राजीव कुमार अमर रहे के नारों से गूंज उठी करसोग घाटी
वीरवार सुबह जैसे ही राजीव कुमार का पार्थिव शरीर उनके पैतृक गांव कुन्नू ग्राम पंचायत वगैला करसोग लाया गया तो पूरा करसोग क्षेत्र शोक में डूब गया और माहौल गमगीन हो गया। हर किसी की आंखें नम थी लेकिन जवान बेटे की मौत पर समस्त क्षेत्रवासी परिजनों को दिलासा दे रहे थे। दूर बैठे दादा फूट-फूट कर रो रहे थे ,माता पिता पुरी तरह से टुट चुके थे। वही सेना मे तैनात दुसरा भाई परिवार को ढ़ाढस बढ़ा रहा था। हर कोई तिरंगे में लिपटे शव को देख कर आंसु बहा रहे था। बताते चलें कि राजीव कुमार (23) पुत्र रामकृष्ण निवासी कुन्नू मामून कैंट स्थित 26 पंजाब रेजीमेंट में बतौर सिपाही तैनात था जो कि अपनी टीम के साथ तैराकी प्रशिक्षण के लिए गया हुआ था जहां पर प्रशिक्षण के दौरान राजीव कुमार वीरगति को प्राप्त हो गए। राजीव कुमार 3 बरसों से सेना में सेवाएं दे रहे थे। वही राजीव कुमार के बड़े भाई भी भारतीय सेना में सेवाएं दे रहे हैं। जहां पिता राम कृष्ण व माता निरुपमा, और बूढ़े दादा, दादी ने राजीव कुमार को लेकर कई बड़े सपने संजोए थे वही क्रुर नियती को कुछ और ही मंजुर था। परिवार को शादी के सेहरे की जगह तिरगें मे लिपटे शव को कांधा देकर विदा करना पड़ा। वीरवार सुबह जब राजीव कुमार का पार्थिव शरीर मोक्षधाम वियुता ले जाया गया तो समूचा करसोग बाजार बंद रखा गया। हजारों लोगों ने अंतिम शव यात्रा में भाग लिया व स्थानीय जनता ने शव वाहन पर फूलों की वर्षा की और समूचा क्षेत्र राजीव कुमार अमर रहे के नारों से गूंज उठा। मोक्ष धाम पहुंचने के बाद स्थानीय विधायक हीरालाल एसडीएम करसोग सुरेंद्र ठाकुर व स्थानीय रिटायर सैनिकों द्वारा राजीव कुमार को श्रद्धांजलि दी गई। वहीं पूरे सैनिक सम्मान के साथ राजीव कुमार को अंतिम विदाई दी गई। सेना के जवानों ने गार्ड आफ आनर देकर शहिद को सलामी दी व शव को मृतक के छोटे भाई सौरव ने मुखागनि दी। करसोग के विधायक हिरालाल व एसडीएम करसोग सुरेन्द्र ठाकुर सहित करसोग क्षेत्र की समस्त जनता ने इस दुखद घटना पर गहरा शोक व्यक्त किया है और परिवार के प्रति संवेदना व्यक्त की है।