कैबिनेट के फैसले : 14 मार्च से 6 अप्रैल तक होगा बजट सत्र, मुख्यमंत्री सुखाश्रय योजना को मिली मंजूरी
हिमाचल प्रदेश कैबिनेट की बैठक वीरवार को राज्य सचिवालय के शिखर सम्मेलन हॉल शिमला में हुई। मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू के नेतृत्व की प्रदेश की नई सरकार की यह दूसरी कैबिनेट बैठक हुई। बैठक में विधानसभा के बजट सत्र की तिथियों पर निर्णय लिया गया। विधानसभा का बजट सत्र 14 मार्च से 6 अप्रैल तक चलेगा। मुख्यमंत्री सुख आश्रय कोष स्थापित करने को भी कैबिनेट बैठक में मंजूरी दी गई। 101 करोड़ रुपये से कोष स्थापित होगा। सभी कांग्रेस विधायकों ने अपना पहला वेतन कोष में दान किया। कोष के माध्यम से अनाथ और बेसहारा बच्चों की मदद की जाएगी। इस योजना के तहत 3 करोड़ रुपए की राशि जमा हो गई है। इस योजना के तहत सभी विधायकों ने एक-एक लाख रुपए जमा किए है। प्रदेशवासी भी इस कोष में दान कर रहे हैं। इससे बेसहारा बच्चों, बुजुर्गों व महिलाओं की मदद की जाएगी।मुख्यमंत्री ने कहा कि सुखाश्रय योजना के अंतर्गत अनाथ, विशेष रूप से सक्षम, निराश्रित महिलाओं और वरिष्ठ नागरिकों को लाया गया है, जिसमें उन्हें हर संभव सहायता का प्रावधान किया गया है। योजना में प्रदेश सरकार ने अनाथ बच्चों को अपने बच्चों (चिल्ड्रन ऑफ द स्टेट) के रूप में अपनाया है।
सीएम ने कहा कि आज की कैबिनेट में बेसहारा बच्चों व बुजुर्गों के रहने के लिए सुंदरनगर और ज्वालाजी में आवास बनाने को 80-80 करोड़ रुपए की मंजूरी प्रदान की गई। इससे दोनों जगह आधुनिक सुविधाओं से लेस कॉम्प्लेक्स बनाए जाएंगे। उन्होंने कहा कि आवासीय भवन में अटैच शौचालय वाले कमरे, मनोरंजन व गतिविधि कक्ष, कॉमन रूम, म्यूजिक रूम, स्मार्ट क्लास रूम, कोचिंग रूम, इनडोर व आउटडोर खेल सुविधाओं सहित अन्य आधुनिक सुविधाएं उपलब्ध होंगी। इन संस्थानों के आवासियों को विवाह के लिए दो लाख रुपए प्रदान किया जाएंगे। इसके अतिरिक्त इन संस्थानों में रहने वाले प्रत्येक बच्चे, निराश्रित महिलाओं का आवर्ती जमा खाता खोला जाएगा, जिसमें सरकार द्वारा 0-14 वर्ष की आयु के बच्चों को एक हजार रुपए प्रति बच्चा प्रति माह, 15-18 वर्ष आयु के बच्चों व एकल महिलाओं को 2500 रुपए प्रति माह की सहायता राशि दी जाएगी।