ऊना: कर्मचारियों के मसलों को हल नही कर रही सुक्खू सरकार: भनोट
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हिमाचल प्रदेश भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता व हिमाचल प्रदेश के पूर्व कर्मचारी नेता हरिओम भनोट ने प्रदेश सरकार को आड़े हाथों लेते हुए कहा कि प्रदेश सरकार कर्मचारियों के मसलों को हल करने के लिए प्राथमिक कार्य करें। उन्होंने कहा कि कर्मचारियों व पेंशनर्स के अनेक मामलें ऐसे हैं जिनका वादा तो किया गया, लेकिन अभी तक कोई हल नहीं हुए। हरिओम भनोट ने कहा कि वर्तमान समय में यहां हमारी मांग है कि सरकार कर्मचारियों के सब मसलों को हल करें, आउटसोर्स व अन्य कर्मचारियों को निकाला जा रहा है, उनको लेकर के निर्णय करें, ताकि नौकरी किसी की ना जाए। वहीं वर्तमान समय में सबसे अधिक प्राथमिकता सरकार बाढ़ पीड़ित क्षेत्रों को, बारिश से प्रभावित क्षेत्रों को दें।
भनोट ने कहा कि हम सब साथ हैं, इस समय राहत कार्य तेजी से हो जो भी राहत के लिए किया जाना है उसको किया जाए। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में पूर्ण सहयोग प्रदेश को कर रही है यही कारण है कि प्रदेश को 461 करोड़ से ज्यादा की राशि आपदा प्रबंधन के लिए दी जा चुकी है और भी मदद केंद्र सरकार देगी। और केंद्र सरकार से किस प्रकार से मदद करवाई जा सकती है इसके लिए भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जगत प्रकाश नड्डा, केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर, नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर, भाजपा के राज्य अध्यक्ष डॉ. राजीव बिंदल व पूर्व मुख्यमंत्री प्रेम कुमार धूमल सहित सभी नेता प्रयास कर रहे हैं कि केंद्र सरकार अधिक से अधिक मदद हिमाचल प्रदेश की करें।
भनोट ने कहा की दलगत राजनीति से ऊपर उठकर जिस प्रकार से केंद्र सरकार हिमाचल को राहत दे रही है ऐसे में प्रदेश की सरकार को केंद्र का आभार व्यक्त करना चाहिए। उन्होंने कहा कि हम तो कह रहे हैं कि प्रदेश की सरकार अधिक से अधिक प्रयास करें ताकि केंद्र की ओर से अधिक से अधिक मदद मिले, लेकिन यह मदद लोगों तक पहुंचने चाहिए, लोगों के जनजीवन पर असर पड़ा है उससे उभारने के लिए प्रयास होने चाहिए। उन्होंने कहा कि हालांकि आज के समय में कर्मचारियों के मसले ऐसे हैं जिनका हाल होना चाहिए, कर्मचारियों की समस्याएं बहुत है, कर्मचारी धरना प्रदर्शन करने के लिए विवश हो रहे हैं, नौकरियों से लोगों को निकाला जा रहा है, सर्विस सिलेक्शन बोर्ड भंग किया वह नया नहीं बना 100 दिन के अंदर ,पुराने परिणाम नहीं आ रहे हैं, नौजवानों में रोष है, यह सब कार्य भी प्राथमिकता पर हो पर वर्तमान समय में सरकार को अग्रिम मोर्चे पर रहकर बारिश से हुए नुकसान की भरपाई की ओर ध्यान देना चाहिए। उन्होंने कहा कि किसान व बागवान के हित के लिए काम करना चाहिए। उन्होंने कहा कि जिस प्रकार से सेब का सीजन है,बागवानी पर आर्थिक अटकी हुई है,सरकार कि नालायकी है कि इस समय जब सेब की खरीद होनी है, सेब को लेकर के काम किया जाना है, बारिश ने नुकसान किया ही दिक्कत की लेकिन सरकार की भी नीति नहीं है, सरकार इस मसले पर विफल साबित हो रही है और बागवान परेशान हो रहे हैं। उन्होंने कहा कि ऐसे में सरकार को अब राहत देने के लिए काम करना चाहिए।