वेदव्यास परिसर में दो दिवसीय राष्ट्रीय सेमिनार का समापन, HAS अधिकारी ओशिन शर्मा ने की शिरकत
केंद्रीय संस्कृत विश्वविद्यालय के बलाहर स्थित वेदव्यास परिसर में महिला संस्कृत अध्ययन केंद्र द्वारा आयोजित द्विदिवसीय राष्ट्रीय संगोष्ठी का आयोजन किया गया। "महिला सुरक्षा एवं अधिकार" पर आयोजित किए गए इस सेमिनार के समापन सत्र में मुख्यवक्ता के रूप में सहायक आयुक्त एवं तहसीलदार ओशिन शर्मा ने शिरकत की। अपने वक्तव्य के दौरान उन्होंने महिलाओं के अधिकारों को लेकर अपने विचार व्यक्त किए।
उन्होंने कहा कि आज भारतीय महिलाएं घर से निकले पुरुषों के साथ कंधे से कंधा मिलाकर देश की अर्थव्यवस्था में अपना सहयोग दें। वहीं ओशिन शर्मा ने कहा कि आज हम महिलाएं लोकसभा एवं विधानसभा में भी प्रतिनिधित्व करें। उन्होंने विशेष तौर पर छात्राओं से आह्वान किया कि वे खुद को इतना सशक्त एवं सक्ष्म बनाएं कि भविष्य में वे विधानसभा, लोकसभा एवं राज्य सभा में सदस्य के रूप में विराजमान हों। उन्होंने पुरुषों और महिलाओं की एक समानता के विपरीत दोनों के अपने अपने महत्त्व पर प्रकाश डालते हुए कहा कि विभिन्न क्षेत्रों में जहां पुरुषों का अपना महत्त्व है, वहीं महिलाएं अपने कुछ क्षेत्रों में अपना अलग महत्त्व रखती हैं। उदारहरण देते हुए उन्होंने कहा कि सीवरेज के कार्य में केवल पुरुष ही अपना योगदान दे सकते हैं, वहा महिलाएं चाहकर भी अपना योगदान नहीं दे सकतीं। ऐसे ही बहुत सारे उदाहरण देते हुए उन्होंने अवगत करवाया कि पुरुष और महिलाएं कभी एक समान नहीं हो सकते।लेकिन वहीं उन्होंने कहा कि जैसे एक और एक ग्यारह होते हैं वैसे ही पुरुष और स्त्री समाज के लिए मिलकर कार्य करें तो समाज का उत्थान संभव है बशर्ते कि महिलाओं को भी पुरुषो के समान अधिकार दिए जाएं। उन्होंने कहा कि आज महिलाओं की आवश्यकता पुरुषों से समानता की नहीं बल्कि अधिकारों में समानता की है । महिला आरक्षण पर उन्होंने बात करते हुए कहा कि ग्राम पंचायतों में महिलाओं के लिए आरक्षण तेंतीस 33% है, शीघ्र ही विधानसभा ,लोकसभा एवं राज्यसभा में भी तेंतीस प्रतिशत आरक्षण मिलने जा रहा है, जो की महिलाओं के लिए बहुत खुशी का विषय है।
इसी क्रम में लाल बहादुर राष्ट्रीय संस्कृत विश्वविद्यालय नई दिल्ली के प्रोफेसर यशवीर सिंह ने भी ओशिन शर्मा के वक्तव्यों का समर्थन किया। कार्यक्रम के अंत में परिसर की निदेशिका प्रोफेसर सत्यम कुमारी ने अपने अध्यक्षीय भाषण के दौरान कहा कि महिलाएं अपने अंदर व्याप्त भय को दूर कर आगे आएं, ताकि समाज में आप लोग अपने अपने कर्तव्यों एवम अधिकारों का अच्छी तरह से उपयोग कर सकें। इस कार्यक्रम की संचालिका संतोष गोधरा ने सम्यक तरीके से कार्यक्रम का संचालन किया। इस अवसर पर परिसर निदेशक प्रो सत्यम कुमारी सहित कार्यक्रम की संयोजक डॉक्टर मनोज्ञा सहित समस्त शिक्षक ,कर्मचारी एवं छात्र छात्राएं उपस्थित रहे।