हमीरपुर : बालकरूपी स्कूल की शायना और शिवम ने बनाया ईको फ्रेंडली बायोडीजल मॉडल
- रसोई घर के वेस्ट, फल व सब्जियों के छिलकों से किया तैयार
- रसायन विज्ञान के प्रवक्ता तिलक राणा ने किया मार्गदर्शन
जिला कांगड़ा के राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला बालकरूपी के विद्यार्थियों शायना और शिवम ने रसोई घर के वेस्ट, फल, सब्जियों के छिलकों से ईको फ्रेंडली बायोडीजल तैयार किया है। रसायन विज्ञान के प्रवक्ता तिलक राणा के मार्गदर्शन में विद्यार्थियों ने यह मॉडल प्रोटोटाइप तैयार किया है। इस बायोडीजल के प्रयोग से नाम मात्र का कार्बन उत्सर्जन होगा। शायना और शिवम ने इसे वे टू मेंदू स्मार्ट सोलर एनर्जी इनटू सस्टेनेबल बायोडीजल एंड इलेक्ट्रिसिटी नाम दिया है। महज तीन हजार की लागत से प्रेशर कुकर, हीटर और सोलर पैनल के इस्तेमाल कर बायोडीजल तैयार किया गया है। बड़े स्तर पर उत्पादन करने पर एक लीटर बायोडीजल की लागत बीस रुपये के लगभग आएगी।
वहीं, स्कूल प्रवक्ता तिलक राणा का कहना है कि महज चार किलो कचरे से एक लीटर बायोडीजल तैयार किया जा सकता है। इथनोल बनाते वक्त सड़न प्रक्रिया में यदि गुड़ का इस्तेमाल करें तो उत्पादन में कई गुना इजाफा हो सकता है। वहीं, बचे हुए कचरे को जैविक खाद के रूप में इस्तेमाल किया जा सकता है।