हाई कोर्ट के आर्डर के बावजूद कर्मचारियों को कॉन्ट्रैक्ट में लाने के लिए एचआरटीसी विभाग कर रहा टालमटोल
एचआरटीसी कर्मचारियों को हाई कोर्ट के आर्डर होने के बावजूद भी कॉन्ट्रैक्ट में लाने के लिए एचआरटीसी विभाग कर रहा है टालमटोल। लगभग 400 कर्मचारियों ने उच्च न्यायालय में कोर्ट केस किया है। कर्मचारियों का कहना है कि वह दिसंबर माह में केस जीत चुके हैं बावजूद इसके उन्हें अनुबंध में आने के आर्डर नहीं दिए जा रहे हैं । अंत में हारकर इन कर्मचारियों ने एमडी के ऊपर कोर्ट केस की अवहेलना का आरोप लगा दिया है। इन कर्मचारियों का कहना है कि 5 वर्षों की नीति के बाद इनका अनुबंध होता है। इसी पॉलिसी के आधार पर पहले भी 410 पीस मिल कर्मचारी कॉन्ट्रैक्ट में हुए हैं, सरकार को परिवहन विभाग को परिवहन मंत्री को जयराम सरकार को कई बार यह कर्मचारी बोल बोल कर थक चुके है। अंत में इन्होंने उच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाया लेकिन फिर भी इन कर्मचारियों के कोर्ट केस जीतने के बाद भी कॉन्ट्रैक्ट में लाने के लिए एचआरटीसी विभाग आनाकानी कर रहा है। लगभग 400 कर्मचारियों का कोर्ट केस जीतने के बाद भी विभाग का रवैया इन कर्मचारियों के लिए ना के बराबर है। इन कर्मचारियों का कहना है कि जब कोर्ट ने ऑर्डर कर दिए हैं तो इन कर्मचारियों को कॉन्ट्रैक्ट में क्यों नहीं लाया जा रहा है। यह सरेआम कोर्ट केस की अवहेलना है इस विषय में अलग-अलग एडवोकेट अपनी प्रतिक्रिया दे चुके हैं
इस विषय में प्रदेश के प्रधान संजीव कुमार पीस मिल कर्मचारियों की तरफ से सरकार और निदेशक परिवहन विभाग एवं परिवहन मंत्री से भी आग्रह किया है कि उच्च न्यायालय के आदेश को मानना पड़ेगा और इन कर्मचारियों के आर्डर हर हाल में देने पड़ेंगे।