नेरचौक : पार्षदों के बीच मची टेंडरों को खरीद फरोख्त की होड़, बिना टेंडर प्रक्रिया से ही कर दिए कई विकास कार्य
नेरचौक अजय सूर्या
नगर परिषद नेर चौक में गड़बड़ घोटाला,स्थानीय ठेकेदारों ने लगाया भाई भतीजावाद का आरोप
नेर चौक नगर परिषद में रातोरात मनमर्जी से ही सुविधानुसार नियम बदले जा रहे है, जिसमे कुछ स्वयंभू नेता अपने खास लोगों को मनचाहा काम दिलवाने के लिए खूब मशक्कत कर रहे है। आलम ऐसा हो गया है कि अपनी सुविधा अनुसार इन टेंडरों का खेल कभी ऑनलाइन तो कभी ऑफ लाइन चल रहा है।हालात ऐसे हैं कि टेंडर आवेदन करने के अंतिम तारीख को कार्यालय का कोई अधिकारी आवेदन फार्म तक नहीं ले रहे और बेरोजगार ठेकेदारों को एक टेबल से दूसरे टेबल पर घुमाया जा रहा है।कल बुधवार को कुछ 10 कार्यों के आफ लाइन टेंडर फार्म खरीदने का अंतिम दिन था और कुछ स्थानीय ठेकेदार जो अखबार में टेंडर विज्ञापन पढ़कर आये थे, वो सभी दिनभर नेर चौक नगर परिषद कार्यालय में चक्कर लगाते रहे पर मज़ाल हो कि दफ्तर के किसी बाबू ने इनका आवेदन स्वीकार्य किया हो।
आइये जानते है कि टेंडरों के गड़बड़ घोटाले का पूरा मामला आखिर है क्या ?
गत 31 मार्च के टेंडर विज्ञापन के अनुसार कुल 28 टेंडर जिन सबकी अनुमानित लागत करीब एक करोड़ रुपये है , उनके ऑनलाइन टेंडरों के लिए 25 अप्रेल तक का समय दिया जाता है, परंतु सूत्रों के अनुसार ऑनलाइन टेंडर में भाई भतीजावाद को बढ़ावा नहीं दिया जा सकता था और पारदर्शी तरीके से कार्य करना ही पड़ता है , तो टेंडर आवेदन करने से एक दिन पहले ही गत 23 अप्रैल को यह सभी टेंडरों को रद्द करने के आदेश जारी कर दिए जाते हैं।उपरोक्त प्रक्रिया के कुछ दिन बाद कार्यालय और स्वयम्भू नेताओ की मिलीभगत से उपरोक्त 28 टेंडरों से 18 टेंडर ही ऑनलाइन आवेदन के लिए रखे जाते है और बाकी 10 गोल मोल करने के प्रयास शुरू कर दिए जाते है जिनकी अनुमानित लागत करीब 35 लाख रु है ताकि अपने कुछ खास लोगो को लाभ दिया जा सके।
जिनके ऑफलाइन टेंडरों को 19 मई तक आवेदन के लिए रखा जाता है।
जब कुछ ठेकेदार जिसमे गुलशन ठाकुर, सुनील, भीम।सिंह, वालिया, अभिषेक, आदि ने कल उपरोक्त कार्यो के टेंडर फार्म खरीदने के लिए आवेदन करने के लिए नप कार्यालय जाते है, तो उन्ही स्वंयभू नेताओ के इशारे पर कार्यालय में कोई भी अधिकारी या क्लर्क यह आवेदन लेने के लिए तैयार तक नहीं होता और तकनीकी अधिकारियों का बहाना बनाकर अपनी नौकरी को बचाने की कोशिश करता है।स्थानीय ठेकेदारों ने आरोप लगाए है कि नेर चौक नगर परिषद के कुछ पार्षद अपने परिजनों को काम दिलवाना चाहते है जहाँ से उनको मोटी कमीशन मिलती रहे और सूत्रों की माने तो कुछ काम तो ऐसे है जिनको स्वयम्भू नेतागण पहले से ही पूर्ण करवा चुके है और अब उनके टेंडर की कागज़ी प्रक्रिया काम पूरा होने के बाद में लगाई जा रही है, जो कि बहुत दुर्भाग्यपूर्ण है और भ्रष्टाचार को बढ़ावा देने का प्रयास किया जा रहा।
आम आदमी पार्टी ने नेता एवं पूर्व पार्षद रजनीश सोनी ने भाजपा के नेतृत्व में नेर चौक नप कार्यालय में चल रहे गड़बड़ घोटाले की निष्पक्ष जांच के लिए विजिलेंस में शिकायत दर्ज करवाई है और विजिलेंस अधिकारियों से निवेदन किया है कि यह सुनिश्चित किया जाए कि कौन कौन से ऐसे काम है जो पहले से बिना टेंडर प्रक्रिया के पूर्ण किये जा रहे थे तथा ऐसे जुड़े भृष्ट ठेकेदारों को तुरतं प्रभाव से ब्लैकलिस्ट किया जाए और जो जनप्रतिनिधियों ने यह भ्रस्टाचार फैलाया है उनको उनके पदों से बर्खास्त किया जाए।