परिवहन निगम के पेंशनर की सुध लें मुख्यमंत्री : रघुवीर सिंह
एचआरटीसी पेंशनर्स कल्याण संगठन नूरपुर के महासचिव रघुवीर सिंह ने पेंशनर्स की व्यथा ज़ाहिर करते हुए कहा है की हिमाचल प्रदेश की लाइफ लाइन कहलाए जाने वाली एचआरटीसी की बसों के चालक व परिचालक अपनी जिंदगी को जोखिम में डालकर कैसे कैसे पांगी, लाहौल स्पीति की घाटियों में तंग व घुमावदार खतरनाक मार्गों पर प्रदेश की जनता की सेवा करते हैं, परंतु अफसोस होता है कि जब यह कर्मचारी जब सेवानिवृत्त होंगे इन्हें अपनी पेंशन तथा अन्य आर्थिक लाभों के लिए 3-4 वर्षों तक इंतजार करना पड़ेगा। इस दौरान इन्हें या तो उधार मांग मांग कर या मजदूरी करके घर परिवार चलाना पड़ता है।
उन्होंने कहा की एक ओर सरकार वरिष्ठ नागरिकों को पूरा पूरा सम्मान देने तथा उचित देखभाल करने की बात कहती है तो वही परिवहन निगम के सेवानिवृत्त कर्मचारियों को पेंशन तथा अन्य आर्थिक लाभों से सालों साल वंचित रखती है। इसी तरह जिन पुराने सेवानिवृत्त कर्मचारियों को पेंशन लग चुकी है उन्हें भी प्रायः तीसरे महा पेंशन का भुगतान हो रहा है। अर्थात आज तक अप्रैल माह की पेंशन का भुगतान अभी शेष है।
कांग्रेस सरकार के समय भी परिवहन मंत्री ने सेवानिवृत्त कर्मचारियों की बार-बार आर्थिक प्रताड़ना की थी तथा सरकार बदलने पर आस बांधी थी कि अच्छे दिन आएंगे परंतु विभाग की सोच नहीं बदली। आज भी पेंशनर्स का हजारों रुपए महंगाई भत्ता बकाया पेंडिंग है। गत फरवरी में परिवहन निगम की बीओडी की बैठक में पेंशनर्स को 4% अंतरिम राहत देने की का फैसला हुआ था परंतु इस अदायगी पर भी कैंची चल चुकी है। क्या इसे ही वरिष्ठ नागरिकों का सम्मान कहते हैं? चिंता का विषय है।
उन्होंने मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर से अनुरोध किया है कि परिवहन निगम के पेंशनर की सुध लें ताकि यह लोग बुढ़ापे में अपना सामान्य गुजर बसर कर सके।