ण चंद ठाकुर ने सदन में उठाया, इस पर फर्स्ट वर्डिक्ट ने उनसे ख़ास बातचीत की। पेश है बातचीत के कुछ मुख्य अंश ..................... सवाल : सदन में आपने आउटसोर्स कर्मचारियों को लेकर सवाल उठाए, क्या आपके विधानसभा क्षेत्र में भी आउटसोर्स कर्मचारियों की स्थिति खराब है? जवाब : देखिए आउटसोर्स पूरे प्रदेश से सम्बंधित मुद्दा है लेकिन मैंने द्रंग चुनाव क्षेत्र का विधायक होने के नाते अपने क्षेत्र की ही बात की। जयराम सरकार ने द्रंग क्षेत्र में जल शक्ति और पीडब्ल्यूडी विभाग में आउटसोर्स के माध्यम से कुछ कर्मचारी लगाए थे। इसके बाद 2022 में सत्ता का परिवर्तन हुआ और जल शक्ति विभाग से आउटसोर्स कर्मचारियों को हटा दिया गया। इससे संबंधित मैंने सवाल विधानसभा में लगाया था। इसके सम्बन्ध में मुझे जो जवाब आया उसमे मुझे बताया गया कि जो कर्मचारी हटाए गए है वह प्राइवेट कंपनी के जरिये लगाए गए थे और उनका कॉन्ट्रैक्ट खत्म हो चुका है। मैंने यह मांग की थी कि जो कर्मचारी निकाले गए है या तो उन्हें वापिस नौकरी पर रखा जाये या किसी और को उनके स्थान पर भर्ती किया जाए। इसके अलावा पीडब्ल्यूडी विभाग में भी जो आउटसोर्स पर कर्मचारी लगाए गए थे उन्हें भी 30 से 40 किलोमीटर दूर लगाया गया है। कई कर्मचारी तो ऐसे है जिनके राजनैतिक द्वेष की भावना से तबादले किये जा रहे है। इन कर्मियों को 3 से 4 हज़ार रूपए मिलता है और उन्हें 30 से 40 किलोमीटर भेजा गया है। मैंने सरकार के समक्ष यह बात रखी है कि जिन्हें पंचायत स्तर पर रखा गया था उन्हें पंचायत में ही रखा जाए ताकि ये लोग अपने लोगों की सेवा भी कर सके। यह लोग इतना दूर जाएंगे तो मानदेय से ज्यादा पैसा इनके आने-जाने में ही लग जायेगा या इतना दूर जाकर रहेंगे तो इतना खर्च केवल किराये के कमरे में लग जाएगा। सरकार ने मुझे आश्वासन दिया है कि इस पर विचार किया जाएगा। सवाल : द्रंग विधानसभा क्षेत्र में शिक्षकों की कमी का मुद्दा भी काफी गरमाया है, इस पर आप क्या कहेंगे ? जवाब : द्रंग विधानसभा क्षेत्र में कुल 300 प्राथमिक पाठशाला है जिसमें 365 पद शिक्षकों के स्वीकृत है। यहाँ 365 पद स्वीकृत होने के बावजूद 178 जेबीटी की पोस्टें खाली है और इसके बावजूद भी शिक्षकों के तबादले किये जा रहे है जो बच्चों के साथ खिलवाड़ है। इसके अलावा 7 से 8 पाठशाला ऐसी है जो बिना शिक्षकों के चल रही है जिनमे प्रत्येक पाठशाला में करीब 20 से 30 बच्चे शिक्षा ग्रहण कर रहे है। द्रंग के हमारे कांग्रेस पार्टी के नेता एक ओर कहते है कि शिक्षा को सुदृढ़ करना है और दूसरी ओर शिक्षकों के तबादले कर रहे है। यह भेदभाव की राजनीति कर रहे है और यदि ऐसा चलता रहा तो लोग सड़कों पर धरने पर बैठ जायेंगे और हम भी उनके साथ इसमें हिस्सा लेंगे। मैंने सरकार से आग्रह किया है कि यदि किसी शिक्षक का तबादला हो रहा है तो उसके स्थान पर किसी दूसरे शिक्षक की नियुक्ति भी की जाए। सवाल : द्रंग दूरदराज का क्षेत्र है, इस क्षेत्र के और किन-किन मुद्दों को आप विधानसभा के अंदर और बाहर उठा रहे है ? जवाब : द्रंग के ज्वलंत मुद्दों को लेकर मैंने विधानसभा में बात रखी है। चाहे वह शिक्षा है, स्वास्थ्य है या अन्य मुद्दे है। पिछली सरकार में द्रंग विधानसभा क्षेत्र में बहुत काम हुए है लेकिन अभी भी वहां पर बहुत काम किया जाना बाकी है। द्रंग चुनाव क्षेत्र का क्षेत्रफल 900 वर्ग किलोमीटर है जो पूरे हमीरपुर जिले के बराबर है। कई ऐसे गाँव है जो अभी तक सड़कों से नहीं जुड़े है और जो सड़कें है उनकी भी हालत ठीक नहीं है। इसके साथ ही कई लिंक रोड है जिनका काम होना है, ऐसे कई कार्य है जो क्षेत्र में अभी होने है। मैं अपनी समझ के अनुसार कहता हूँ कि इन सभी छोटे कार्यों को मनरेगा के अंदर डाला जाना चाहिए क्यूंकि मनरेगा में बहुत पैसा है। इससे लोगों को भी काम मिलेगा और सड़कों का कार्य पूरा होने से लोगों को सुविधाएँ भी मिलेगी। इसके अलावा हमारे क्षेत्र में डॉक्टरों के पद खाली चले हुए है हमने इसके बारे में भी सरकार से बात की है। लेकिन द्रंग के कांग्रेस नेता शायद द्रंग का विकास नहीं चाहते है। मैं उन नेताओं से कहना चाहूंगा कि यदि आपको संस्थान नहीं चाहिए, अध्यापक, डॉक्टर, पैरामेडिकल स्टाफ नहीं चाहिए तो आप लिख कर दे दीजिए कि हमें इन सब की आवश्यकता नहीं है। इसके बाद हम देखेंगे कि जनता उन नेताओं का क्या हश्र करेगी। सवाल : हिमाचल प्रदेश की नई सरकार के पहले बजट पर आपकी क्या राय है ? जवाब : सरकार ने अपने हिसाब से बजट को बनाया है और इसके बारे में बेहतर होगा कि भाजपा का शीर्ष नेतृत्व ही बात करे । सवाल : अंत में जनता को क्या सन्देश देना चाहेंगे ? जवाब : द्रंग की जनता को मैं यह सन्देश देना चाहूंगा कि मैं पिछले 30 से 40 सालों से चाहे किसी भी पद पर रहा हूँ मैंने केवल जनता की सेवा की है। आगे भी मैं जनता से यही कहना चाहूंगा जो भी मेरे क्षेत्र की, जनता की समस्याएं या कार्य होंगे मैं सरकार से उन्हें पूरा करवाने के लिए हमेशा तत्पर रहूँगा।
विधानसभा बजट सत्र के दौरान विधायकों द्वारा अपने क्षेत्र के विभिन्न मुद्दे सदन में उठाये जा रहे है। कांग्रेस के नवनिर्वाचित विधायक चंद्रशेखर द्वारा भी विभिन्न मुद्दों को सदन में उठाया गया और वह भाजपा की पूर्व सरकार पर भी हमलावर रहे। फर्स्ट वर्डिक्ट मीडिया द्वारा मंडी जिला के धर्मपुर विधानसभा क्षेत्र से कांग्रेस विधायक चंद्रशेखर से ऐसे ही विषयों को लेकर चर्चा की गई, पेश है चर्चा के मुख्य अंश........................... सवाल : धर्मपुर विधानसभा क्षेत्र के किन मुद्दों को आपने सदन में उठाया है ? जवाब : धर्मपुर दूर दराज़ क्षेत्र है और लोगों की आर्थिकी मुख्य तौर पर मनरेगा पर निर्भर करती है, लेकिन केंद्र सरकार द्वारा मनरेगा को हाशिये पर धकेलने का प्रयास किया जा रहा है, वह दुखद है। इस विषय को लेकर मैं भी मुखर हूँ और मैंने सदन में भी इस विषय पर चर्चा की मांग की है और प्रश्न भी उठाये है। दिहाड़ीदार महिलाओं की 3 बार दिन की हाज़री असहनीय है। इसके अलावा भी कई मसलें है जिनको लेकर हम सदन में अपनी आवाज़ बुलंद कर रहे है। पिछले मंत्री तो हमारे लिए वहां बहुत कुछ अधूरे कार्य छोड़ कर चले गए लेकिन हम सभी कार्यों को साथ में लेकर आगे बढ़ेंगे और जनता के लिए कार्य करेंगे। सवाल : विधायकों के अधिकारों को लेकर सदन में मुद्दा गूंजा था जिसपर आपने भी सहमति जताई थी, हम आपसे जानना चाहेंगे कि आपके अनुसार विधायकों के किन मुद्दों का हनन हो रहा है ? जवाब : विधायकगण इस बात से बड़ा आहत हुए जब विधायकों का चालान काटने का एक रिवाज़ ही पड़ गया। इसी सत्र के दौरान 3 विधायकों का चालान हो गया। यह बात किसी पार्टी विशेष की नहीं है बल्कि सभी पार्टी के विधायकों के चालान किये जा रहे है। मुझे स्वयं परवाणू बॉर्डर पर पुलिस ने पार्टी का झंडा लगाने पर चालान के लिए रोका हालाँकि चालान नहीं हुआ। इसके अलावा दूसरा प्रश्न यह था कि सब डिवीज़न स्तर पर जैसे एसडीएम या अन्य अधिकारियों के लिए चैम्बर्स या रूम्स है तो विधायकों के लिए वहां चैम्बर का प्रावधान किया जाए ताकि विधायक जनता से मिल सके और उनकी समस्यों को सुन सके। इसके साथ ही जिला मुख्यालय में भी किसी चैम्बर या रूम का प्रावधान हो ताकि जब हम अपने क्षेत्र के लोगों की आवाज़ लेकर जाए तो एक सम्मान जनक स्थिति में हम उनका निपटारा अधिकारियों से करवा सके। इसके साथ ही जो तीसरा प्रश्न था कि विधायकों के लिए यदि एक झंडी मिल जाये तो विधायकों की भी एक गरिमा बनी रहेगी क्यूंकि लाखो जनता के सामने हम भी नतमस्तक हो कर यहाँ पहुँचते है तो विधायकों को भी यह अधिकार मिलना चाहिए। सवाल : क्या आप मानते है कि मोटर व्हीकल एक्ट को लेकर कुछ बदलाव होने चाहिए ? जवाब : मुख्यमंत्री ने इस विषय को लेकर दरियादिली दिखाई है। उन्होंने कहा है कि हम कार्यपालिका और न्यायपालिका के कार्यों में व्यवधान ना डालें और इसके साथ ही विधायकों की गरिमा को भी बरकरार रखा जाना चाहिए। इसको लेकर मुख्यमंत्री द्वारा कमेटी को बनाने का आश्वासन दिया है। मुझे पूरी आशा है कि इसी सत्र के दौरान इस कमेटी का गठन किया जायेगा और इसके साथ ही न्यायपालिका के जो लोग होंगे उनके साथ भी चर्चा करने के बाद एक सकारात्मक कदम इस ओर उठाया जायेगा। सवाल : सदन में जनमंच का मुद्दा गूंजा था। कांग्रेस ने सत्ता में आते ही जनमंच को बंद कर दिया लेकिन भाजपा का तर्क है की जनमंच के जरिए दूरदराज़ के क्षेत्रों के लोगों कि समस्याओं को सुलझाया जा सकता था। इस मसले पर आपकी व्यक्तिगत राय क्या है ? क्या जनमंच को बंद किया जाना चाहिए था ? जवाब : हर सरकार में इसके नाम बदले जाते है लेकिन प्रयास, मंशा और इच्छा वही रहती है। जब वीरभद्र सिंह मुख्यमंत्री थे तो हमारी सरकार में प्रशासन जनता के द्वार कार्यक्रम चलता था, भाजपा ने उसे बदल कर जनमंच कर दिया। मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने भी आश्वासन दिया है कि हम भी बहुत जल्द अपने कार्यक्रम लांच करेंगे और जनता की समस्याओं को सुनेंगे, लेकिन भाजपा के जनमंच में कई खामियां थी, जैसे अधिकारियों को बेइज़्ज़त किया गया, जो सरासर गलत था। इसके अलावा 3 करोड़ रूपए लंच पर खर्च कर दिया गया और इतना ही पैसा टेंट पर भी खर्च कर दिया गया जो किसी भी सूरत में तर्कसंगत नहीं था। इस पर सुक्खू सरकार अपने तरीकों से आगे बढ़ेगी। मुख्यमंत्री हमेशा जनता के पक्ष को तरजीह देते है और मेरा मानना है कि आने वाले समय में इससे भी बेहतर कार्यक्रम मुख्यमंत्री ले कर आएंगे। सवाल : क्या आपका मानना है कि कांग्रेस ऐसे कार्यक्रमों पर खर्च नहीं करेगी ? जवाब : जन आकांक्षाओं पर यदि खरा उतरना है तो साधारण तरीकों से भी ऐसे कार्यक्रमों को किया जा सकता है। करीब साढ़े 5 करोड़ रूपए लंच और टेंट पर भाजपा द्वारा खर्च किया गया जो केवल एक फिजूल खर्ची थी। जनता की समस्याओं को सुनने के कार्यक्रमों को और भी आसान और साधारण तरीकों से किया जा सकता है। हमे केवल जनता का पक्ष सुनना है और उसमे अधिकारियों का पक्ष रखना है तो उसमे फिजूलखर्ची करना तर्कसंगत नहीं है। सवाल : सुक्खू सरकार के पहले बजट को लेकर आपकी क्या राय है? जवाब : यह एक लोक प्रिय बजट है। कांग्रेस द्वारा ओपीएस दिए जाने के बाद विपक्ष पहले ही बैकफुट पर चला गया था, इसके अलावा 2 लाख 31 हज़ार महिलों को 1500 रूपए प्रतिमाह देना भी आसान कार्य नहीं था। मनरेगा जैसी स्कीम में पिछली सरकार ने 5 सालों में कुल 23 रूपए बढ़ाये और इस सरकार ने पहले ही साल में 28 रूपए बढ़ा दिए। मनरेगा में करीब 9 लाख महिलाएं कार्यरत है और उनके लिए यह एक हर्ष का विषय है। हम मनरेगा को और मजबूत करना चाहते है यह हमारे घोषणा पत्र का भी हिस्सा है। इसके अलावा मुख्य्मंत्री ने हर पक्ष को फायदा दिया है। ग्रीन कॉरिडोर वाला हिमाचल देश का पहला राज्य बना है और यह हम नहीं कह रहे है, अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर यह घोषणा हुई है और प्रधानमंत्री मोदी ने उस पर हस्ताक्षर किये है। हिमाचल प्रदेश को ग्रीन कॉरिडोर में नंबर एक आँका गया है। इसके साथ ही ई-व्हीकल को बढ़ाने की बजट में बात की गई है, 1500 इलेक्ट्रिक बसों को लेने की भी बात की गई है। इसके साथ ही सरकार ने 25 हज़ार नौकरियां देने की बात कही है और गैर सरकारी क्षेत्र को मिला कर एक लाख नौकरियां देने की बात कही गई है। पिछली सरकार में बेरोज़गारों के साथ जो छल हुआ है उसका भी हमारी सरकार ने पर्दाफाश किया है। एसएससी को भंग करना पड़ा है, यदि वह फैसला सही नहीं होता तो उसके खिलाफ आवाज़ उठती, लेकिन उसके खिलाफ एक भी आवाज़ नहीं उठी जिसका मतलब था कि वह फैसला एक दम सही था। मंडी के सरदार पटेल विश्वविधालय, हिमाचल प्रदेश विश्वविधालय, पुलिस भर्ती में अनियमितताएं हुई है, जेओए के 4 टेस्ट अभी भी लंबित पड़े है और सैकड़ों युवा शिमला और सचिवालय के चक्कर काट रहे है। यह वही लोग है जो अपनी मेहनत से टेस्ट क्लियर करने के लिए तैयारियां कर रहे है लेकिन इनकी बातों को नज़रअंदाज़ कर दिया जाता है। केवल राजनीति की जाती है लेकिन ऐसे महत्वपूर्ण मसलों पर भाजपा क्यों चुप है। आने वाले लम्बे समय के लिए इस बजट की गूंज रहेगी। यह बजट आने वाले पांच वर्षों की दिशा तय कर रहा है। विपक्ष के पास कोई मुद्दा नहीं है, यह एक मुद्दा विहीन विपक्ष है। क्यूंकि यह विपक्ष है इस लिए बजट को ऑप्पोज कर रहे है। सवाल : मंडी जिला से आप एक मात्र कांग्रेस विधायक है, क्या मंडी को तरजीह दी जाएगी या भेदभाव होगा ? जवाब : मंडी के साथ पिछली सरकार में भेदभाव हुआ है, मंडी में बड़े बड़े प्रोजेक्टों को लाने की बात हुई, कहाँ है वह हवाई अड्डा ? नेरचौक से मंडी ऊना को जोड़ने वाला एक रोड बनना था वह भी नहीं बन पाया, सरदार पटेल विश्वविधालय क्लस्टर विश्वविधालय बनना था जिसके लिए भाजपा ने केंद्र के पैसे को ठुकरा दिया और कहा कि हम अपना पैसा लाएंगे। क्या प्रदेश इतना आमिर हो गया कि अपना पैसा लगा कर अपनी यूनिवर्सिटी लॉन्च की और बैक डोर से सारे नियमों को ताक पर रख कर अपने लोगों को उसमे भर्ती करवाया। टूरिज्म के नाम पर क्या विकसित हुआ ? मात्र 40 करोड़ रूपए आप एडीपी से लाए जबकि शिवधाम को बनाने में करीब 200 से 250 करोड़ तक पैसा लगना था। मंडी से पिछली सरकार ने वोट तो लिए लेकिन मंडी को क्या दिया यह आज तक मंडी के लोग समझ नहीं पाए है। मंडी शिवरात्रि को लोगों की आकांक्षाओं के अनुसार चलना था वह कार्य भी पिछली सरकार नहीं कर पायी तो पिछली सरकार ने किया क्या। सवाल : इससे पहले जब कांग्रेस विपक्ष में थी तो कांग्रेस भाजपा पर आरोप लगाती थी कि पूरे प्रदेश से सब कुछ उठा कर जयराम मंडी ले गए है लेकिन अब आप कह रहे है कि मंडी को भाजपा ने कुछ नहीं दिया? जवाब : कांग्रेस जिस नज़रिये से कह रही थी वह अब सामने आ रहे है। 20 रेस्टहाउस जयराम ठाकुर के विधानसभा क्षेत्र में बन गए, 14 रेस्टहाउस हमारे विधानसभा क्षेत्र में बन गए, लेकिन वह किसने मांगे यह बड़ा सवाल है। जयराम ठाकुर अपने विधानसभा क्षेत्र में अटल स्कूल तक नहीं बना पाए। धर्मपुर विधानसभा क्षेत्र में स्कूल का केवल 60 प्रतिशत कार्य हुआ और नाचन विधानसभा क्षेत्र में केवल 30 प्रतिशत कार्य हुआ। जयराम ठाकुर अपनी महत्वकांशी योजना को अपने ही जिला में लागू नहीं कर पाए तो उन्होंने मंडी जिला को दिया ही क्या है। मंडी पर केवल मुख्यमंत्री का एक फट्टा लगा दिया गया और मंडी की जनता को भाजपा ने उसी में गोलबंद कर दिया जिसमे जनता इस बार भी फंस गई, लेकिन अब सुखविंदर सिंह सुक्खू की सरकार है और बिना किसी भेदभाव के कार्य करने वाली सरकार है। मैं मानता हूँ कि मैं पूरे जिला से कांग्रेस का एक मात्र विधायक चुन कर आया हूँ लेकिन आने वाले समय में आपके सामने हम एक एक प्रमाण लेकर आएंगे कि पिछले 5 वर्षों में मंडी के साथ क्या क्या हुआ है। भाजपा के हल्ले का जवाब हम आने वाले समय में देंगे और आगामी चुनावों में भाजपा के मंडी किले को हम भेद कर दिखाएंगे।
राज्य स्तरीय लघु शिवरात्रि मेला जोगिंद्र नगर की प्रथम सांस्कृतिक संध्या में हारमनी ऑफ पाइन्स पुलिस बैंड सहित प्रदेश के सुप्रसिद्ध गायक इंशांत भारद्वाज, राखी गौतम, मांडव्य कला मंच मंडी के कलाकारों व स्थानीय कलाकारों ने लोगों का भरपूर मनोरंजन किया। हालांकि मेले की जलेब के समय मौसम साफ रहा पर जैसे ही सांस्कृतिक संध्या का आगाज़ हुआ रिमझिम बारिश शुरू हो गई। पुराने मेला मैदान में प्रशासन द्वारा बारिश के मिजाज को भांपते हुए वाटर प्रूफ डॉम को भी स्थापित किया गया है, जिसमें बैठकर लोगों ने सांस्कृतिक संध्या का लुत्फ उठाया। हारमनी ऑफ पाइन्स पुलिस बैंड के कलाकारों ने देशभक्ति के गीतों से अपने कार्यक्रम की शुरूआत की तथा उसके बाद पुराने व नए फिल्मी गानों सहित पहाड़ी गीतों द्वारा लोगों का मनोरंजन किया। इसके बाद इंशांत भारद्वाज ने शिवा रे कैलाशा, सिमलो, जिंदड़ी नमाणी, कान्हा री मुरली, बिन्द्रा बणा ओ खेरी गोजरिए व निक्की जिन्नी गोजरी गाकर मेले में आए लोगों को झृूमने पर मजबूर कर दिया। वहीं, राखी गौतम ने तारे हैं बाराती, तेरी आखया का यो काजल, ले जाएं जाने कहां हवांए, ओ मेरे सोना रे, पतली कमरिया आदि गीत गाकर जनता का भरपूर मनोरंजन किया। मांडव्य कला मंच मंडी के कलाकारों ने मंडी का सुप्रसित्र लोकनृत्य लुड्डी प्रस्तुुत कर दर्शकों को मंत्रमुगध किया। इससे पूर्व दीपिका बंसल, दिनेश गुप्ता व मनीश पराशर व चमन कौशल ने नृत्य तथा सौरभ शर्मा, संदीप शर्मा, सुभाष राणा, संदीप शर्मा, गोपाल सिंह, देवी सिंह ठाकुर, राज कुमार व परीक्षित ने लोगों का मनोरंजन किया।
एसडीएम जोगिंद्र नगर कृष्ण कुमार शर्मा ने कहा कि राज्य स्तरीय लघु शिवरात्रि मेले की आय-व्यय संबंधी जानकारी सार्वजनिक तौर पर लोगों के लिए उपलब्ध रहेगी। मेला समिति के आय-व्यय में व्यापक पारदर्शिता बनाए रखने के लिए यह निर्णय लिया गया है। कोई भी व्यक्ति मेले की आय-व्यय की जानकारी उनके कार्यालय से ले सकता है। एसडीएम ने कहा कि इस बार मेले की सांस्कृतिक संध्याओं को थीम आधारित आयोजित किया जा रहा है। इनमें महिला विशेष, युवा एवं पहाड़ी विशेष सांस्कृतिक संध्याएं शामिल रहेंगी। मेले के दौरान महिला मंडलों के साथ-साथ स्कूलों व कॉलेजों के विद्यार्थियों के लिए सांस्कृतिक एवं खेल स्पर्धाएं भी आयोजित की जा रही हैं। गत वर्ष की भांति इस बार भी बेटियों को मंच प्रदान करते हुए ब्यूटी कॉन्टेस्ट (मिस जोगिंद्र नगर) आयोजित किया जा रहा है। कहा कि युवाओं को नशे से दूर रखने तथा खेलों के प्रति आकर्षित करने के लिए विभिन्न खेल स्पर्धाएं भी आयोजित की जा रही हैं। इसके अलावा कुश्ती, मैराथन व पेंटिंग प्रतियोगिता भी आयोजित होंगी। इन प्रतियोगिताओं के विजेताओं को नकद राशि प्रदान कर पुरस्कृत किया जाएगा। उन्होंने कहा कि प्रत्येक वर्ष की भांति इस बार भी पहली अप्रैल को मेले का शुभारंभ व पांच अप्रैल को मेले का समापन देवी देवताओं की भव्य जलेब के साथ किया जाएगा। इस बार मेला समिति ने एक सौ से अधिक देवी देवताओं को मेले में शामिल होने का निमंत्रण दिया है। एसडीएम ने कहा कि मेला अवधि के दौरान यातायात व्यवस्था को सुचारू बनाए रखने तथा पार्किंग की अतिरिक्त व्यवस्था करने की दिशा में भी कार्य किया जा रहा है ताकि लोगों को असुविधा का सामना न करना पड़े। साथ ही सांस्कृतिक संध्याओं के दौरान कानून एवं व्यवस्था बनाए रखने के लिए सुरक्षा बलों का भी व्यापक इंतजाम किया जाएगा तथा असामाजिक तत्वों पर कड़ी नजर रखते हुए सख्त कदम उठाए जाएंगे।
जिला मंडी कांग्रेस कमेटी के उपाध्यक्ष गुरु शरण परमार ने राहुल गांधी को अदालत द्वारा दो साल की सजा सुनाने के खिलाफ कांग्रेस कार्यकर्ताओं द्वारा निकाली गई रैली को संबोधित करते हुए कहा कि नरेंद्र मोदी न्यायपालिका को अपने मनमुताबिक निर्णय सुनाने के लिए मजबूर कर रहे हैं l यह देश के लोकतंत्र के लिए एक अच्छा संकेत नहीं है l 2019 में मोदी उपनाम वाले बयान पर अब 2023 में आकर लगा कि यह इतना बड़ा जुर्म है कि उनको दो साल की सजा सुनाई गई l आज मोदी अभिव्यक्ति की आजादी को छीनकर लोकतंत्र का गला घोंटना चाहते हैंl चुनावों के समय प्रधानमंत्री भी पद की गरिमा को भुलाते हुए कई कुछ कह जाते हैं, ऐसे में उनको भी बहुत बड़ी सजा होनी चाहिए।
जोगिंदर नगर उपमंडल की मसौली पंचायत के छतर गांव में मंगलवार सुबह 3 बजे शरारती तत्वों ने एक बाइक को आग लगा दी। आग की चपेट में आने से साथ खड़ी की गईं दो अन्य कारें भी आंशिक रूप से जल गईं। जानकारी के अनुसार गांव के सुरेश कुमार पुत्र कालू राम की बाइक को किसी ने आग लगा दी। आग की चपेट में सुरेश कुमार की एक गाड़ी एवं संजय कुमार की गाड़ी भी आ गई, दोनों कारें आंशिक रूप से जल गईं। घटना की पुष्टि करते हुए जोगिंदर नगर थाना प्रभारी प्रितम जरियाल ने बताया कि घटना की सूचना मिलते ही पुलिस मौके पर पहुंची और इस बारे में मामला दर्ज कर लिया गया। पुलिस मामले की जांच में जुट गई है। वहीं, पंचायत प्रधान अंजना शर्मा ने घटना पर गहरी चिंता प्रकट करते हुए पुलिस से ऐसे शरारती तत्वों को जल्द से जल्द पकड़ कर उन पर सख्त कार्रवाई करने की मांग की है।
हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू आज अपना पहला बजट पेश कर रहे हैं। मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू आज अपना पहला बजट पेश करने के लिए इलेक्ट्रिक कार में पहुंचे। हिमाचल प्रदेश में बजट पेश होने से पहले ही विपक्ष ने विरोध शुरू कर दिया है। नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर की अगुवाई में विपक्ष के विधायक काली पट्टी लगाकर सदन में पहुंचे। सीएम सुक्खू ने कई ऐलान किये है, जानिए प्रदेशवासियों की झोली में इस वर्ष प्रदेश सरकार ने क्या दिया ** प्रदेश के युवाओं को उनकी अपनी भूमि पर या लीज पर ली गई भूमि पर 200 किलो वाट से 2 मेगा वाट की परियोजना स्थापित करने के लिए 40 फीसदी सब्सिडी अनुदान सहित दी जाएगी **प्राइवेट बस ऑपरेटर्स को E -BUS खरीद के लिए 50 प्रतिशत की दर से 50 लाख तक की सब्सिडी दी जाएगी ** नादौन और शिमला में ई बस डिपो बनेंगे, HRTC चलाएगी 1500 ई बस ** एनपीएस कर्मचारियों के 8 हजार करोड़ रुपये केंद्र से वापस लाने के लिए भी सदन में विपक्ष से सहयोग मांगा ** हिमाचल प्रदेश पथ परिवहन की 1500 डीजल बसों को ई-बसों में बदलने की घोषणा, एक हजार करोड़ रुपए खर्च करने का प्रावधान की कही बात **नादौन और शिमला में ई-बस डिपो बनाया जाएगा **प्राइवेट ऑपरेटर्स को चार्जिंग स्टेशन बनाने के लिए 50 प्रतिशत की दर से सब्सिडी दी जाएगी **हिमाचल प्रदेश में हर उपमंडल की दो पंचायतें ग्रीन पंचायतें बनेगी, प्रदेश में ग्रीन हाइड्रोजन नीति लाई जाएगी: सुक्खू ** वरिष्ठ नागरिकों के लिए ओल्ढ एज होम विकसित किए जाएंगे: CM सुक्खू ** सभी जिले हेलीपोर्ट से जोड़े जाएंगे: CM सुक्खू **मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने मंडी एयरपोर्ट के लिए 1000 करोड़ रुपये जारी करवाने के लिए विपक्ष का सहयोग मांगा ** हिमाचल के सभी मेडिकल कालेजों में इस साल रोबोटिक्स सर्जरी शुरू होगी, इस पर 100 करोड़ खर्च होंगे: CM सुक्खू ** प्रदेश के सभी विधानसभा में खुलेंगे राजीव गांधी डे बोर्डिग स्कूल ** सभी मेडिकल कालेजों में पेट स्केन स्थापित होंगे **हमीरपुर मेडिकल में कैंसर केयर के लिए एक सेण्टर ऑफ़ एक्सीलेंस स्थापित किया जाएगा **नाहन, चम्बा, एवं हमीरपुर स्थित मेडिकल कॉलेज में नर्सिंग कॉलेज स्थापित किये जाएगे : सीएम सुक्खू **इमरजेंसी मेडिसिन विभाग के लिए 150 करोड़ का बजट प्रावधान **सुक्खू सरकार ने बजट में स्वास्थ्य क्षेत्र के लिए कुल 3,139 करोड़ का बजट किया प्रस्तावित **हर विधानसभा क्षेत्र में एक आदर्श स्वास्थ्य संस्थान बनाया जाएगा ,134 तरह के टेस्ट की होगी सुविधा ** प्रत्येक सीनियर सैकेंडरी स्कूल में स्थापित होगी लाइब्रेरी **हर विधानसभा क्षेत्र में एक अस्पताल को आदर्श स्वास्थ्य संस्थान बनाया जाएगा **प्रदेश के युवाओं को विभिन्न कॉम्पिटिटिव एक्साम्स की तैयारी के लिए नेशनल डिजिटल लाइब्रेरी की एक्सेस ओर आवश्यक पुस्तकों से लैस लाइब्रेरी का निर्माण किया जाएगा **1311 करोड़ की लागत से पर्यटन विकास योजना शुरू होगी ** परवाणू -नालागढ़-ऊना, हमीरपुर-अंब-नूरपूर, पांवटा-नाहन-शिमला, शिमला-बिलासपुर हमीरपुर-चंबा, मंडी-पठानकोट, मनाली-केलोंग नेशनल हाईवे को ग्रीन कौरिडेर के तौर पर विकसित किया जाएगा **हर अनाज के अलग अलग क्लस्टर बनाएं जायेंगे ** विद्यार्थिओं को खेल में भाग लेने के लिए प्रेरित करने को स्पोर्ट्स हॉस्टल में रह रहे खिलाडियों की डाइट मनी को 120 रूपए से बढाकर 240 रूपए प्रतिदिन करने की घोषणा ** शिक्षा क्षेत्र के लिए कुल 8 ,828 करोड़ प्रस्तावित किया गया **40 हजार नए लाभार्थियों को सामाजिक सुरक्षा पेंशन देने की घोषणा ** पहले चरण में 2 लाख 31 महिलाओं को मिलेंगे 1500 रुपये मासिक दिए जाएंगे **हिम गंगा योजना होगी शुरू, दूध उत्पादकों की True Cost मिलेगी *विधवा और एकल नारी आवास योजना शुरू होगी, इसके तहत 7 हजार महिलाओं को डेढ़ लाख की राशि आवास के लिए दी जाएगी **20 हजार मेधावी छात्राओं को इलेक्ट्रिक स्कूटी के लिए 25 हजार सब्सिडी दी जाएगी **40 हजार नए लोगों को सोशल सिक्योरिटी पेंशन **नशाखोरी रोकने के लिए नशा एवं मादक पदार्थ मुक्त अभियान शुरू करने की घोषणा ** नशाखोरी का कारोबार करने वालों के विरुद्ध इसी विधानसभा के बजट सत्र में कानून लाएगी सरकार **मुख्यमंत्री खेत संरक्षण योजना के तहत जंगली जानवरों से फसलों को बचाने के लिए जालीदार फेंसिंग को सब्सिडी देंगे **युवाओं को अंग्रेजी भाषा का प्रशिक्षण दिया जाएगा ** अब से अनाथ बच्चे 'चिल्ड्रेन ऑफ स्टेट' कहलाएंगे ** साल में एक बार अनाथ बच्चों को हवाई यात्रा और तीन सितारा होटल में ठहरने की सुविधा दी जाएगी : सीएम सुक्खू ** निराश्रितों को हर महीने चार हजार रुपए की आर्थिक मदद **दूध उत्पादन, सब्जी, फलों-फूलों के उत्पादन को कृषि कल्स्टर बनाए जाएंगे ** सुरक्षित बचपन अभियान की शुरुआत **हिम उन्नति योजना शुरू करने का ऐलान **किसानों, पशुपालकों के लिए हिम गंगा योजना शुरू होगी, इस योजना के लिए 500 करोड़ की घोषणा ** नए मिल्क प्रोसेसिंग प्लांट स्थापित किए जाएंगे और मौजूदा प्लांट्स को अपग्रेड किया जाएगा ** प्रदेश के गरीब परिवारों के बच्चों को तकनीकी कोर्स करने के लिए वित्तीय सहायता प्रदान की जाएगी, इसके लिए 200 करोड़ रूपए की विद्यार्थी प्रोत्साहन योजना शुरू करने का ऐलान ** 1292 करोड़ की लागत से हिमाचल में शिवा प्रोजेक्ट के तहत सात जिलों में 28 विकास खंडों में 6000 हेक्टेयर क्षेत्रों में बागवानी का विकास करेगी, 15 हजार बागवान लाभान्वित होंगे ** मुख्यमंत्री सुरक्षित बचपन अभियान शुरू करने की घोषणा, इस अभियान के अंतर्गत POSCO के प्रावधानों के बारे में प्रदेश वासियो को जागरूक किया जाएगा **मुख्यमंत्री सुरक्षित बचपन अभियान शुरू करने की घोषणा, इस अभियान के अंतर्गत POSCO के प्रावधानों के बारे में प्रदेश वासियो को जागरूक किया जाएगा **मुख्यमंत्री लघु दुकानदार योजना शुरू करने की घोषणा ** पंचायत जनप्रतिनिधियों के मानदेय में बढ़ोतरी ** मनरेगा के तहत ट्राइबल एरिया में मिलने वाली दिहाड़ी 266 रुपए से बढ़ाकर 294 रुपए किया, दिहाड़ी बढ़ने से 100 करोड़ अतिरिक्त खर्च होगा। इससे 9 लाख लोग लाभान्वित होंगे ** मनरेगा योजना के तहत मनरेगा दिहाड़ी को 212 से बढ़ाकर 240 रुपए करने की घोषणा ** मछली पालन के लिए तालाब निर्माण के लिए 80 फीसदी की सब्सिडी की घोषणा किसानों को ट्रेक्टर पर 50 फीसदी उपदान दिया जाएगा ** पंचायती राज प्रतिनिधयों का मानदेय बढ़ा **जिला परिषद् अध्यक्ष को 15 के बजाए 20 हज़ार मिलेगा, उपाध्यक्ष को 15 हज़ार ** नई पंचायतों में पंचायत घर बनाने के लिए 10 करोड़ के बजट का प्रावधान, 164 पंचायत सचिव के पद भरेगी सरकार ** ग्रामीण विकास पंचायती राज विभाग के लिए 1916 करोड़ रुपये का बजट प्रस्तावित है ** शिमला के पास जाटिया देवी में नया शहर बसाने का ऐलान **हिमाचल में नया वाटर मैनेजमेंट एंड रेगुलेशन बिल लाएगी सरकार **जलशक्ति विभाग में 5 हजार पद भरने की घोषणा **मुख्यमंत्री लघु दुकानदार योजना शुरू करने की घोषणा
किसान सभा व सीटू ने आज जोगिंदर नगर व चौंतड़ा में संयुक्त रूप से धरना-प्रदर्शन किया। कुशाल भारद्वाज, रविंदर कुमार व संजय जंवाल के नेतृत्व में एसडीएम जोगिंदर नगर तथा बीडीओ चौंतड़ा के माध्यम से मुख्यमंत्री को ज्ञापन भी सौंपा गया। ज्ञापन में मांग की गई कि कमरतोड़ महंगाई पर अंकुश लगाने के लिए तुरंत प्रभावी कदम उठाए जाएं। दालों, खाद्य तेल, चीनी, सब्जियों व अन्य खाद्य पदार्थों के दाम कम किए जाएं। राशन डिपुओं के माध्यम से मिलने वाले राशन की मात्रा बढ़ाई जाये तथा पिछली सरकार के दौरान बढ़ाई गई कीमतें कम की जाएं। चौंतड़ा पीएचसी में रिक्त पड़े डॉक्टरों व अन्य स्टाफ के पद भरे जाएं। संगनेहड़ व पसल के बीच रेलवे लाइन के ऊपर ट्रैफिक ब्रिज बनवाया जाए। इसके अलावा जंगली जानवरों व आवारा पशुओं के प्रकोप से किसानों को मुक्ति दिलाने के लिए ठोस कदम उठाए जाएं तथा जानवरों द्वारा नष्ट फसल का किसानों को मुआवजा दिया जाए। चौंतड़ा में किसान भवन में को किसानों की सुविधा के लिए खाली करवाया जाए तथा इस जल शक्ति के मंडल कार्यालय के लिए अलग से भवन बनवाया जाए। लगातार चल रहे सूखे के चलते पूरे उपमंडल को सूखा ग्रस्त क्षेत्र घोषित किया जाए।
उपमुख्यमंत्री मुकेश अग्निहोत्री ने शनिवार को निर्माणाधीन कुमारसैन बस अड्डे का निरक्षण किया। इस दौरान उपमुख्यमंत्री ने कहा कि बस अड्डे का निर्माण कार्य अंतिम चरण पर है। बस अड्डे को जल्द ही लोगो को समर्पित किया जायेगा। इस दौरान स्थानीय कार्यकर्ताओं एवं लोगो ने फूल मालाओं से उप मुख्यमंत्री का स्वागत किया। इस अवसर पर प्रदेश कांग्रेस कमेटी उपाध्यक्ष महेश्वर चौहान, शिमला ग्रामीण कांग्रेस अध्यक्ष अतुल शर्मा, कुमारसैन कांग्रेस जोन अध्यक्ष प्रवीण वर्मा, व्यापार मंडल कुमारसैन अध्यक्ष सुधीर तनेजा, कुमारसैन पंचायत उपप्रधान, पार्टी के वरिष्ठ पदाधिकारी एवं अधिकारीगण उपस्थित थे।
खेलो खूब, नशे से रहो दूर रहा मैच के आयोजन का थीम, बार इलेवन रही विजेता क्रान्ति सूद। जोगिंद्रनगर खेल मैदान चौंतड़ा में आज एसडीएम इलेवन व बार इलेवन के बीच क्रिकेट का फ्रेंडली मैच आयोजित किया गया। एसडीएम इलेवन टीम का एसडीएम कृष्ण कुमार शर्मा ने नेतृत्व किया, जबकि बार इलेवन का नेतृत्व सिविल जज जोगिंद्रनगर राहुल वर्मा ने किया। 20-20 ओवर के इस मैच में बार इलेवन ने एसडीएम इलेवन को तीन विकेट से पराजित किया। इस मैच के आयोजन का मुख्य थीम खेलो खूब, नशे से रहो दूर रखा गया था। एसडीएम इलेवन ने टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी करते हुए निर्धारित 20 ओवर में 150 रन बनाए। लक्ष्य का पीछा करते हुए बार इलेवन ने 19.1 ओवर में सात विकेट के नुकसान पर 151 रन बनाकर मैच तीन विकेट से जीत लिया। इस मैच में एसडीएम इलेवन के खिलाड़ी आनंदमूर्ति ने सर्वाधिक 43 रन बनाए जबकि बार इलेवन की ओर से सुरेंद्र ने सर्वाधिक 30 रन का योगदान दिया। एसडीएम इलेवन की ओर से किशोर तथा बार इलेवन की ओर से सुनित ने सर्वाधिक तीन-तीन विकेट लिए।
फर्स्ट वर्डिक्ट। मंडी किशोरों को नशीली दवाओं से दूर रखने के लिए अब मेडिकल स्टोरों पर सीसीटीवी कैमरे लगाए जाएंगे और सभी X व H साल्ट्स बेचने वाली केमिस्ट दुकानों की निगरानी होगी। उपायुक्त मंडी अरिंदम चौधरी ने सीआरपीसी की धारा 133 के तहत मंडी में सशर्त आदेश जारी किए हैं, जिसके अंतर्गत शेडयूल एक्स और एच दवाओं की बिक्री करने वाले प्रत्येक मेडिकल स्टोर पर केमिस्ट को सीसीटीवी कैमरे लगाना जरूरी हैं, ताकि बच्चों को नशीली दवाओं के दुरुपयोग से दूर रखा जा सके। उपायुक्त मंडी द्वारा यह आदेश राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग की संयुक्त कार्य योजना को लागू करने और बाल अधिकारों और अन्य मामलों की रक्षा के लिए किए गए हैं। इसके अंतर्गत स्कूल व अन्य शैक्षणिक संस्थाओं और बाल देखभाल करने वाले संस्थानों के आसपास के क्षेत्रों में ऐसी दवाओं की बिक्री को रोका जा सकता है। उपायुक्त मंडी ने बताया कि मुख्य चिकित्सा अधिकारी मंडी के कार्यालय के सहायक नियंत्रक-सह-लाइसेंसिंग प्राधिकरण औषधि नियंत्रण मंडी से प्राप्त रिपोर्ट के अनुसार इस जिला में ऐसे स्थानों पर कुल 179 सीसीटीवी कैमरे लगाने की आवश्यकता है। एनसीपीसीआर के आदेशों को अक्षरशः लागू करने के लिए अपयुक्त मंडी ने इसके लिए पुलिस अधीक्षक मंडी और सहायक नियंत्रक-सह-लाइसेंसिंग प्राधिकरण औषधि नियंत्रण को प्रत्येक मेडिकल दुकान और शिक्षण संस्थान पर सीसीटीवी कैमरे अपने संरक्षण में लगवाने के आदेश जारी किए हैं।
क्रान्ति सूद। जोगिंद्रनगर हिमाचल प्रदेश के मंडी जिला के पधर क्षेत्र में बुधवार रात हुए सड़क हादसे में 2 युवक जिंदा जल गए। पधर-जोगेंद्रनगर वाया नौहली राजमार्ग में दमेला के पास हुई टक्कर के बाद कार में ब्लॉस्ट हुआ और आग लग गई, जिसमें कारसवार 2 युवक जल गए और तीसरा गंभीर रूप से घायल हाे गया। एक युवक को राहगीरों ने समय रहते कार से निकाल लिया, लेकिन बाकी 2 को नहीं बचा पाए। घायल युवक नेरचौक मेडिकल कॉलेज रेफर हादसा रात करीब साढ़े 11 बजे हुआ। हादसे की सूचना पुलिस को दी गई। पुलिस ने मौके पर पहुंचकर घायल युवक को पधर सिविल अस्पताल पहुंचा, जहां उसे प्राथमिक उपचार देने के बाद मेडिकल कॉलेज नेरचौक रेफर किया गया है। वहीं, कार में आग लगने से जिंदा जले दोनों युवकों के कंकाल मात्र शेष बचे हैं, जिन्हें पुलिस ने कब्जे में लिया। कार भी जब्त कर ली गई है। हादसे के कारणों की जांच जारी है। हादसे के कारणों की जांच पधर लोकेंद्र नेगी ने हादसे की पुष्टि की। उन्होंने बताया कि मृतकों की पहचान भुवन सिंह (38) और सुनील कुमार (28) निवासी सजेहड़ डाकघर नौहली तहसील पधर जिला मंडी हिमाचल प्रदेश के रूप में हुई है। जख्मी युवक पदम् सिंह (27) पुत्र दौलत राम नौहली पंचायत के चाभ भराड़ू गांव का रहने वाला है। उसके होश में आने पर पता चलेगा कि वे कहां से आ रहे थे और कहां जा रहे थे।
धार्मिक पर्यटन की दृष्टि से महत्वपूर्ण सिमस व ऊटपुर पंचायतों में मूलभूत सुविधाएं सुदृढ़ करने पर दिया बल क्रांति सूद। लडभड़ोल एसडीएम जोगिंद्रनगर कृष्ण कुमार शर्मा ने आज तहसील क्षेत्र लडभड़ोल का दौरा किया। इस दौरान उन्होंने सिविल अस्पताल लडभड़ोल व राजकीय महाविद्यालय लडभड़ोल का भी दौरा किया। तहसील कार्यालय परिसर लडभड़ोल में विभिन्न विकास कार्यों को लेकर बैठक भी आयोजित की। इस दौरान तहसीलदार लडभड़ोल मेघना गोस्वामी, नायब तहसीलदार महेंद्र कुमार भी मौजूद रहे। इस मौके पर उन्होंने कहा कि लडभड़ोल क्षेत्र की ग्राम पंचायत सिमस व ऊटपुर धार्मिक पर्यटन की दृष्टि से महत्वपूर्ण हैं। प्रतिवर्ष प्रसिद्ध संतान दात्री मां सिमसा तथा त्रिवेणी महादेव मंदिर घटोड में हजारों श्रद्धालु दर्शनार्थ पहुंचते हैं। ऐसे में इन पंचायतों में श्रद्धालुओं को अच्छी सुविधाएं प्राप्त हों, इस दृष्टि से मिलकर कार्य करने का आह्वान किया। उन्होंने संबंधित पंचायत प्रधानों से अपने स्तर पर विभिन्न सरकारी योजनाओं के माध्यम से साफ-सफाई, सौंदर्यीकरण, सोलर लाइट्स इत्यादि कार्य करवाने पर भी बल दिया। एसडीएम ने लडभड़ोल बाजार में यातायात व्यवस्था को सुचारू बनाए रखने के लिए पुलिस अधिकारियों को आवश्यक दिशा निर्देश भी जारी किए। साथ ही स्थानीय व्यापारियों से भी दुकान के बाहर सामान न रखने का भी आह्वान किया, ताकि यातायात व्यवस्था को सुचारू बनाए रखा जा सके। इसके बाद उन्होंने सिविल अस्पताल लडभड़ोल का भी निरीक्षण किया तथा स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग के माध्यम से चलाई जा रही विभिन्न जनकल्याणकारी योजनाओं की विस्तृत जानकारी प्राप्त की। साथ अस्पताल में उपलब्ध मूलभूत सुविधाएं की भी जानकारी हासिल की। उन्होंने क्षयरोग उन्मूलन के लिए चलाए जा रहे कार्यक्रम भी जानकारी ली तथा विभागीय अधिकारियों ने बताया कि वर्तमान में लडभड़ोल क्षेत्र में 72 क्षय रोगियों का ईलाज किया जा रहा है। इसके अलावा ओपीडी में भी रोगियों की संख्या प्रतिदिन 100 के आसपास रह रही है। इसी बीच उन्होने राजकीय महाविद्यालय लडभड़ोल का दौरा किया तथा टाटा कंसल्टेंसी सर्विसेज की युवा रोजगार कार्यक्रम बारे चर्चा की। उन्होंने कॉलेज प्रशासन को टाटा कंसल्टेंसी की इस सेवा के साथ ज्यादा से ज्यादा विद्यार्थियों को जोड़ने का आह्वान किया, ताकि उन्होंने इस सुविधा का लाभ मिल सके। उन्होने इसे आगामी शैक्षणिक सत्र से प्राथमिकता के आधार पर विद्यार्थियों को जोड़ने पर बल दिया।
कृषि टुअर पर निजी बस में बगशाड़ से करसोग जा रहे थे छात्र सनारली के समीप फटा प्रेशर पाइप राज सोनी । करसोग करसोग में आज (मंगलवार को) छात्रों को ले जा रही एक निजी बस के सड़क के साथ डंगे से टकरा गई। ये हादसा बस की प्रेशर पाइप फटने की वजह से हुआ, लेकिन चालक ने सूझबूझ का परिचय देते हुए बस को डंगे से भिड़ाकर 49 छात्रों की जान बचा ली। हालांकि इस हादसे में 4 छात्राओं को हल्की चोटी आई है, जिन्हें उपचार के लिए सिविल अस्पताल करसोग ले जाया गया। बगशाड़ से करसोग जा रही थी बस निजी बस (HP-21A-5806) राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला बगशाड़ से कृषि प्रसार कार्यालय करसोग जा रही थी। ये बस कृषि विषय के वोकेशनल छात्रों को एक दिवसीय प्रशिक्षण के लिए 49 छात्रों को ले जा रही थी, लेकिन सनारली के समीप अचानक बस का प्रेशर पाइप फट गया, लेकिन चालक ने छात्रों की जान बचाने के लिए बस को डंगे से भिड़ा दिया। ऐसे में चालक की सूझबूझ से बड़ा हादसा टल गया। तकनीकी जांच के बाद ही टुअर के लिए भेजी जाएं बसें एसडीएम ओमकांत ठाकुर ने सभी संस्थाओं को पहले बसों की तकनीकी जांच करवाए जाने का संदेश दिया है। इसके बाद ही छात्रों को टुअर पर भेजा जाए। इस तरह की सावधानी बरतने से हादसों के अंदेशों को कम किया जा सकता है। उन्होंने कहा कि घायलों को नियमानुसार आर्थिक सहायता उपलब्ध करवाने के लिए फील्ड अधिकारियों को जरूरी निशा-निर्देश जारी किए गए हैं। डीएसपी गीतांजलि ठाकुर का कहना है कि सनारली के समीप के निजी बस दुर्घटनाग्रस्त हो गई, जिसमें 4 छात्राएं घायल हुईं है। उन्होंने कहा कि मामला दर्ज कर आगामी कार्रवाई की जा रही है।
मुख्यमंत्री ने तीन करोड़ से निर्मित क्राइम रिस्पांस सेंटर का किया लोकार्पण फर्स्ट वर्डिक्ट। शिमला मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंदर सिंह सुक्खू ने आज मंडी स्थित ओल्ड पुलिस लाइन में तीन करोड़ रुपये की लागत से निर्मित व्योमनेत्र (इंटीग्रेटिड सर्विलैंस एंड क्राइम रिस्पांस सेंटर) का लोकार्पण किया। यह सेंटर किसी भी आपातकालीन स्थिति में बेहतर संचार और निगरानी के साथ आपदा की प्रतिक्रिया की क्षमता में बढ़ोतरी करेगा। उन्होंने कहा कि लोगों को बेहतर कानून व्यवस्था प्रदान करने के लिए शहर में अत्याधुनिक तकनीक युक्त 250 कैमरे स्थापित किए गए हैं, जिससे शहर के आने-वाले वाले स्थलों पर निगरानी की जा सकेगी। व्योमनेत्र चोरी, अपराध नियंत्रण जैसे संदिग्ध मामलों में निगरानी करने में भी सहायक सिद्ध होगा। यह प्रणाली सुंदरनगर में स्थापित इंटैलीजेंट ट्रैफिक मैनेजमेंट के साथ क्लाउड बेसड तकनीक के साथ एकीकृत की गई है, जिससे मंडी शहर की ट्रैफिक व्यवस्था की निगरानी की जाएगी। भविष्य में व्योमनेत्र को ड्रोन के माध्यम से निगरानी और अन्य तकनीक से भी जोड़ा जाएगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि यह कंट्रोल पोस्ट ट्रैफिक व्यवस्था को सुचारू करने में तथा किसी भी आपातकालीन स्थिति में त्वरित प्रतिक्रिया में मददगार साबित होगी। व्योमनेत्र आपातकालीन स्थिति में राहत प्रदान करने में आने वाली समस्याओं का भी समाधान करेगा और त्वरित प्रतिक्रिया प्रदान करने में प्रभावशाली तंत्र प्रदान करेगा। धर्मपुर विधानसभा क्षेत्र के विधायक चंद्रशेखर, कांग्रेस के नेता सोहन लाल ठाकुर, चंपा ठाकुर, पवन ठाकुर, उपायुक्त अरिंदम चौधरी, डीआईजी मधुसूदन शर्मा, पुलिस अधीक्षक शालिनी अग्निहोत्री और अन्य गणमान्य व्यक्ति भी इस अवसर पर उपस्थित थे।
हिमाचल की राजधानी शिमला आए हर व्यक्ति ने ये नाम तो सुना ही होगा, इस पॉइंट से गुज़रे भी होंगे लेकिन इस जगह पर ऐसा क्या स्कैंडल हुआ, जिससे इसका नाम स्कैंडल पॉइंट रख दिया गया, ये सवाल भी बहुचर्चित है। बात बहुत पुरानी है तो कहानियां भी बहुत सी बन गईं है। कुछ कहते कि इस जगह पर हिंदुस्तान का पहला लव स्कैंडल हुआ था तो कुछ इस तथ्य को मानने से इंकार करते है। स्कैंडल पॉइंट से जुड़ी कहानियों में से एक कहानी है पाटियाला के महाराजा भूपेंदर सिंह की। बात 1892 की है, ब्रिटिश शासन में शिमला के वाईस रॉय और पाटियाला के महाराजा भूपेंदर सिंह अच्छे दोस्त हुआ करते थे और अक्सर वाईसरॉय के घर पर आया जाया करते थे। उसी समय पटियाला के राजा को वाईसरॉय की बेटी से महब्बत हो गई और दोनों ने शादी करने का फैसला किया लेकिन वाईसरॉय को ये रिश्ता मंज़ूर नहीं था और उन्होंने इसका विरोध भी किया। लेकिन दोनों प्रेमी अपना मन मना चुके थे। ब्रिटिश काल में शिमला के मालरोड पर शाम के समय ब्रिटिश अधिकारी अपने परिवार के साथ टहलने आया करते थे मगर यहां हिन्दुस्तानियों को आने की अनुमति नहीं थी। एक दिन शाम जब सब मॉलरोड पर टहल रही थे तो पटियाला के महाराजा ने अंग्रेज वाइसराय की बेटी को उठा लिया था। इसे पहला लव स्कैंडल कहा जाता है और जिस जगह पर यह कथित वारदात हुई उसे आज स्कैंडल प्वाइंट के नाम से जाना जाता है। महाराजा भूपिंद्र सिंह ने वाइसराय लार्ड कर्जन की बेटी को उठाया था। कहा जाता है कि महाराजा भूपिंद्र सिंह घोड़े पर सवार होकर आए और मालरोड पर टहल रही लार्ड कर्जन की बेटी को उठा ले गए। गुस्से में वायसराय ने उनका शिमला आने पर प्रतिबंध लगा दिया। महाराजा ने भी अपनी आन-बान और शान के लिए शिमला से भी ऊंचा नगर बसाने की ठान ली और चायल का निर्माण कर डाला। पटियाला के महाराजा भूपिंद्र सिंह का जन्म 12 अक्टूबर 1891 में हुआ। वर्ष 1900 में उन्होंने राजगद्दी संभाली और 38 साल तक राजपाट किया। उन्होंने ऑनरेरी लेफ्टीनेंट कर्नल के तौर पर प्रथम विश्व युद्ध में भाग लिया था। लीग ऑफ नेशंज में 1925 में भूपिंद्र सिंह ने भारत का प्रतिनिधित्व किया। महाराजा क्रिकेट के शौकीन थे। वर्ष 1911 में इंग्लैंड दौरे पर भारतीय क्रिकेट टीम के कप्तान भी वही थे। यहां हुआ था हिंदुस्तान का पहला लव स्कैंडल हालांकि कुछ इतिहासकार इस बात से इत्तफाक नहीं रखते। उनका दावा है कि लार्ड कर्जन साल 1905 तक वाइसराय रहे। उनकी तीन बेटियां थीं। देखा जाए तो 1905 में महाराजा की आयु 14 साल की थी। लार्ड कर्जन की बड़ी बेटी आइरिन की उम्र उस समय महज 9 साल थी। पंजाब यूनिवर्सिटी में अंग्रेजी की प्रोफेसर रह चुकी मंजू जैदका अपनी किताब स्कैंडल पॉइंट में लिखती है कि इस जगह से उनकी बहुत सी यादें जुडी है, उन्होंने इस पर काफी शोध भी किया है लेकिन महाराजा भूपेंदर सिंह की उम्र का तकाज़ा रखते हुए ये कहानी सच नहीं हो सकती। लेखिका का मानना है कि इस कहानी में भूपेंदर सिंह के पिता राजेंदर सिंह को होना चाहिए क्यूंकि उनकी एक अँगरेज़ बीवी और बेटा था। हालाँकि सच क्या है ये तो एक रहस्य ही रहेगा, जो इतिहास में दफ़न हो चुका है।
जोगिंद्रनगर । क्रांति सूद शांति निकेतन पब्लिक सीनियर सेकेंडरी स्कूल जोगिंद्रनगर के स्कूल परिसर में वार्षिक पारितोषिक वितरण समारोह थीम तरंग-2023 के साथ मनाया। समारोह में सेवानिवृत प्रधानाचार्य रविंद्र कुमार शर्मा ने मुख्यातिथि व जिप नेरघरवासड़ा विजय भाटिया ने विशेष अतिथि के रूप में शिरकत की। बच्चों द्वारा सुंदर सांस्कृतिक प्रस्तुतियां दी गई। अपने संबोधन में रविंद्र शर्मा ने कहा कि स्कूल में सालाना समारोह मनाने के पीछे यही उद्देश्य होता है कि बच्चों की जो सालाना गतिविधियां होती हैं, उसके लिए उन्हें पुरस्कृत किया जाता है। उन्होंने कहा कि जिसके मन में जीवन में मेहनत करने का जज्बा हो सफलता उनके कदम चूमती है। उन्होंने बच्चों से नशे से दूर रहने का भी आह्वान किया।