ईडी ने भूपेश बघेल के बेटे चैतन्य को किया गिरफ्तार, छत्तीसगढ़ शराब घोटाले में मनी लॉन्ड्रिंग का आरोप

छत्तीसगढ़ के पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के बेटे चैतन्य बघेल को प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने कथित शराब घोटाले से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में शुक्रवार को गिरफ्तार किया। गिरफ्तारी के बाद ईडी की टीम ने चैतन्य को रायपुर की अदालत में पेश किया।
गिरफ्तारी की खबर के बाद कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और विधायक, नेता प्रतिपक्ष चरण दास महंत और स्वयं भूपेश बघेल, रायपुर जिला न्यायालय पहुंचे। यह कार्रवाई ऐसे समय में हुई है जब छत्तीसगढ़ विधानसभा सत्र का आज अंतिम दिन था। ईडी की छापेमारी और गिरफ्तारी के विरोध में कांग्रेस विधायकों ने विधानसभा से वॉकआउट कर दिया।
'साहब ने भेज दी ईडी': भूपेश बघेल का तंज
पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने ईडी की छापेमारी पर तीखी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने सुबह भिलाई स्थित अपने निवास पर ईडी के छापे की जानकारी देते हुए एक्स (पूर्व ट्विटर) पर लिखा:
"ED आ गई। आज विधानसभा सत्र का अंतिम दिन है। अडानी के लिए तमनार में काटे जा रहे पेड़ों का मुद्दा उठाना था। भिलाई निवास में ‘साहेब’ ने ED भेज दी है।"
बघेल ने यह भी याद दिलाया कि आज उनके बेटे चैतन्य का जन्मदिन है। अपने पोस्ट में उन्होंने लिखा:
"जन्मदिन का जैसा तोहफ़ा मोदी और शाह जी देते हैं, वैसा दुनिया के किसी लोकतंत्र में और कोई नहीं दे सकता। मेरे जन्मदिन पर मेरे सलाहकार और ओएसडी के घरों पर ईडी भेजी गई थी, और आज मेरे बेटे के जन्मदिन पर मेरे घर पर रेड डाली गई है। इन तोहफों का धन्यवाद, ताउम्र याद रहेगा।"
क्या है छत्तीसगढ़ शराब घोटाला?
ईडी की जांच के मुताबिक, यह कथित घोटाला फरवरी 2019 में शुरू हुआ। आरोप है कि शराब डिस्टिलरियों से हर महीने 800 पेटी शराब अवैध रूप से भेजी जाती थी। समय के साथ यह संख्या 400 ट्रकों और 60 लाख पेटियों तक पहुंच गई।
जांच में सामने आया कि इन तीन वर्षों में करीब 2,174.60 करोड़ रुपये का अवैध राजस्व अर्जित किया गया। प्रति पेटी की कीमत पहले 2,840 रुपये, बाद में बढ़कर 3,880 रुपये हो गई। ईडी का दावा है कि इस पूरे नेटवर्क में कई अधिकारी, कारोबारी और राजनीतिक हस्तियां शामिल हैं।