शूलिनी विश्वविद्यालय के शोधकर्ता, स्कूल ऑफ फार्मास्युटिकल साइंसेज के प्रोफेसर डॉ. दीपक कुमार और उनके छात्र विवेक पंवार ने 40 के प्रभाव कारक वाले प्रतिष्ठित पत्रिका नेचर 'सिग्नल ट्रांसडक्शन एंड टारगेटेड थेरेपी' में एक शोध पत्र प्रकाशित किया। अध्ययन का उद्देश्य एमटीओआर (रैपामाइसिन का स्तनधारी लक्ष्य) सिग्नलिंग मार्ग और मानव स्वास्थ्य और बीमारी में इसकी कई भूमिकाओं के गहन रहस्यों को उजागर करना था, जिसमें कैंसर में इसके निहितार्थ पर विशेष ध्यान दिया गया था। इस पेपर में प्रस्तुत अंतर्दृष्टि कैंसर जीव विज्ञान में एमटीओआर की महत्वपूर्ण भूमिका, वर्तमान चुनौतियों का समाधान करने और चिकित्सीय हस्तक्षेप के लिए इसकी क्षमता की खोज पर प्रकाश डालती है। इस लेख में उम्र बढ़ने, उम्र से संबंधित तंत्रिका संबंधी विकारों, मधुमेह और मानव घातक बीमारियों में एमटीओआर के महत्व को दिखाया गया है। एमटीओआरसी1 सिग्नलिंग की खोज न केवल जीवन प्रत्याशा बढ़ाती है बल्कि प्रतिरक्षा को भी बढ़ावा देती है, जिससे स्तनधारियों और मनुष्यों में उम्र से संबंधित न्यूरोलॉजिकल विकार, कैंसर और चयापचय रोगों का खतरा कम हो जाता है। इस खोज पत्र में भारत के अन्य सहयोगी लेखक थे ऐश्वर्या सिंह, मानिनी भट्ट, डॉ. राजीव टोंक, डॉ. आगा साकिब रज़ा, डॉ. शिंजिनी सेनगुप्ता, एमिटी यूनिवर्सिटी से डॉ. मनोज गर्ग। इस खोज अध्ययन में कैंसर के उपचार के परिदृश्य को बदलने और अधिक प्रभावी और कम विषाक्त उपचारों का मार्ग प्रशस्त करने की क्षमता है। वैज्ञानिक समुदाय उत्सुकता से अनुवर्ती अनुसंधान और नैदानिक परीक्षणों का इंतजार कर रहा है जो निस्संदेह इस उल्लेखनीय सफलता से प्रेरित होंगे।
कुनिहार: संयुक्त सलाहकार समिति की बैठक नहीं बुलाई तो डीसी ऑफिस का घेराव करेंगे पेंशनर्स : केडी शर्मा
जिला पेंशनर्स एवं वरिष्ठ नागरिक कल्याण संगठन के जिलाध्यक्ष एवं राज्य कार्यकारिणी के मुख्य सलाहकार केडी शर्मा ने उपायुक्त सोलन से अपील की है कि पेंशनरों की जिला स्तरीय बैठक पहली दिसंबर तक बुलाई जाए। अगर पहली दिसंबर तक बैठक नहीं बुलाई तो 4 दिसंबर को उपायुक्त कार्यालय के समक्ष संकेतिक धरना प्रदर्शन व रोष रैली का आयोजन किया जाएगा। केडी शर्मा ने यह बात बरोटीवाला में आयोजित पेंशनरों की जिला स्तरीय आपात बैठक में पेंशनरो को संबोधित करते हुए कही। उन्होंने कहा कि 27 मई को पेंशनरों का एक प्रतिनिधिमंडल उपायुक्त सोलन से संयुक्त सलाहकार समिति की बैठक बुलाने बारे मिला था, जिसमें उपायुक्त सोलन ने प्रतिनिधिमंडल को विश्वास दिलवाया था कि शीघ्र ही संयुक्त सलाहकार समिति की बैठक बुलाई जाएगी। लेकिन साढ़े 5 महीने बीत जाने पर भी अभी तक बैठक नहीं बुलाई गई। केडी शर्मा ने जिले के तमाम पेंशनर्सर् सब यूनिटों से आग्रह किया है कि हर यूनिट से 10-15 सक्रिय पेंशनरों को 4 दिसंबर को होने वाले धरना प्रदर्शन व रोष रैली में उपायुक्त कार्यालय के समीप पहुंचना सुनिश्चित करें। इस आपात बैठक में 17 दिसंबर को होने वाले राज्य स्तरीय अखिल भारतीय पेंशन दिवस समारोह मनाने बारे विशेष रूप से चर्चा की गई और सभी के सुझाव के उपरांत केडी शर्मा ने कहा कि इस बार इस राज्य स्तरीय समारोह का आयोजन जिला सोलन में किया जाएगा जिसका वेन्यू जल्द ही तय किया जाएगा। इसके अलावा बैठक में पेंशनरों ने अपनी विभिन्न मांगों को जल्द पूरा करने की सरकार से मांग की। इस अवसर पर जगदीश पंवर, मनसा राम पाठक, राम लाल शर्मा, दलीप राणा, अंजना शर्मा, डीडी कश्यप, जिया लाल ठाकुर, नरेश घई, कृष्ण सिंह चौहान, जगदीश सिंह, बेलीराम राठौर, रोशन लाल, सूर्यकांत जोशी, ईश्वर दत्त शर्मा, चैतराम भारद्वाज, कैलास राणा, लेखराम शर्मा, राजेश शर्मा आदि पेंशनर्स मौजूद रहे।
राज्यपाल शिव प्रताप शुक्ल ने आज यहां उप मुख्यमंत्री मुकेश अग्निहोत्री की पत्नी प्रो. सिम्मी अग्निहोत्री तथा डॉ. विजय सिंह द्वारा लिखित पुस्तक 'एम्पावरिंग ट्राईब्स-ए पाथ टूवॉर्ड्स सस्टेनेबल डेवेल्पमेंटÓ का विमोचन किया। राज्यपाल ने कहा कि जनजातीय क्षेत्रों की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत ने दुनिया को अपनी ओर आकृष्ट किया है। प्रदेश में हुए अभूतपूर्व विकास के फलस्वरूप अब जनजातीय क्षेत्रों में सड़क, स्वास्थ्य, शिक्षा व अन्य सभी मूलभूत सुविधाएं उपलब्ध हैं। प्रकाशित पुस्तक में लेखक-द्वय द्वारा विश्व के जनजातीय क्षेत्रों में विकास के बाद हुए बदलाव के बारे में बताया गया है, जो पाठकों के लिए रूचिकर होगा। इसके अतिरिक्त पुस्तक में वैश्विक स्तर पर जनजातीय आबादी के समक्ष पेश आ रही चुनौतियों, इनके सशक्तिकरण, अनूठी जनजातीय संस्कृति के संरक्षण और इनके सतत् भविष्य के दृष्टिगत नवोन्मेषी दृष्टिकोण प्रस्तुत किया गया है। इस अवसर पर राज्यपाल के सचिव राजेश शर्मा, प्रो. सिम्मी अग्निहोत्री की सुपुत्री आस्था अग्निहोत्री व अन्य गणमान्य भी उपस्थित थे।
दिवाली से ठीक एक दिन पहले छोटी दिवाली का पर्व मनाया जाता है। दिवाली से पहले छोटी दिवाली इसलिए मनाई जाती है क्योंकि, इस दिन हनुमान ज्यंति भी होती है और इसी दिन भगवान श्री कृष्ण ने नरकासुर नामक असुर का वध किया था। इसलिए इसे नरक चतुर्दशी भी कहते हैं। इस दिन दिवाली से कम मात्रा में दीप आदि प्रज्वलित किए जाते हैं। इस दिन सौंदर्य व्रत भी रखा जाता है। आइए जानते हैं छोटी दिवाली कब मनाई जाएगी... 11 या 12 नवंबर कब मनाई जाएगी छोटी दिवाली? छोटी दिवाली पर नरक चतुर्दशी के दिन मनाई जाती है। 11 नवंबर को 1 बजकर 59 मिनट से चतुर्दशी तिथि आरंभ हो रही है और अगले दिन 12 नवंबर को दोपहर के 2 बजकर 45 मिनट तक रहेगी। छोटी दिवाली 11 नवंबर शनिवार 2023 को मनाई जाएगी।
-रात 10 बजे से सुबह 6 बजे तक नहीं चला सकेंगे पटाखे राज्य के सरकारी स्कूलों के बच्चे ग्रीन दिवाली मनाने का संदेश देंगे। अपने परिवार व आसपास के लोगों को जागरूक करेंगे। पटाखों से पर्यावरण को होने वाले नुकसान के बारे में बताएंगे ताकि सभी लोग ग्रीन दिवाली मनाएं। निदेशक शिक्षा विभाग की ओर से इस संबंध में स्कूलों को आदेश जारी कर दिए गए हैं। इसमें स्कूलों को कहा गया है कि वह बच्चों को जागरूक करें व उन्हें बताए कि पटाखों से प्रदूषण फैलता है। सुप्रीम कोर्ट के आदेशानुसार प्रदेश में दिवाली की रात 10 बजे के बाद सुबह 6 बजे तक पटाखे चलाने पर पूर्णत: प्रतिबंध रहेगा। इसके बारे में भी लोगों को जागरूक किया जाए। पहले से एक परंपरा विकसित हुई है जिसमें दीपोत्सव के दिन तेज आवाज के पटाखे चलाए जाते हैं। ये पर्यावरण को क्षति पहुंचाती है। ध्वनि व वायु प्रदूषण बहुत तेजी से फैलता है। वायु की गुणवत्ता असंतुलित हो जाती है। इस बार स्वयं बच्चे ही जागरूकता की बेहतरीन मिसाल पेश करेंगे।
धनतेरस दिवाली के दो दिन पूर्व मनाया जाने वाला त्योहार है। शास्त्रों के अनुसार इस दिन भगवान धन्वंतरि का जन्म हुआ था। इसलिए इसे धनतेरस के त्योहार के रूप में मनाया जाता है। भगवान धन्वंतरि अमृत कलश लेकर प्रकट हुए थे, इसलिए इस दिन बर्तन खरीदने की परंपरा है। इस दिन धन्वंतरि देव के साथ मां लक्ष्मी और कुबेर देव की पूजा अर्चना की जाती है। इस दिन बर्तन के अलावा कोई भी सामान खरीदना बहुत ही शुभ माना जाता है। ऐसे में चलिए जानते हैं कि धनतेरस का त्योहार क्यों मनाया जाता है और इसकी शुरुआत कैसे हुई... भगवान धन्वंतरि का हुआ था जन्म मान्यताओं के अनुसार, समुद्र मंथन के दौरान कार्तिक माह के कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी के दिन भगवान धन्वंतरि अपने हाथों में अमृत कलश लेकर प्रकट हुए थे। ऐसी मान्यता है कि सृष्टि में चिकित्सा विज्ञान के विस्तार के लिए ही भगवान विष्णु ने धन्वंतरि का अवतार में जन्म लिया था। शास्त्रों के अनुसार भगवान धनवंतरी देवताओं के वैद्य हैं। इनकी पूजा से आरोग्य सुख यानी स्वास्थ्य लाभ मिलता है। धन्वंतरि के प्रकट होने के उपलक्ष्य में ही हर साल कार्तिक कृष्ण त्रयोदशी के दिन धनतेरस का त्योहार मनाया जाता है। वहीं कहा जाता है कि भगवान धन्वंतरि के उत्पन्न होने के दो दिनों बाद देवी लक्ष्मी प्रकट हुई थीं, इसलिए धनतेरस के दो दिन बाद दीपावली का पर्व मनाया जाता है। श्री हरि विष्णु के वामन अवतार से भी है संबंध धनतेरस से जुड़ी एक और मान्यता के अनुसार, देवताओं को राजा बलि के भय से मुक्ति दिलाने के लिए भगवान विष्णु ने वामन अवतार लिया और राजा बलि के यज्ञ स्थल पर पहुंच गए। शुक्राचार्य ने वामन रूप में भी भगवान विष्णु को पहचान लिया और राजा बलि से आग्रह किया कि वामन कुछ भी मांगे उन्हें इंकार कर देना। लेकिन बलि ने शुक्राचार्य की बात नहीं मानी। वामन भगवान द्वारा मांगी गई तीन पग भूमि, दान करने के लिए कमंडल से जल लेकर संकल्प लेने लगे। बलि को दान करने से रोकने के लिए शुक्राचार्य राजा बलि के कमंडल में लघु रूप धारण करके प्रवेश कर गए। इसकी वजह से कमंडल से जल निकलने का मार्ग बंद हो गया। वामन अवतार में भगवान विष्णु शुक्राचार्य की चाल को समझ गए। भगवान वामन ने अपने हाथ में रखे हुए कुशा को कमंडल में ऐसे रखा कि शुक्राचार्य की एक आंख फूट गयी। शुक्राचार्य छटपटाकर कमण्डल से निकल आये। बलि ने संकल्प लेकर तीन पग भूमि दान कर दिया। इसके बाद भगवान वामन ने अपने एक पैर से संपूर्ण पृथ्वी को नाप लिया और दूसरे पैर से अंतरिक्ष को। तीसरा पग रखने के लिए कोई स्थान नहीं होने पर बलि ने अपना सिर वामन भगवान के चरणों में रख दिया। बलि दान में अपना सब कुछ गंवा बैठा। इस तरह बलि के भय से देवताओं को मुक्ति मिली और बलि ने जो धन-संपत्ति देवताओं से छीन ली थी उससे कई गुणा धन-संपत्ति देवताओं को मिल गई। इस उपलक्ष्य में भी धनतेरस का त्योहार मनाया जाता है।
दीपावली भारत का एक प्रमुख त्योहार है। 5 दिवसीय इस त्योहार को बड़ी ही धूमधाम और उत्साह के साथ मनाया जाता है। इस त्योहार को अंधकार पर प्रकाश, बुराई पर अच्छाई, अज्ञानता पर ज्ञान की जीत के प्रतीक के रूप में मनाया जाता है। इस दिन लोग अपने घरों को सजाते हैं, विशेष अनुष्ठान और लक्ष्मी पूजा करते हैं, व्यंजन तैयार करते हैं, पटाखे फोड़ते हैं। पांच दिवसीय उत्सव धनतेरस से शुरू होता है और भाई दूज के साथ समाप्त होता है। दिवाली न सिर्फ भारत के अलग-अलग राज्यों में, बल्कि विदेश में भी मनाया जाता है। भारत के अलावा दिवाली को करीब 11 देशों में राष्ट्रीय अवकाश के रूप में मनाया जाता है। इनमें गुयाना, फिजी, नेपाल, सिंगापुर, मॉरीशस, म्यांमार, श्रीलंका, सूरीनाम, मलेशिया, त्रिनिदाद और टोबैगो शामिल हैं। ये हैं दिवाली से जुड़ी कुछ रोचक बातें -दिवाली हिंदुओं का एक प्रमुख त्योहार है, लेकिन सिख, जैन सहित अन्य धर्मों के लोग भी पूरे उत्साह के साथ इस त्योहार को मनाते हैं। -भगवान राम 14 साल का वनवास काटकर जब अयोध्या वापस लौटे थे, उसके बाद समस्त अयोध्या वासियों ने दीप जलाकर भगवान राम का स्वागत किया था। तभी से दीपावली का त्योहार मनाया जा रहा है। - कार्तिक मास की अमावस्या को मां लक्ष्मी समुंद्र मंथन के बाद धरती पर प्रकट हुई थीं। दीपावली के त्योहार को मनाने का सबसे खास कारण यही है। इस पर्व को मां लक्ष्मी के स्वागत के रूप में मनाते हैं। -प्रसिद्ध स्वर्ण मंदिर की नींव दिवाली के दिन रखी गई थी। -भारत के बाहर यूके के लीसेस्टर शहर में सबसे बड़ा दिवाली समारोह आयोजित होता है। इस समारोह में हजारों लोग भाग लेते हैं। -दिवाली का त्योहार अलग-अलग देशों में अलग-अलग नामों से मनाया जाता है। नेपाल में लोग दिवाली के त्योहार को तिहाड़ या स्वंती के रूप में मनाते हैं। मलेशिया में लोग अस्वायुजा महीने में दिवाली को हरि दिवाली के रूप में मनाते हैं। थाईलैंड में लोग दिवाली के त्योहार को लम क्रियाओंघ के रूप में मनाते हैं, वे पटाखे फोड़ने से बचते हैं और इसके बजाय केले के पत्तों से बने दीपक जलाते हैं। -भारत के अलग-अलग राज्यों में भी दिवाली को अलग-अलग रूप में मनाया जाता है। गोवा में दिवाली को राक्षस नरकासुर पर भगवान कृष्ण की जीत के रूप में मनाया जाता है। पश्चिम बंगाल के लोग इस त्योहारों को काली पूजा के रूप में मनाते हैं। -कुछ लोग दीपावली को एक नए वित्तीय वर्ष की शुरुआत के रूप में भी मानते हैं। -दिवाली के दिन मिट्टी के दीपक जलाना बहुत शुभ माना जाता है। मिट्टी का दीपक पंचतत्वों से मिलकर बनाता है जो घर और आसपास के वातावरण में सकारात्मक ऊर्जा का संचार करता है। ऋग्वेद के अनुसार दीपक में देवताओं का तेज रहता है, इसकी रोशनी से यश और प्रसिद्धि प्राप्त होती है। सुख-समृद्धि का आशीर्वाद मिलता है।
इस साल 12 नवंबर को दीपावली है। हिंदू पंचांग के अनुसार कार्तिक माह की अमावस्या तिथि पर पूरे देशभर में दिवाली का पर्व बहुत ही धूमधाम के साथ मनाया जाता है। दिवाली पर लक्ष्मी पूजन का विशेष महत्व होता है। दिवाली की तैयारियां कई दिनों पहले से होने लगती है। दिवाली पर पूरे घर को दीयों और रंगबिरंगी लाइटों से सजाया जाता है। हर वर्ष दीपोत्सव का पर्व 5 दिनों तक मनाया जाता है। धनतरेस से दिवाली का त्योहार शुरू हो जाता है और फिर इसके बाद नरक चतुर्दशी जिसे छोटी दिवाली भी कहते हैं मनाया जाता है। इसके बाद दिवाली फिर अगले दिन गोवर्धन पूजा और आखिरी दिन भाई दूज का त्योहार आता है। वैदिक ज्योतिष शास्त्र की गणना के मुताबिक इस साल दीपावली बहुत ही खास रहेगी, क्योंकि कई दशकों के बाद दिवाली पर एक साथ कई शुभ योग और राजयोग का निर्माण हुआ है। दिवाली का त्योहार कार्तिक माह के अमावस्या तिथि पर मनाने का विधान होता है। दिवाली पर लक्ष्मी-गणेश पूजन का काफी महत्व होता है। दिवाली पर लक्ष्मी पूजा के लिए प्रदोष काल का समय सबसे अच्छा माना जाता है। दिवाली पर अमावस्या तिथि 12 नवंबर को दोपहर करीब 2 बजकर 30 मिनट पर शुरू हो जाएगी। वैदिक ज्योतिष शास्त्र की गणना के मुताबिक दिवाली की शाम के समय जब लक्ष्मी पूजा होगी उसी दौरान 5 राजयोग का निर्माण भी होगा। इसके अलावा आयुष्मान, सौभाग्य और महालक्ष्मी योग भी बनेगा। इस तरह से दिवाली 8 शुभ योगों में मनाई जाएगी।ज्योतिषाचार्यो का मनाना है कि दीपावली पर इस तरह का शुभ योग कई दशकों के बाद बना है। ऐसे में इस शुभ योग में दिवाली सभी के लिए सुख-समृद्धि और मंगलकामना साबित होगी। इस साल दिवाली पर एक साथ 5 राजयोग देखने को मिलेगा। ये 5 राजयोग गजकेसरी, हर्ष, उभयचरी, काहल और दुर्धरा नाम के होंगे। इन राजयोगों का निर्माण शुक्र, बुध, चंद्रमा और गुरु ग्रह स्थितियों के कारण बनेंगे। वैदिक ज्योतिष शास्त्र के अनुसार गजकेसरी योग को बहुत ही शुभ माना जाता है। यह योग मान-सम्मान और लाभ देने वाला साबित होता है। वहीं हर्ष योग धन में वृद्धि और यश दिलाता है। जबकि बाकी काहल ,उभयचरी और दुर्धरा योग शुभता और शांति दिलाता है। वहीं कई सालों बाद दिवाली पर दुर्लभ संयोग भी देखने को मिलेगा जब शनि अपनी स्वयं की राशि कुंभ में विराजमान होकर शश महापुरुष राजयोग का निर्माण करेंगे। इसके अलावा दिवाली पर आयुष्मान और सौभाग्य योग का निर्माण भी होगा। इस वर्ष छोटी और बड़ी दिवाली दोनों ही एक दिन यानी 12 नवंबर को ही मनाई जाएगी। पंचांग के अनुसार 12 नवंबर को सुबह तक रूप चौदस रहेगी फिर दोपहर ढाई बजे के बाद कार्तिक माह के कृष्ण पक्ष की अमावस्या तिथि शुरू हो जाएगी। शास्त्रों के अनुसार दिवाली पर लक्ष्मी पूजन हमेशा अमावस्या की रात को होती है। इस वजह से दीपावली पर लक्ष्मी-गणेश की पूजा 12 नवंबर को रात को होगी। अमावस्या तिथि 13 नवंबर को दोपहर 3 बजे तक ही रहेगी। कार्तिक माह की अमावस्या तिथि पर दिवाली का त्योहार मनाया जाता है। इस बार कार्तिक महीने की अमावस्या तिथि 12 और 13 नवंबर दोनों ही दिन रहेगी, लेकिन दिवाली का त्योहार 12 नवंबर को ही मनाया जाएगा। 12 नवंबर को दोपहर अमावस्या तिथि शुरू हो जाएगी ऐसे में रविवार की रात को ही लक्ष्मी पूजन के साथ दिवाली का त्योहार मनाया जाएगा। दरअसल हिंदू धर्म शास्त्रों में बताया गया है कि दिवाली पर लक्ष्मी पूजा हमेशा ही अमावस्या तिथि और प्रदोष काल के संयोग में ही करना चाहिए। इस कारण से 12 नवंबर को ही शुभ दीपावली मनाई जाएगी।
-इस समय पूजा करने से होगी धन की वर्षा पंच-पर्व दीपावली का पहला पर्व धनतेरस इस बार पराक्रम योग के साथ 10 नवंबर को मनाया जाएगा। इस दिन शुक्र प्रदोष भी रहेगा, जिस कारण से शुक्र प्रदोष और धन त्रयोदशी का महासंयोग बन रहा है। साथ ही विष कुंभ योग भी है। त्रयोदशी तिथि 10 नवंबर को दोपहर 12 बजकर 36 मिनट से शुरू होकर अगले दिन 11 नवंबर को दोपहर 1 बजकर 58 तक रहेगी। यदि प्रदोष काल, स्थिर लग्न यानि वृषभ लग्न के दौरान धनतेरस पूजा की जाये तो लक्ष्मीजी घर में ठहर जाती है। यह है धनतेरस पूजा का शुभ मुहूर्त इस दिन प्रदोष काल- शाम 5 बजकर 46 मिनट से रात 8 बजकर 25 मिनट तक है। वहीं वृषभ लग्न का मुहूर्त- शाम 6 बजकर 8 मिनट से रात्रि 8 बजकर 5 मिनट तक है। दीपदान के लिए मुहूर्त सांय 5 बजकर 46 मिनट से लेकर रात्रि 8 बजकर 26 मिनट तक का समय शुभ है। कब करें खरीदारी इस बार खरीददारी के लिए धनतेरस पर दोपहर से शाम तक शुभ समय रहेगा। विशेषकर दोपहर 12 बजकर 56 मिनट से 2 बजकर 6 मिनट तक और फिर शाम 4 बजकर 16 मिनट से 5 बजकर 26 मिनट तक श्रेष्ठ समय रहेगा। धनतेरस के दिन जरूर करें ये काम मान्यता है कि आज के दिन समुद्र मंथन के समय भगवान धन्वंतरि अमृत कलश लेकर प्रकट हुए, इसलिए आज के दिन बर्तन खरीदने की परंपरा चली आ रही है। बर्तन खरीदारी के बाद यदि दुकानदार आपके खरीदे हुए बर्तनों में 1, 2 या 5 का सिक्का अपनी ओर से भेंट स्वरूप डाले दें तो उसका चमत्कारिक असर होता है। जब आप धनतेरस के दिन बर्तन खरीद लें और उस बर्तन का पैसा चुकाने के बाद दुकानदार को कहें कि अपनी ओर से जितनी उसकी इच्छा हो एक सिक्का उस बर्तन में भेंट स्वरूप रख दें। यह सिक्का दुकानदार से आप हाथ में नहीं लें, बल्कि स्वयं दुकानदार ही आपके खरीदे गए बर्तन में डाले। फिर इस बर्तन को घर ले आएं और घर लाकर इस बर्तन में खीर अथवा मिठाई रखकर सबसे पहले भगवान कुबेर को अर्पित कर दीजिए। यह उपाय किस्मत बदलने और सभी दुर्भाग्य को सौभाग्य में बदलने का काम करता है। यमराज के लिए करें दीपदान धनतेरस पर यमराज के निमित्त दीपदान किया जाता है। यमराज के निमित दीपदान करने से अकाल मृत्यु नहीं होती। इसके लिए संध्याकाल के समय आप आटे का चौमुखी तेल का दीपक बनाकर उसे अपने घर के मुख्य द्वार पर दक्षिण दिशा की तरफ लगाये, साथ ही उसमें थोड़ी सरसों, कालीमिर्च और लौंग डाल दें. इसी के साथ ही आप दीपदान अवष्य करें। इसके लिए आप 13 ही दीपक घर के अंदर प्रज्जवलित कर सजाएं। इस दिन किसी जरूरतमंद व्यक्ति को दीपक, रूई, तेल, माचिस दान देते हैं तो यम देवता प्रसन्न होंगे और आपके जीवन से अकाल मृत्यु का भय भी समाप्त हो जाएगा और मां लक्ष्मी की कृपा आप पर सदैव बनी रहेगी। यह एक जरूरी काम करना ना भूलें लक्ष्मी प्राप्ति कल्पों में से एक बहुत ही जरूरी सामग्री है झाड़ू। धनतेरस तथा दीपावली के दिन झाडू खरीदने की परंपरा सदियों पुरानी है। इस दिन नई झाड़ू को खरीदकर उसका पूजन करें और इसे खरीदते समय इस बात का विशेष ध्यान रखें कि यह विषम संख्या में खरीदा जाएं यानि 1, 3, 5 और 7 इस तरीके से झाड़ू खरीदना सौभाग्यदायक माना जाता है। दीपावली की रात्रि में लक्ष्मी पूजन के बाद कुमकुमम तथा चावल से इस झाड़ू का भी पूजन करें और उस पर पांच बार मोली लपेट दें और किसी स्वच्छ स्थान पर रख दें। फिर अगले दिन से उसे उपयोग में लें। ऐसा करने से मां लक्ष्मी की कृपा के साथ-साथ घर की सारी नेगेटिव एनर्जी भी दूर हो जाएगी।
दिवाली की धूम आपको घरों से लेकर बाजारों तक में दिखाई देने लगी है। लोगों ने अपने-अपने घरों को बेहद ही खूबसूरत तरह से सजा लिया है। इसके साथ ही हर कोई त्योहार के हिसाब से नए-नए कपड़े खरीदने में लगा है। दिवाली के इस महापर्व पर जिस तरह से नए-नए कपड़े खरीदने की परंपरा है, ठीक उसी तरह इस दिन घरों में तरह-तरह के पकवान बनते हैं। वैसे तो सभी के घरों में पूजी कचौड़ी और सब्जी बनती है, लेकिन अगर आप कुछ अलग बनाकर अपने परिवार को इंप्रेस करना चाह रहीं है तो ये लेख आपके लिए है। दरअसल, आज के लेख में हम आपको कुछ ऐसे पकवानों के बारे में बताएंगे, जिसे बच्चे से लेकर बड़े तक सभी मन से खाते हैं। हर कोई ये खाकर आपसे इंप्रेस होगा और दिवाली के दिन आपके घर में खुशियां ही खुशियां होंगी। छोले भटूरे यह एक ऐसा पकवान है, जो त्योहार के हिसाब से परफेक्ट है। इसके लिए आपको बस छोले पहले से बनाकर तैयार कर देने हैं और जब कोई खाना खाए उसे गर्मागर्म भटूरे बना कर देने हैं। इसके साथ सलाद जरूर परोसें। खस्ता सब्जी उत्तर भारत का ये बेहद ही प्रिय नाश्ता है। इसके लिए आपको कुछ ज्यादा मेहनत की जरूरत नहीं पड़ेगी। खस्ता को पहले से सेक कर रखना है और फिर बस गर्मागर्म सब्जी उसके ऊपर डालनी है। इडली सांभर अगर आपके घर वाले कुछ हल्का खाना चाहते हैं, तो इडली सांभर एक बेहतर ऑप्शन है। इडली को आप पहले से बनाकर तैयार करें। गर्म सांभर के साथ इसका स्वाद भी कई गुना बढ़ जाएगा। वेज बिरयानी अगर आप पहले से कुछ बनाकर तैयार करके रखना चाहती हैं तो वेज बिरयानी बनाकर आराम से तैयार करके रख लीजिए। इसे रायते के साथ परोस कर आप अपने घर वालों का दिल जीत सकती हैं। पकौड़े अगर आप चाहें तो घर पर ही मिक्स पकौड़े तैयार करा सकती हैं। ये खाने में भी काफी स्वादिष्ट लगते हैं। आप इसे चटनी के साथ परोस सकती हैं
राज्यपाल शिव प्रताप शुक्ल ने आज यहां बालिका आश्रम टूटीकंडी तथा सर्वोदय बाल आश्रम में दीवाली के उपलक्ष्य में यहां रहने वाले बच्चों को बधाई दी तथा मिठाई का वितरण किया। इस अवसर पर लेडी गवर्नर जानकी शुक्ल भी उनके साथ उपस्थित थीं। अपने संबोधन में राज्यपाल ने छात्राओं से आत्मबल बढ़ाने का आह्वान करते हुए कहा कि आपस में मिलजुल कर रहें तथा अपने जीवन को आदर्श बनाएं। उन्होंने कहा कि वे व्यक्तित्व विकास के साथ ही समाज व राष्ट्र निर्माण में योगदान के लिए आगे बढ़ें। उन्होंने इन दोनों आवासीय संस्थाओं में प्रदत्त की जा रही सुविधाओं पर संतोष व्यक्त किया। इस अवसर पर संस्थान के बच्चों ने सांस्कृतिक कार्यक्रम भी प्रस्तुत किए।
जिला परिषद सोलन के प्रागंण में बनी कैंटीन को एक वर्ष की अवधि के लिए किराए पर देने के लिए संविदाएं आमंत्रित की गई है। यह जानकारी जिला परिषद सोलन के सचिव जोगिन्द्र प्रकाश राणा ने दी। उन्होंने कहा कि इच्छुक बोलीदाता 16 नवंबर को दोपहर 12.30 बजे जिला परिषद भवन सोलन के बैठक हाल में सार्वजनिक बोली के लिए आ सकते हैं। जोगिंद्र प्रकाश राणा ने कहा कि बोली 4,490 रुपये प्रतिमाह के हिसाब से शुरू होगी। इच्छुक बोलीदाता को 14 नवंबर सायं 5.00 बजे तक जिला परिषद सोलन के कार्यालय में 15 हजार रुपए की राशि नकद या बैंक ड्राफ्ट के रूप में अमानत के तौर पर जमा करवानी होगी। उन्होंने कहा कि इच्छुक बोलीदाता किसी भी कार्य दिवस को प्रात: 11.00 बजे से शाम 5 तक उक्त कैंटीन का निरीक्षण कर सकते हंै। उन्होंने कहा कि निर्धारित तिथि के उपरांत कोई भी संविदाएं मान्य नहीं होंगी। उन्होंने कहा कि बोली के समय समिति के निर्णय को अंतिम माना जाएगा।
-दीपावली की बधाई के साथ सामाजिक कार्यों की दी प्रेरणा -होटल होलीडे होम में हिमाचली संस्कृति के साथ किया कार्यक्रम शिमला के संगिनी ग्रुप द्वारा महिला सशक्तिकरण का संदेश देते हुए दीपावली के शुभ अवसर के उपलक्ष्य पर कार्यक्रम का आयोजन किया गया। संगिनी ग्रुप की प्रतिभा बाली व किरण बाबा के नेतृत्व में आयोजित इस कार्यक्रम में शिमला की पूर्व मेयर मधु सूद व सामाजिक कार्यकर्ता रूपा शर्मा ने विशेष अतिथि के रूप में भाग लिया । इस कार्यक्रम में हिमाचली संस्कृति को आगे बढ़ाने के लिए महिलाओं को प्रेरित किया गया। वहीं, सामाजिक कार्यों में महिलाओं की भागीदारी लगातार बड़े इसके लिए विशेष रूप से आग्रह किया गया। दीपावली का पर्व सुरक्षा व स्वच्छ पर्यावरण के साथ मनाया जाए इसका संदेश दिया गया। वहीं, महिलाओं ने वर्तमान पीढ़ी को नशे से दूर रहने का भी संदेश दिया। शिमला की पूर्व मेयर मधुसूद ने महिला सशक्तिकरण पर जोर दिया और कहा कि निरंतर इस प्रकार के आयोजन होने चाहिए, जिससे हिमाचली संस्कृति परिवारों में आगे बढ़े, नैतिकता की शिक्षा मिले, सुख-दुख में एक दूसरे के भागीदार बने वही अलग-अलग क्षेत्र में सफलता से कार्य कर रही महिलाओं की पहचान भी बनाने में हम सब मददगार बने। वहीं सामाजिक कार्यकर्ता रूपा शर्मा ने कहा कि समाज में सामाजिक कार्यों में महिलाओं की लगातार भागीदारी बढ़ रही है,उन्होंने कहा की महिलाएं समाज परिवर्तन का काम कर रही है, हर क्षेत्र में महिला आगे बड़ी है। उन्होंने कहा कि यह एक बेहतर आयोजन संगिनी ग्रुप द्वारा किया गया है, सभी को इसके लिए बहुत-बहुत बधाई ,भविष्य में भी इस प्रकार के आयोजन हो और बढ़चढ़कर कर महिलाएं इसमें भाग वहीं हम देवभूमि की संस्कृति को भी आगे बढ़ाएं।
-उप मुख्यमंत्री ने हरोली में किए 43 करोड़ 20 लाख के शिलान्यास व लोकार्पण -बोले, प्रदेश के विकास में आड़े नहीं आने देंगे धन की कमी हिमाचल प्रदेश का संपूर्ण एवं संतुलित विकास प्रदेश सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता है, जिसे धरातल पर उतारने के लिए प्रदेश सरकार द्वारा अनेक योजनाएं व कार्यक्रम आरंभ किए गए हैं। यह बात उप मुख्यमंत्री मुकेश अग्निहोत्री ने हरोली विधानसभा क्षेत्र में 43 करोड़ 20 लाख के विभिन्न 22 विकास कार्यों के शिलान्यास व लोकार्पण के अवसर पर मीडिया को संबोधित करते हुए कही। उन्होंने ने बताया कि आज 33.56 करोड़ के विभिन्न विकासात्मक कार्यों के शिलान्यास तथा 9.64 करोड़ के विकास कार्यों के लोकार्पण किए गए हैं। उप मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में विकास कार्यों के लिए धन की कमी को आड़े नहीं आने दिया जाएगा तथा शुरू किए जा रहे प्रत्येक विकास कार्य को न्यूनतम निर्धारित समयावधि में पूरा करना सुनिश्चित किया जाएगा। उन्होंने जल शक्ति विभाग, लोक निर्माण विभाग तथा परिवहन विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिए कि वे शुरू किए गए कार्यों की गति के अलावा गुणवत्ता का भी खास ख्याल रखें। उन्होंने कहा कि हरोली विधानसभा क्षेत्र निर्णायक विकास की ओर अग्रसर है तथा यहां पर सड़क, स्वास्थ्य, शिक्षा, पेयजल जल तथा सिंचाई के क्षेत्र में परियोजनाओं का सुनियोजित ढंग से निर्माण किया जा रहा है ताकि क्षेत्र की वर्तमान पीढ़ी की आवश्यकताओ के अलावा भावी पीढ़ियों के लिए भी इनका लाभ सुनिश्चित किया जा सके। उन्होंने जानकारी दी कि हरोली विधानसभा क्षेत्र में स्थापित किए जा रहे बल्क ड्रग पार्क में पेयजल जल उपलब्ध करवाने के लिए 32 करोड रुपए, सड़क निर्माण के लिए 40 करोड रुपए तथा विद्युत आपूर्ति उपलब्ध करवाने के लिए लगभग 15 करोड रुपए खर्च किए जा रहे हैं। उप मुख्यमंत्री ने बताया कि भाखड़ा - जमालपुर विद्युत लाइन को हरोली से जोड़ा जा रहा है। इसके अलावा बल्क ड्रग पार्क की विद्युत संबंधी आवश्यकताओं के मध्य नजर नैहरियां से पेखूबेला तथा पोलियां तक 95 करोड़ की लागत से विद्युत लाइन बनाई जा रही है। इसके अतिरिक्त 31 करोड रुपए की लागत से टाहलीवाल में एक नया विद्युत उपकेंद्र स्थापित किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि इन सभी विद्युत परियोजनाओं के पूर्ण होने पर इस क्षेत्र में आने वाले कई दशकों के लिए विद्युत संबंधी आवश्यकताएं पूर्ण हो जाएंगी। मुकेश अग्निहोत्री ने बताया कि जिला ऊना में एशियन विकास बैंक के माध्यम से 19 पेयजल योजनाएं निर्माणाधीन हैं जिन पर 139 करोड रुपए खर्च किए जा रहे हैं। उन्होंने एशियन विकास बैंक के अधिकारियों को निर्देश दिए कि वे जिला में एडीबी की सभी परियोजनाओं को मई 2024 तक तथा बालीआल व नगनोली में निर्माणाधीन परियोजनाओं को आगामी 1 माह के भीतर पूर्ण करना सुनिश्चित करें। उपमुख्यमंत्री ने बताया कि हरोली में लगभग 7 करोड रुपए की लागत से बनाया जा रहे बस अड्डे का निर्माण कार्य एक वर्ष के भीतर पूरा किया जाएगा। उन्होंने कहा कि प्रदेश के सबसे लम्बे रामपुर-हरोली पुल को पर्यटकों की सुविधा के दृष्टिगत विकसित किया जा रहा है तथा यहां पर आने वाले लोगों सुरक्षा व सुविधाओं में इजाफा किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि रामपुर-हरोली पुल पर सुरक्षा के दृष्टिगत सीसीटीवी कैमरे स्थापित किए जा रहे हैं। जबकि लोगों की सुविधा के लिए प्याऊ तथा रैंन शैल्टर यहां बनकर तैयार हो गए हैं।
-जिला पुलिस ने चलाया विशेष सतर्कता अभियान -शाम 5 बजे से रात्रि 9 बजे तक भीड़-भाड़ वाले स्थानों पर हो रही गश्त दीपावली व अन्य त्यौहारी के दृष्टिगत जिला पुलिस ऊना द्वारा आम जनता की सुविधा के लिए 7 से लेकर 14 नवंबर तक विशेष सतर्कता अभियान चलाया जा रहा है। अभियान के तहत जिला पुलिस के समस्त अधिकारी अपने अधिकार क्षेत्र में सायं 5 बजे से रात्रि 9 बजे तक बाजारों, बस एवं टैक्सी स्टैंडों व अन्य भीड़-भाड़ वाले स्थानों पर कर्मचारियों सहित उपस्थित रहकर असामाजिक एवं उपद्रवी तत्वों पर पैनी नजर रख रहे हैं। इस अभियान का प्रमुख उद्देश्य आम जनता के मध्य सुरक्षा की भावना को विकसित करना और त्योहार के कारण अपेक्षित भीड़ को ध्यान में रखते हुए सटीक यातायात प्रबंधन एवं कानून व्यवस्था सुनिश्चित करना है। पुलिस अधीक्षक ऊना ने आम लोगों का आह्वान किया है कि वे भी अपने स्तर पर सतर्कता बनाए रखें व किसी भी संदेहजनक या आपातकालीन अवस्था में तुरंत पुलिस को सूचित करें।
सरकार भले ही सार्वजनिक मंचों से प्रदेश में बेहतर स्वास्थ्य सेवाएं देने के दावे करती है, लेकिन धरातल पर शून्य है। इस बात का ताजा उदाहरण इन दिनों सिविल अस्पताल डाडासीबा में देखा जा सकता है। 25 पंचायतों के करीब 50 हजार लोगों के स्वास्थ्य की देखभाल करने वाला सिविल अस्पताल डाडासीबा में करीब 6 डाक्टरों का जिम्मा मात्र दो डाक्टरों के कंधों पर थोप रखा है, यहां आने वाले मरीजों और तीमारदारों स्वास्थ्य विभाग की कार्यप्रणाली को कोसते हुए दिखते हैं। डाडासीबा में बीएमओ का पद पिछले 18 महीनों से रिक्त पड़ा है। यहां पर चिकित्सकों के 6 पद हैं, लेकिन अस्पताल में सिर्फ दो ही चिकित्सक अपनी सेवाएं दे रहे हैं । हॉस्पिटल में प्रतिदिन 250 से ज्यादा मरीज पहुंचते हैं। लेकिन डॉक्टरों की कमी के कारण मरीज को घंटों लाइन में खड़ा रहना पड़ता है उन्होंने सरकार से मांग की है कि शीघ्र ही रिक्त पदों को भर जाए। वहीं, पिछले कुछ समय से आंखों के विशेषज्ञ की ट्रांसफर होने के कारण लोगों ने लाइसेंस बनवाने के लिए अस्पताल में मेडिकल करवाना था। आंखों के विशेषज्ञ की ट्रांसफर होने के कारण लोगों के मेडिकल भी नहीं बन रहे हैं। लोगों को यहां से 25 किलोमीटर दूर मेडिकल करवाने के लिए सिविल हॉस्पिटल देहरा जाना पड़ रहा है। लोगों ने सरकार से मांग की है कि शीघ्र ही इस पद को भी भर जाए, ताकि ग्रामीणों को परेशानियों का सामना न करना पड़े। इसके अलावा डाडा सीबा हॉस्पिटल में अल्ट्रासाउंड मशीन तो है, लेकिन पिछले कुछ समय से रेडियोलॉजिस्ट ना होने के कारण लोगों को अल्ट्रासाउंड करवाने के लिए तलवाड़ा, होशियारपुर, ज्वालाजी व मेडिकल कॉलेज टांडा के लिए जाना पड़ रहा है। लोगों ने प्रशासन से मांग की है शीघ्र ही रेडियोलॉजिस्ट का पद भरा जाए। उधर, इस संबंध में कार्यवाहक बीएमओ डाडासीबा नीतिन शर्मा ने जानकारी देते हुए बताया अस्पताल में चिकित्सकों की छह पोस्ट हैं, लेकिन दो ही चिकित्सक अपनी सेवाएं दे रहे हैं। इस बारे उच्च अधिकारियों को लिखा गया है।
राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय जंबल में राष्ट्रीय सेवा योजना का सात दिवसीय शिविर संपन्न हुआ। प्रधानाचार्य ब्रह्मानंद ने सरस्वती पूजन तथा दीप प्रज्वलित कर इसका विधिवत समापन किया। स्कूल के हाल में उपस्थित स्वयंसेवियों ने मुख्य अतिथि, प्रधानाचार्य, शिक्षकों, स्कूल प्रबंधन समिति के अध्यक्ष एवं सदस्यों का अभिनंदन किया। उपस्थित शिक्षकों ने छात्रों को राष्ट्रीय सेवा योजना कार्यक्रम का महत्व और उद्देश्यों के विषय में जानकारी दी। मुख्यतिथि प्रधानाचार्या ब्रह्मानंद ने स्वयंसेवियों को शुभकामनाएं देकर राष्ट्र और समाजसेवा का आह्वान किया। इस अवसर पर मुख्य अतिथि को स्मृति चिन्ह देकर सम्मानित किया गया। इस कैंप के दौरान भिन्न रिसोर्स पर्सन ने एनएसएस के स्वयंसेवियों का मार्गदर्शन किया एनएसएस के स्वयं साबिया ने आस पास सफाई व्यवस्था वह एक रैली के माध्यम से लोगों को जागरूक किया। एनएसएस कार्यक्रम प्रभारी सुरेश नरयाल और सरोज शर्मा ने ये जानकारी देते हुए बताया कि इस साप्ताहिक शिविर में 39 स्वयंसेवी छात्रों भाग लिया। इस मौके पर एसएमसी कमेटी के प्रधान सुभाष चंद विशेष रूप से मौजूद रहे।
दीवाली के सामान की शिक्षकों व छात्रों ने की जमकर खरीदारी -प्रिंसिपल ने विशेष बच्चों को आगे बढ़ने में किए डॉ. मल्लिका नड्डा के प्रयासों को सराहा दीपों का त्योहार दीपावली को जहां महज कुछ ही दिन बाकी है तो ऐसे में चेतना संस्था बिलासपुर से जुड़े दिव्यांग विशेष बच्चों द्वारा अपने हाथों से दीवाली का सामान बनाया गया है, जिसे चेतना संस्था के सदस्य स्कूलों में जाकर स्टॉल लगाते हैं और स्कूली छात्रों व अध्यापकों द्वारा इन्हें खरीदा जाता है। वोकल फ़ॉर लोकल के नारे को साकार करते हुए चेतना संस्था की संस्थापिका डॉक्टर मल्लिका नड्डा द्वारा विशेष बच्चों के हुनर को आगे लाने व दीवाली के शुभ अवसर पर इन विशेष बच्चों द्वारा दीये, मोमबत्ती व भगवान की मूर्तियों सहित कईं तरह के समान बनवाए जाते हैं, जिन्हें बनाने में चेतना संस्था के सदस्य पूरी मदद करते हैं और फिर इनकी स्कूलों में बिक्री की जाती है, ताकि इन विशेष बच्चों के हुनर को समाज तक पहुंचाया जाए और इनमें छिपी प्रतिभा को भी आगे लाया जाए। इसी के मद्देनजर बुधवार को चेतना संस्था बिलासपुर द्वारा मिनर्वा सीनियर सेकेंडरी स्कूल घुमारवीं में भी स्टॉल लगाया गया, जिसमें स्कूली छात्रों व अध्यापकों ने दीवाली के इन सामानों की जमकर खरीदारी की है। वहीं चेतना संस्था बिलासपुर की प्रिंसिपल पूजा कुमारी ने कहा कि त्योहारों के मौके पर इन विशेष बच्चों द्वारा विभिन्न तरह के समान बनाये जाते हैं, जिनकी बिलासपुर जिला के विभिन्न स्कूलों में स्टॉल लगाकर बिक्री की जाती है। आज उन्होंने मिनर्वा सीनियर सेकंडरी स्कूल घुमारवीं को चुना है, जहां स्कूली छात्रों ने बढ़चढ़ कर खरीददारी की है और इससे यह विशेष बच्चे भी काफी खुश हैं। वहीं मिनर्वा पब्लिक स्कूल घुमारवीं के प्रिंसिपल परवेश चंदेल ने कहा कि डॉक्टर मल्लिका नड्डा द्वारा विशेष बच्चों को आगे बढ़ने व उनमें छिपे हुनर को समाज के सामने लाने के जो प्रयास हैं वे काबिले तारीफ हैं और उन्हें पूरी उम्मीद है कि आने वाले समय में भी डॉक्टर मल्लिका नड्डा व उनके पुत्र हरीश नड्डा इसी तरह विशेष बच्चों की सेवा करते रहेंगे और विभिन्न गतिविधियों के जरिये इन बच्चों को आगे बढ़ने का मौका देते रहेंगे।
-कहा, जिला कांगड़ा बनेगा साहसिक पर्यटन का हब -पैराग्लाइडिंग उड़ान के नियमों का उल्लंघन करने वालों पर होगी कार्रवाई जिला कांगड़ा को साहसिक पर्यटन हब के रूप में विकसित किया जा रहा है। बीड़ बिलिंग में हाल ही में संपन्न हुए प्री-पैराग्लाइडिंग वर्ल्ड कप के बाद अब धर्मशाला की नरवाणा पैराग्लाइडिंग साइट पर भी इसका आयोजन किया जा रहा है। जिला प्रशासन कांगड़ा में पैराग्लाइडिंग गतिविधियों को बढ़ावा देने के लिए प्रयास कर रहा है। जिले में पैराग्लाइडिंग गतिविधियों के लिए चार साइटों को विकसित किया जा रहा है। जिसमें बीड़ बिलिंग, इंद्रूनाग, नरवाणा और मझीण में सुविधाओं को सुदृढ़ करने के लिए गंभीर प्रयास किए जा रहे हैं। उपायुक्त डॉ. निपुण जिंदल ने आज बुधवार को धर्मशाला में आयोजित जिला स्तरीय पैराग्लाइडिंग नियामक समिति की बैठक की अध्यक्षता करते हुए यह बात कही। डीसी ने कहा कि प्रदेश सरकार ने जिला कांगड़ा को राज्य की पर्यटन राजधानी के रूप में विकसित करने की प्रतिबद्धता जाहिर की है। उन्होंने कहा कि इस दिशा में पैराग्लाइडिंग और अन्य साहसिक खेलों से जुड़ी गतिविधियों को बढ़ावा दिया जा रहा है। उन्होंने कहा कि जिले में पैराग्लाइडिंग के लिए विश्व स्तरीय स्थान उपलब्ध हैं और लोग देश-विदेश के विभिन्न हिस्सों से इसका लुत्फ उठाने के लिए यहां आ रहे हैं। उन्होंने कहा कि यहां पर्यटन गतिविधियों को बढ़ावा देने विशेषकर जिले को साहसिक पर्यटन का हब बनाने की दिशा में काम किया जा रहा है। उन्होंने अधिकारियों को जिले की चारों पैराग्लाइडिंग साइट के विकास और वहां सुविधाएं बढ़ाने के लिए काम करने को कहा। ऐरो स्पोर्ट्स क्लब करेगा गतिविधियों का संचालन डॉ. निपुण जिंदल ने बताया कि जिले में पैराग्लाइडिंग से जुड़ी गतिविधियों के संचालन के लिए ऐरो स्पोर्ट्स क्लब बनाया जाएगा। उन्होंने कहा कि ऐरो स्पोर्ट्स क्लब में पैराग्लाइडिंग ऑपरेटरों और प्रशासनिक अधिकारियों को सम्मलित किया जाएगा। उन्होंने कहा कि ऐरो स्पोर्ट्स क्लब के बनने के बाद पैराग्लाइडिंग से जुड़ी सारी गतिविधियों को इसके माध्यम से रेगुलेट किया जाएगा। उन्होंने बताया कि ऐरो स्पोर्ट्स क्लब के माध्यम से पैराग्लाइडिंग गतिविधियों के संचालन में सभी नियमों की अनुपालना सुनिश्चित की जाएगी। नियमों का उल्लंघन करने पर होगी कार्रवाई उपायुक्त ने पैराग्लाइडिंग ऑपरेटरों को निर्देश दिए कि पैराग्लाइडिंग की उड़ाने निर्धारित समय पर ही की जाएगी। उन्होंने कहा कि बहुत बार देखने में आया है कि पैराग्लाइडिंग पायलट उड़ान के लिए मनमर्जी करते हैं और निर्धारित समय के अवाला भी उड़ान भरते हैं। उन्होंने कहा कि कुछ पायलट खराब मौसम में भी उड़ान भरते हैं। उन्होंने कहा कि यह भी सुनिश्चित किया जाए कि कोई भी पायलट निर्धारित उड़ानों से ज्यादा उड़ान न भर सके। उपायुक्त ने कहा कि जो भी ऑपरेटर या पायलट नियमों का उल्लंघन करते हुए लोगों की जान खतरे में डालते हैं, उसके विरुद्ध नियमों के अनुसार सख्त कार्रवाई की जाएगी, जिसमें आर्थिक दंड के अलावा लाइसेंस तक रद्द किए जाएंगे। मार्शलों की तैनाती हो सुनिश्चित उपायुक्त ने कहा कि पैराग्लाइडिंग साइट्स पर मार्शल की तैनाती सुनिश्चित की जाए। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिए कि आगामी दिनों में धर्मशाला के नरवाणा में होने वाले प्री-पैराग्लाइडिंग वर्ल्ड कप में उपयुक्त मार्शलों की तैनाती की जाए। उन्होंने कहा कि नियमानुसार मार्शलों की तैनाती आवश्यक है, जिससे किसी भी प्रकार की दुर्घटना से बचा जा सके तथा त्वरित कार्रवाई को अंजाम दिया जा सके। जिले में हैं 14 पंजीकृत पैराग्लाइडिंग संचालन इकाइयां कांगड़ा जिले में 14 पैराग्लाइडिंग एसोसिएशन अथवा संचालन इकाइयां, 346 पायलट और 387 पैराग्लाइडिंग इक्यूप्मेंट पंजीकृत हैं। पैराग्लाइडिंग एसोसिएशन अथवा संचालन इकाइयों में 8 बीड़ बिलिंग में, 4 इंद्रुनाग में, तथा एक-एक नरवाणा और मझीण में कार्यशील हैं।
विधायक संजय रत्न ने ज्वालामुखी विधानसभा क्षेत्र में चल रहे निर्माण कार्यों में तेजी लाने के निर्देश विभागीय अधिकारियों को दिए हैं। इस बाबत ज्वालामुखी विश्राम गृह में विकास कार्यों की समीक्षा बैठक की अध्यक्षता करते हुए विधायक संजय रत्न ने कहा कि ज्वालामुखी विधानसभा क्षेत्र को विकास की दृष्टि से मॉडल विस क्षेत्र के रूप् में पूरे राज्य में विकसित किया जाएगा, विकास में धन की कमी किसी भी स्तर पर आड़े नहीं आने दी जाएगी। उन्होंने विकास कार्यों को समयबद्व पूरा करने के निर्देश भी अधिकारियों को दिए गए हैं ताकि लोगों को बेहतर सुविधाएं मिल सकें। उन्होंने कहा कि लोगों से किये वायदों को पूर्ण करना उनकी जिम्मेवारी है और चरणबद्ध इन्हें पूरा किया जा रहा है। विधायक ने कहा कि ग्रामीण क्षेत्रों में सड़क, स्वास्थ्य तथा शिक्षा की बेहतर सुविधाएं उपलब्ध करवाने के लिए कारगर कदम उठाए जा रहे हैं ताकि गांवों का समग्र विकास सुनिश्चित किया जा सके। विधायक संजय रत्न ने कहा कि समाज सेवा उनका ध्येय है तथा जब भी ज्वालामुखी विधानसभा क्षेत्र के लोगों ने उनको अपना आशीर्वाद दिया है, तब तब विकास में कोई कमी नहीं छोड़ी है। ज्वालामुखी में उपमंडल कार्यालय, महाविद्यालय से लेकर कई विकास की योजनाएं इस विस क्षेत्र के लिए स्वीकृत करवाई हैं। विधायक ने कहा कि लोगों के घरद्वार जाकर समस्याओं सुनना और उनका समाधान करना सरकार की प्राथमिकता है। उन्होंने कहा कि प्रदेश में एक संवेदनशील सरकार है जो, गांव, गरीब और प्रदेश के लोगों के लिये समर्पण भाव से कार्य कर रही है। उन्होंने कहा कि लोगों की समस्याओं का त्वरित निदान सुनिश्चित करने के लिए भी विभागीय अधिकारी तत्परता के साथ कार्य करें, ताकि लोगों को किसी भी तरह की असुविधा नहीं हो। इस अवसर पर एसडीएम संजीव शर्मा सहित विभिन्न विभागों के अधिकारी उपस्थित थे।
पौधों में क्वारंटाइन के महत्व और स्वच्छ रोपण सामग्री की अवधारणा पर जागरूकता बढ़ाने के लिए डॉ. यशवंत सिंह परमार औदयानिकी एवं वानिकी विश्वविद्यालय नौणी के स्नातक कार्यक्रम के प्रायोगिक शिक्षण प्रोग्राम के छात्रों के लिए पोस्ट एंट्री क्वारंटाइन पर एक दिवसीय जागरूकता शिविर का आयोजन बुधवार को आयोजित किया गया। शिविर का आयोजन एनएएचईपी आईडीपी के सहयोग से विश्वविद्यालय के पादप रोग विज्ञान विभाग द्वारा किया गया। विश्वविद्यालय के पुस्तकालयाध्यक्ष और आईडीपी के प्रधान अन्वेषक डॉ. केके रैना इस अवसर पर मुख्य अतिथि रहे। प्रतिभागियों का स्वागत करते हुए पादप रोग विज्ञान विभाग की प्रोफेसर और हैड डॉ. सुनीता चंदेल ने कहा कि पोस्ट एंट्री क्वारंटाइन का महत्व और अधिक बढ़ गया है क्योंकि हर साल बड़ी मात्रा में पौधों का आयात किया जा रहा है जिससे नए कीटों और वायरस के आने का खतरा हो सकता है। कार्यशाला के महत्व पर बोलते हुए डॉ. अनिल हांडा ने कहा कि पौधों के संगरोध में सबसे बड़ी चुनौती प्रवेश के बाद क्वारंटाइन है और इसलिए विश्वविद्यालय न केवल संबंधित विभागों के अधिकारियों बल्कि संकाय और विद्यार्थी के बीच भी इस विषय पर जागरूकता लाने का निरंतर प्रयास कर रहा है। छात्रों को संबोधित करते हुए डॉ. केके रैना ने विश्वविद्यालय के ईएलपी छात्रों के बीच प्लांट क्वारंटाइन और स्वच्छ रोपण सामग्री के बारे में जागरूकता बढ़ाने की पहल की सराहना की। उन्होंने कहा कि पोस्ट एंट्री क्वारंटाइन भविष्य में कृषि स्नातकों के लिए आकर्षक नौकरी और व्यवसाय के अवसर प्रदान कर सकता है। डॉ. रैना ने कहा कि पौधों से नई बीमारियां जैव सुरक्षा के लिए खतरा पैदा करती हैं और आर्थिक नुकसान को कम करने के लिए इसे प्रभावी ढंग से प्रबंधित करने के लिए सख्त उपायों की आवश्यकता है। उन्होंने छात्रों से नए विचारों और अवधारणाओं के प्रति अनुकूलनशील बनने का आह्वान किया ताकि उन्हें सफल उद्यमों में परिवर्तित किया जा सकता है। उन्होंने आयोजकों से नेरी और थुनाग में विश्वविद्यालय के घटक कॉलेजों के छात्रों के लिए इसी तरह की कार्यशालाएं आयोजित करने का भी अनुरोध किया।
-नगरोटा स्कूल के वार्षिक उत्सव में मेधावी छात्रों को किया पुरस्कृत पर्यटन निगम के अध्यक्ष कैबिनेट रैंक आरएस बाली ने कहा कि नगरोटा बगबां क्षेत्र को शिक्षा के हब के रूप में विकसित किया जाएगा इस के लिए कारगर कदम उठाए जा रहे हैं ताकि नगरोटा क्षेत्र के बच्चों को घर के नजदीक ही उच्च शिक्षा सुविधाएं मिल सकें। बुधवार को सीनियर सेकेंडरी स्कूल नगरोटा बगबां के वार्षिक पारितोषिक वितरण समारोह तथा एनएसएस के समापन शिविर में बतौर मुख्यातिथि पर्यटन निगम के अध्यक्ष आरएस बाली ने विद्यार्थियों को संबोधित करते हुए कहा कि राज्य सरकार ग्रामीण क्षेत्र के विद्यार्थियों के लिए प्रदेश के प्रत्येक विधानसभा क्षेत्र में चरणबद्ध तरीके से राजीव गांधी डे-बोर्डिंग स्कूल खोल रही है। नगरोटा बगबां में भी डे बोर्डिंग स्कूल के लिए भूमि चयनित कर ली गई है। उन्होंने कहा कि विकास पुरूष जीएस बाली ने नगरोटा विस क्षेत्र में इंजीनियरिंग कालेज, आईटीआई तथा महाविद्यालय जैसी संस्थाएं खुलवाकर नगरोटा के बच्चों के शिक्षा की बेहतर सुविधाएं उपलब्ध करवाने के सार्थक प्रयास किए हैं तथा उनके द्वारा आरंभ किए गए विकास कार्यों को आगे बढ़ाने के लिए तत्परता के साथ कार्य किया जाएगा। उन्होंने कहा कि जीवन में कामयाबी के लिए दृढ़संकल्प और मेहनत का कोई विकल्प नहीं है। उन्होंने कहा कि हमें अपना लक्ष्य हासिल करने के लिए निरंतर प्रयासरत रहना चाहिए। सबसे पहले जीवन में अच्छा इंसान बनना चाहिए और फिर समाज को वापिस देना भी सीखना चाहिए। असफलता से ही सफलता का रास्ता निकलता है और युवाओं को सकारात्मक सोच के साथ आगे बढ़ना चाहिए। इससे पहले पिं्रसिपल दीपक मनु ने मुख्यातिथि का स्वागत करते हुए वार्षिक गतिविधियों का ब्योरा भी दिया। इसके साथ ही पाठशाला में आयोजित सात दिवसीय एनएसएस शिविर के बारे में कार्यक्रम अधिकारी संगीता महाजन व महेश्वर सिंह ने एनएसएस शिविर के बारे में मुख्य अतिथि को विस्तृत जानकारी दी। इस अवसर पर बच्चों ने सांस्कृतिक कार्यक्रम प्रस्तुत किये। मुख्यातिथि ने बच्चों को पुरस्कार वितरित किए।
उप निदेशक प्रारंभिक शिक्षा कांगड़ा द्वारा जेबीटी के विभिन्न पदों को बैच वाइज भरने के लिए 20 नवंबर से काउंसलिंग की शुरूआत की जाएगी। उप निदेशक प्रारम्भिक शिक्षा मोहिंद्र कुमार धीमान ने बताया कि काउंसलिंग का आयोजन नर्सरी मिडल स्कूल धर्मशाला में किया जाएगा। उन्होंने बताया कि जिला कांगड़ा से संबंध रखने वाले पात्र अभ्यर्थी जिनका नाम संबंधित रोजगार कार्यालय में दर्ज हो, इस प्रक्रिया में भाग ले सकते हैं। वर्ग अनुसार तिथि निर्धारित उक्त काउंसलिंग 166 पदों के लिए वर्ग अनुसार होगी। उन्होंने बताया कि सामान्य वर्ग से संबंध रखने वाले अभ्यर्थियों के लिए 20 नवंबर, ओबीसी के लिए 21 नवंबर तथा अनुसूचित जाति/जनजाति के लिए 22 नवंबर की तिथि निर्धारित की गई है। उन्होंने बताया कि अभ्यर्थी अपने वर्ग अनुसार नर्सरी मिडल स्कूल धर्मशाला में काउंसलिंग में भाग ले सकते हैं। यह रहेगी पात्रता उन्होंने बताया कि साक्षात्कार में भाग लेने के लिए उम्मीदवार का नाम संबंधित रोजगार कार्यालय में दर्ज होना चाहिए। उन्होंने बताया कि इस चयन प्रक्रिया में आर एंड पी नियमों के तहत निर्धारित योग्यता पूर्ण करने वाले अभ्यर्थी भाग ले सकते हैं। इसके अतिरिक्त अभ्यर्थी जेबीटी, डीएड, डीएलएड, बीएड, डीएसई समकक्ष हो तथा टेट पास हो। वेबसाइट में उपलब्ध है पूर्ण जानकारी उन्होंने बताया कि आवेदन प्रपत्र, आवश्यक दस्तावेजों, शैक्षिणिक योग्यता व बायोडाटा फार्म की जानकारी जानकारी उप निदेशक प्रारम्भिक शिक्षा कांगड़ा स्थित धर्मशाला की वेबसाइट पर उपल्बध है। उन्होंने बताया कि प्रार्थी बायोडाटा फार्म इस कार्यालय की वेबसाइट से डाउनलोड कर सकते हैं तथा किसी भी प्रकार की अन्य जानकारी के लिए दूरभाष नंबर 01892-223155 पर किसी मी कार्य दिवस में संपर्क कर सकते हैं।
हिमाचल प्रदेश विवि में बीएड प्रथम सत्र के प्रशिक्षुओं के लिए इंडक्शन कार्यक्रम के तृतीय दिवस पर डॉ. किरन लता डंगवाल, सह आचार्य शिक्षा लखनऊ विश्वविद्यालय मुख्य वक्ता रहीं। किरन लता ने भविष्य के लिए शिक्षा को नया स्वरूप देना विषय पर ऑनलाइन व्याख्यान दिया। उन्होंने कहा कि 21वीं सदी की शिक्षा सबसे असाधारण चुनौतियों का सामना कर रही है। तकनीकी शिक्षकों को व्यक्तिगत छात्रों की जरूरतों को पूरा करने के लिए निर्देश तैयार करने के नए तरीके प्रदान करती है। डॉ. कनिका हांडा, सहायक आचार्य ने संयोजक की भूमिका का निर्वहन किया। द्वितीय तकनीकी सत्र के वक्ता डॉ. राकेश कुमार रहे। उन्होंने भारत में शिक्षा व्यवस्था के विकासात्मक चरणों की उदाहरण सहित व्याख्या की। विभाग के शोधार्थी ललित कुमार ने विभागीय गतिविधियों और विस्तार गतिविधियों पर विस्तृत चर्चा की। अंतिम तकनीकी सत्र की अध्यक्षता डॉ. चमन लाल बंगा ने की। उन्होंने डिजिटल शिक्षा नवोन्मेषी शिक्षाशास्त्र के लिए मार्गदर्शिका पर अपना व्याख्यान दिया एवं बीएड प्रशिक्षुओं से पृष्ठपोषण प्राप्त किया।
पाइनग्रोव स्कूल के वार्षिक समारोह-2023 के दूसरे दिन का आगाज सभागार 'द कलोजियम' में मुख्य अतिथि विधायक विनोद सुल्तानपुरी की गरिमामय उपस्थिति के साथ हुआ। सिम्फनी ऑर्केस्ट्रा की पहली प्रस्तुति 'पाइरेट्स ऑफ द कैरेबियन सी' और 'माई हार्ट विल गो ऑन' दर्शकों को गहरे समुद्र की संगीतमय यात्रा पर ले गई। इसके पश्चात अनेक दर्शकों के पसंदीदा गायक बॉब डायलन के ' नॉकिंग ऑन हैवन्स डोर' गीत पर सभी की जुबां गुनगुनाने लगी। बॉब डायलन के ' नॉकिंग ऑन हैवन्स डोर' गीत के पश्चात अपनी नाट्य कला से सभी को अचंभित करते हुए कक्षा एक से पांच के छात्रों द्वारा रस्किन बॉन्ड की सुप्रसिद्ध कृति 'द ब्लू अंबरेला' को न्यायसंगत अभिनय के साथ प्रस्तुत कर खूब तालियां बटोरीं और सिद्ध कर दिया कि अभिनय उम्र के बंधनों से परे है। इस प्रस्तुति के पश्चात अहंकार एवम सत्ता के लालच को दर्शाता नृत्य नाटक 'भस्मासुर' प्रस्तुत किया गया, जिसमें दर्शक, मुख्य अतिथि, अभिभावक एवम अन्य दर्शक एकटक देखते रह गए कि नृत्य के रूप में किस कुशलता से एक कहानी को बखूबी दर्शकों के दिलों में उतारा गया। कार्यक्रम की अगली कड़ी भावुक थी जिसमें हिमाचल प्रदेश में हाल ही में आई बाढ़ त्रासदी के दुखद क्षण स्मरण हो आए। पाइनग्रोव स्कूल के विद्यार्थियों, अभिभावकों, पूर्व छात्रों एवम कर्मचारियों द्वारा हिमाचल प्रदेश मुख्यमंत्री राहत कोष में बाढ़ त्रासदी की क्षतिपूर्ति हेतु ग्यारह लाख धनराशी का चैक पाइनग्रोव स्कूल के कार्यकारी निदेशक कैप्टन एजे सिंह के कर कमलों द्वारा मुख्य अतिथि को सुपुर्द किया। इसके पश्चात मुख्य अतिथि नें अपना सम्बोधन प्रस्तुत किया जिसमें उन्होंने पाइनग्रोव द्वारा विद्यार्थियों के सर्वांगीण विकास, समाज के प्रति उन्हें संवेदनशील बनाने एवम अद्भुत सुविधाओं के लिए खूब सराहा। विदित हो कि कोविडके समय भी पाइनग्रोव स्कूल द्वारा डीसी सोलन एवं मुख्यमंत्री राहत कोष में अलग-अलग बहुत बड़ी धनराशी का सहयोग दिया गया था। कार्यक्रम के पश्चात, भोजनोपरांत कक्षा 1-5 के विद्यार्थी आउट पास लेकर दिवाली अवकाश पर चले गए।
-विधायक ने 16 करोड़ से बनने वाले रिहायशी भवनों का किया शिलान्यास पर्यटन निगम के अध्यक्ष कैबिनेट रैंक आरएस बाली ने कहा कि डॉ. राजेंद्र प्रसाद मेडिकल कालेज टांडा को उत्कृष्ट मेडिकल कालेज के रूप में विकसित किया जाएगा, ताकि रोगियों को उपचार की बेहतर सुविधाएं मिल सकें इसके साथ टांडा मेडिकल कालेज के चिकित्सकों एवं पैरामेडिकल स्टाफ को ठहरने के लिए उचित व्यवस्था भी जा रही है। बुधवार को टांडा मेडिकल कालेज में हिमाचल प्रदेश पर्यटन विकास निगम के अध्यक्ष व पर्यटन विकास बोर्ड के उपाध्यक्ष (कैबिनेट रैंक) आरएस बाली कर्मचारियों के लिए अतिरिक्त रिहायशी भवन (टाइप- 5 और टाइप- 4) का शिलान्यास किया। टाइप 5 रिहायशी पर 12.5 करोड रुपए की राशि खर्च होगी और टाइप 4 पर 3.5 करोड रुपए की राशि व्यय की जाएगी। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू के नेतृत्व में व्यवस्था परिवर्तन की ओर अग्रसर हिमाचल सरकार स्वास्थ्य क्षेत्र में महत्वपूर्ण बदलाव ला रही है। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार धरातल पर स्वास्थ्य अधोसंरचना को मजबूत कर सभी के लिए बेहतर और सुविधाजनक स्वास्थ्य सेवाएं सुनिश्चित कर रही है। प्रदेश सरकार का लक्ष्य मुख्यमंत्री द्वारा अपने पहले बजट में की गई घोषणा के अनुरूप प्रत्येक विधानसभा क्षेत्र में चरणबद्ध तरीके से 'आदर्श स्वास्थ्य संस्थान' स्थापित करना है। आरएस बाली ने कहा स्वास्थ्य विभाग को चरणबद्ध तरीके से प्रदेश भर में ग्रामीण स्वास्थ्य संस्थानों का मजबूत ढांचा विकसित करने के लिए निर्देश दिए गए हैं। प्रदेश सरकार द्वारा विशेषज्ञ चिकित्सकों को तैनात करने और अत्याधुनिक उपकरणों को अपग्रेड करने की योजना बनाई गई है। उन्होंने कहा कि ग्रामीण स्वास्थ्य संस्थानों को मजबूत करने के साथ-साथ, राज्य भर के मुख्य अस्पतालों और चिकित्सा महाविद्यालयों में उन्नत तकनीक का समावेश किया जाएगा। चिकित्सा महाविद्यालयों में विशेषज्ञ डॉक्टरों की बढ़ोतरी से मरीजों को उपचार के लिए पहले की अपेक्षा कम प्रतीक्षा करनी होगी। इस अवसर पर टांडा मेडिकल कॉलेज के प्रधानाचार्य भानु अवश्थी, स्वास्थ्य सुपरिटेंडेंट मोहन सिंह ,अधिशासी अभियंता आईपीएच सुरेश वालिया, कांग्रेस उपाध्यक्ष प्रताप रियाड़, चिकित्सक और प्रशिक्षु डॉक्टर मौजूद रहे। 40 लाख से निर्मित पुल का किया लोकार्पण पर्यटन निगम के अध्यक्ष आरएस बाली बगबां नगरोटा इंडस्ट्रियल एरिया में चोर नाला पर 40 लाख रुपये की राशि से निर्मित पुल का उद्घाटन किया। इस अवसर पर आरएस बाली ने कहा कि राज्य सरकार ग्रामीण क्षेत्रों में लोगों की सुविधा के लिए सड़क संपर्क को मजबूत करने पर विशेष ध्यान केन्द्रित कर रही है। कहा कि दुर्गम भौगोलिक परिस्थितियों के दृष्टिगत प्रदेश में सड़कें लोगों की जीवन रेखा कही जाती हैं। उन्होंने लोक निर्माण विभाग को सड़क निर्माण में गुणवत्ता सुनिश्चित करने तथा इन सड़कों का निर्माण कार्य समयबद्ध पूरा करने के भी निर्देश दिए, ताकि लोगों को सड़क सुविधा का लाभ समय पर मिल सके। हिमाचल प्रदेश में पहली बार सड़कों का निर्माण फुल डेप्थ रेक्लेमेशन (एफडीआर) तकनीक पर किया जाएगा। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना के अंतर्गत बनने वाली सड़कों में इस तकनीक का उपयोग करने के निर्देश लोक निर्माण विभाग को दिए उन्होंने कहा कि राज्य सरकार प्रदेशवासियों को बेहतर सड़क सुविधा उपलब्ध करवाने के लिए प्रतिबद्धता के साथ कार्य कर रही है।
सहायक अभियंता विद्युत उपमंडल सांगला सुधीर नेगी ने जानकारी देते हुए बताया कि 22 केवी करच्छम-रूकती फीडर में मरम्मत कार्य के चलते सांधला-3, केतरा, बारचो, रूकती, आजाद कश्मीर, सांगला-कण्डा उपकेंद्रों में 9 नवंबर को प्रात: 10 बजे से सायं 5 बजे तक विद्युत आपूर्ति बाधित रहेगी। उन्होंने बताया कि यदि खराब मौसम के कारण कार्य पूर्ण नहीं होता है तो अगले दिन भी विद्युत आपूर्ति बाधित रहेगी। उन्होंने विद्युत आपूर्ति की असुविधा के चलते जनसाधारण से सहयोग की अपील की है।
-मुख्यमंत्री के राजनीतिक सलाहकार सुनील शर्मा रहे मुख्य अतिथि यूनिवर्सिटी इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी (यूआईटी) शिमला का वार्षिक सांस्कृतिक उत्सव 'उत्कर्ष-2023' का आज यहां शुभारंभ हुआ। उत्सव के मुख्य अतिथि मुख्यमंत्री के राजनीतिक सलाहकार सुनील शर्मा ने विद्यार्थियों को किया संबोधित किया, उन्होंने अपने जीवन के अनुभव और संघर्ष को साझा किया और छात्रों को प्रेरित करने के लिए गौतम बुद्ध और स्वामी विवेकानंद का उदाहरण दिया। उन्होंने आगे कहा कि यूआईटी को विभिन्न गतिविधियों के लिए एक अलग खेल का मैदान और स्थान मिलेगा क्योंकि खेल किसी के व्यक्तित्व के समग्र विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। उन्होंने हिमाचल प्रदेश के वर्तमान मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू का उदाहरण दिया उन्होंने कहा कि किसी की विनम्र पृष्ठभूमि जीवन में सफलता की राह में कभी बाधा नहीं बननी चाहिए। प्रो. राजिंदर वर्मा, प्रति-कुलपति ने तकनीकी कार्यक्रम के सफल संचालन के लिए बधाई दी और सांस्कृतिक उत्सव के लिए शुभकामनाएं दीं। उन्होंने कहा कि यह भी सुनिश्चित किया जाएगा कि विश्वविद्यालय बुनियादी ढांचे के विकास और अलग छात्रावास की आवश्यकता के लिए यूआईटी को सभी आवश्यक सहायता प्रदान करेगा। इससे पहले निदेशक यूआईटी प्रोफेसर एजे सिंह ने सभी गणमान्य व्यक्तियों का स्वागत एवं अभिनंदन किया। अपने संबोधन में सभी छात्रों को न केवल शैक्षणिक बल्कि सह-पाठ्यचर्या संबंधी गतिविधियों में भी उत्कृष्टता हासिल करने के लिए प्रेरित किया। उन्होंने राष्ट्र के निर्माण में इंजीनियरों की महत्वपूर्ण भूमिका और समाज के प्रति उनकी जिम्मेदारियों पर ध्यान केंद्रित किया।
-विभिन्न खेल गतिविधियों में विद्यार्थियों ने दिखाई प्रतिभा -प्राथमिक वर्ग की मनोरंजक खेलें रहीं पहले दिन का आकर्षण एसवीएन स्कूल कुनिहार में प्रधानाचार्य पद्मनाभम की अध्यक्षता में दो दिवसीय स्पोर्ट्स मीट का आयोजन किया गया। इसका शुभारंभ गर्ल्स स्कूल उच्चा गांव की प्रिंसिपल दीपिका शर्मा ने बतौर मुख्य अतिथि किया। मीट के पहले दिन का आकर्षण प्राथमिक वर्ग की मनोरंजक खेलें रहीं, जिनमें जलेबी रेस, बनाना रेस, हुला-हुप, कलेक्ट द बॉल, स्मार्ट स्प्रिंग प्रमुख थीं। इन सभी खेलों में विद्यार्थियों ने बड़े ही उत्साह के साथ भाग लिया। वहीं, स्कूल चेयरमैन टीसी गर्ग ने बताया कि हर विद्यार्थी के जीवन में जितना महत्व शिक्षा का होता है, उतना ही खेलों का भी है। खेलों से विद्यार्थियों का शारीरिक व मानसिक दोनों तरह का विकास होता है, इसलिए हर विद्यार्थी को खेलों में भाग लेना चाहिए। उन्होंने कहा कि एसवीएन स्कूल शिक्षा के साथ-साथ विद्यार्थियों की सेहत के लिए हमेशा अग्रसर रहता है और इस तरह के आयोजन करवाता रहता है।
दिवाली पर बीस फीसदी तक बढ़ाए डिपुओं में मिलने वाले राशन के दाम नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने कहा कि वर्तमान सरकार को आम लोगों से कोई सरोकार नहीं रह गया है। सरकार नारा 'सुख की सरकार' का देती है और काम सारे 'दुख की सरकार' के करती है। दीवाली के समय में सरकार ने प्रदेश के डिपुओं पर मिलने वाली खाद्य सामग्रियों के दाम में लगभग बीस फ़ीसदी तक की बढ़ोतरी कर दी है। ऐसे में आपदा की मार झेल रहे प्रदेशवासी क्या करेंगे। उन्होंने कहा कि त्यौहारों में सरकार लोगों को तोहफ़े देती है जिससे लोग अच्छे से त्यौहार मना सके। लेकिन कांग्रेस सरकार प्रदेश के लोगों पर महंगाई का बोझ डालने का कोई भी अवसर नहीं छोड़ती है। जयराम ठाकुर ने कहा कि यह कोई पहला अवसर नहीं है जब कांग्रेस सरकार ने प्रदेश के लोगों पर महंगाई का बोझ डाला है। इसकी शुरुआत सरकार बनते ही शुरू हो गई थी। लोगों से महंगाई कम करने का वादा करके सत्ता में आई कांग्रेस ने सत्ता सम्भालते ही डीज़ल का वैट बढ़ाकर अपने चुनावी वादे के उलटा चलना शुरू कर दिया था और आज भी उसी रास्ते पर चल रही है। जयराम ठाकुर ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में केंद्र सरकार ने 'प्रधानमंत्री अन्न कल्याण योजनाÓ के माध्यम से देश भर में अस्सी करोड़ से ज़्यादा लोगों को नि:शुल्क अन्न उपलब्ध करवा रही हैं। पिछले हफ़्ते प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने इस योजना को अगले पांच साल के लिए बढ़ा दिया है। दूसरी तरफ़ राज्य सरकार है आये दिन डिपुओं में मिलने वाले सामानों में कटौती कर रही है और जो मिल रहा है उनके दाम बढ़ा रही है। आपदा से जूझ रहे प्रदेश के लोगों के लिए सरकार द्वारा लिए गए ऐसे निर्णय किसी भी हाल में सही नहीं कहे जा सकते हैं। नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि सरकार ने कहा कि डिपुओं में मिलने वाली उड़द की दाल के दाम 59 रुपए से बढ़ाकर 63 रुपए कर दिए, एपीएल को दी जाने वाली मलका की दाल के दाम 63 से बढ़ाकर 73 रुपए कर दिए। इसी तरह रिफ़ाइंड तेल के दाम बढ़ाकर 104 रुपए से बढ़ाकर 114 रुपये कर दिए। दीवाली के समय में इस तरह से खाने पीने की चीजों के बेतहाशा दाम बढ़ाकर प्रदेश के लोगों को परेशान करना, सरकार के निरंकुश होने का प्रमाण है। नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि सरकार का काम लोगों को राहत देने का है, जिससे लोगों की समस्याएं कम हो, बढ़े नहीं। लेकिन वर्तमान सरकार के सभी काम लोगों की समस्याओं को बढ़ाने वाले होते हैं। व्यवस्था परिवर्तन के नाम पर प्रदेश के लोगों को परेशान करने का काम वर्तमान सरकार कर रही है। लगभग एक साल के कार्यकाल में ही यह सरकार पूरी तरह से फेल हो गई है। लोग आज सड़कों पर हैं। सरकार ने प्रदेश के लोगों से किए गए किसी भी वादे को पूरा नहीं किया है। प्रदेश में पहली बार ऐसी सरकार है जो सिफ़र् झूठ बोल कर सरकार में आई और झूठ बोलकर ही उसे चलाना चाह रही है। जयराम ठाकुर ने कहा कि यह नहीं हो पाएगा अब प्रदेश के लोगों ने कांग्रेस को सबक़ सिखाने का मन बना लिया है।
-किन्नौर के श्यासो में बना 76 हजार लीटर की क्षमता वाला वाटर स्टोरेज टैंक -स्थानीय जनता ने श्रमदान से भी दिया निर्माण कार्य में सहयोग प्रदेश के शीत मरूस्थल क्षेत्रों में हरियाली लाने के लिए जाइका परियोजना की पहल का परिणाम सामने आने लगा है। ऐसे में जाहिर है कि जाइका प्रोजेक्ट से शीत मरूस्थल में हरियाली आने लगी है। जापान अंतर्राष्ट्रीय सहयोग एजेंसी यानी जाइका वानिकी परियोजना के तहत जिला किन्नौर के श्यासो गांव में 76 हजार लीटर की क्षमता वाला सिंचाई जल भंडारण टैंक तैयार किया गया। इस कठिन एवं शीत भौगोलिक परिस्थिति के दायरे में आने वाले इस गांव की जनता के जज्बे को भी सलाम करना होगा। यह इसलिए कि वहां की जनता ने श्रमदान के माध्यम से एक लाख के अतिरिक्त बजट को कवर किया। प्राप्त जानकारी के मुताबिक जाइका प्राजेक्ट के तहत 76 हजार लीटर वाटर स्टोरेज टैंक निर्माण कार्य पूरा करने के लिए 6 लाख रुपये का खर्चा आया। जाइका की ओर से 5 लाख का बजट दिया गया और एक लाख का काम वहां के स्थानीय लोगों ने श्रमदान के माध्यम से किया। ऐसे में अब इस क्षेत्र में जल भंडारण टैंक के होने से पौधरोपन के बाद उन्हें सींचने में पानी की कमी नहीं सताएगी। इसके साथ-साथ इस वाटर स्टोरेज टैंक का लाभ वहां के लोगों की भूमि सुधार में भी मिलेगा। यही नहीं, बल्कि यहां कृषि योग्य भूिम पर कृषि भी हो पाएगी। जाइका प्रोजेक्ट के माध्यम से जल भंडारण टैंक बना तो लोगों ने खेतों तक सिंचाई जल की सप्लाई के लिए कुहलों का निर्माण भी कर दिखाया। इस परियोजना के तहत वहां की महिलाओं की आर्थिकी के सुधार के लिए स्वयं सहयाता समूह का गठन कर प्रशिक्षण का आयोजन एवं मशीनरी खरीदने में आर्थिक सहायता प्रदान कर रहा है। बता दें कि इस गाव में इससे पहले सिंचाई के लिए इस तरह की सुविधा उपलब्ध नहीं थी। जाइका परियोजना ने यहां टैंक निर्माण कर किसान एवं बागवानों को बेहतर सुविधा दी। हाल ही में हमारी टीम ने जिला किन्नौर के श्यासो गांव में निर्मित 76 हजार लीटर की क्षमता के जल भंडारण टैंक का निरीक्षण किया। जाइका परियोजना के तहत क्षेत्र में हो रहे विकास कार्यों से यहां के लोगों में काफी उत्साह है, जाइका परियोजना से लोगों को लाभ मिल रहा है। दूरदराज गांव श्यासो में वाटर स्टोरेज टैंक होने से यहां के किसान एवं बागवानों को सिंचाई की बेहतर सुविधा मिलेगी। बागवानों को मिली सिंचाई की बेहतर सुविधा जाइका वानिकी परियोजना के तहत जिला किन्नौर के श्यासो गांव में निर्मित जल भंडारण टैंक से अब वहां के किसान एवं बागवानों को सिंचाई की बेहतर सुविधा भी मिल रही है। गौरतलब है कि किन्नौर का श्यासो गांव काफी दुर्गम है और यहां बारिश न होने के कारण किसान एवं बागवानों को सिंचाई में काफी दिक्कतें आती हैं। हालांकि यहां कृषि एवं बागवानी लोगों की आर्थिकी का मुख्य साधन है, लेकिन सिंचाई के पानी की कमी के चलते लोगों को काफी परेशानियां होती थी। मगर जब से जाइका प्रोजेक्ट से यहां 76 हजार लीटर की क्षमता का टैंक तैयार किया उसके बाद यहां के किसान एवं बागवानों की तकदीर बदलने लगी है।
छात्रों को भरतनाट्यम की कला सिखाने और समझाने के लिए केंद्रीय विद्यालय नलेटी में कलाकार प्रियंबदा तिवारी द्वारा एक भरतनाट्यम नृत्य पर कार्यशाला आयोजित की गई। विद्यालय प्रभारी प्राचार्य शशिकला कटोच और शिक्षकों की मदद से कार्यशाला बहुत सफल रही। यह कार्यशाला रूट्स 2 रूट्स की एक पहल थी, जिसका उद्देश्य दूरदराज के शहरों में स्थित छात्रों में कला और संस्कृति को विकसित करने में मदद करना है, जिससे उनके क्षेत्र में भरतनाट्यम नृत्य की कला को बढ़ावा देने में मदद मिले और युवा वयस्कों को आत्मविश्वास और आत्म-सम्मान बनाने का अवसर मिलेगा। रूट्स 2 रूट्स एक गैर-लाभकारी संगठन है, जो सांस्कृतिक आदान-प्रदान के माध्यम से शांति और समझ को बढ़ावा देता है। 2004 में स्थापित, संगठन ने संगीत, नृत्य, कला और सांस्कृतिक अभिव्यक्ति के अन्य रूपों के माध्यम से लोगों को एक साथ लाने के लिए 100 से अधिक देशों के साथ काम किया है। संस्कृति दुनिया में अच्छाई के लिए एक शक्तिशाली शक्ति है। जब विभिन्न संस्कृतियों के लोग अपनी कहानियों और अनुभवों को साझा करने के लिए एक साथ आते हैं, तो यह बाधाओं को तोड़ सकता है और समझ के पुल का निर्माण कर सकता है। अधिक शांतिपूर्ण और न्यायपूर्ण विश्व बनाने के लिए यह समझ आवश्यक है। संगठन के काम में शामिल हैं सांस्कृतिक आदान-प्रदान कार्यक्रमों की मेजबानी करना, विभिन्न संस्कृतियों के बारे में शैक्षिक संसाधन तैयार करना, सांस्कृतिक समझ को बढ़ावा देने के लिए स्कूलों और सामुदायिक संगठनों के साथ काम करना, सांस्कृतिक आदान-प्रदान का समर्थन करने वाली नीतियों की वकालत करना। केंद्रीय विद्यालय नलेटी की प्रभारी प्राचार्य शशिकला कटोच और सम्मानित शिक्षकों की मदद से कार्यशाला बहुत सफल रही।
-शरारती तत्वों ने पुल के साथ लगे चेतावनी बोर्ड को भी उखाड़ फेंका जयसिंहपुर लोक निर्माण विभाग की ओर से सीताराम खड्ड के ऊपर लगी शिलान्यास पट्टिका को कुछ शरारती तत्वों द्वारा पत्थर से तोड़ने की कोशिश की। साथ में बने कॉलेज पुल पर वाहनों की आवाजाही रोकने को चेतावनी बोर्ड लागया गया था। इस चेतावनी बोर्ड को शरारती तत्वों ने उखाड़ कर नीचे फेंक दिया है। गौर करने वाली बात यह है कि लोक निर्माण विभाग द्वारा यह चेतावनी बोर्ड इसलिए लगाया था, ताकि इस पुल से वाहनों को आवाजाही न हो और पुल भी सुरक्षित रहे। इस पुल का निर्माण बरसात के दिनों में कॉलेज में पढ़ने वाले छात्र-छात्राओं व आसपास के गांवों में रहने वाले लोगों के लिए पैदल पुल का निर्माण की गया है, ताकि लोगों और छात्रों को बरसात में घूम कर न जाना पड़े। निर्माण विभाग के एसडीओ अंकित समकरीया से बात की गई तो उन्होंने कहा कि सीताराम खड्ड के ऊपर बने कॉलेज पुल पर लगी शिलान्यास पट्टिका को देखकर व लोक निर्माण विभाग के उखड़े हुए चेतावनी बोर्ड को दोबारा से लगा दिया जाएगा। इसको लेकर पुलिस विभाग के पास एक शिकायत पत्र दिया जाएगा।
हिमाचल को पर्यटन राज्य बनाने के लिए साहसिक गतिविधियों पर दिया जा रहा ध्यान आधुनिक जरूरतों के अनुरूप पर्यटन गतिविधियों के विकास को दिया जा रहा बढ़ावा 'पर्यटक ग्राम' जहां हिमाचली संस्कृति से रू-ब-रू होंगे सैलानी हिमाचल प्रदेश की वर्तमान सरकार हिमाचल को पर्यटन राज्य के रूप में विकसित करने को सर्वोच्च प्राथमिकता प्रदान कर रही है, ताकि युवाओं के लिए रोजगार तथा स्थानीय लोगों की आय में बढ़ोतरी सुनिश्चित की जा सके। इसके दृष्टिगत ट्रैकिंग, कंैपिंग, पैराग्लाइडिंग तथा रिवर राफ्टिंग जैसी साहसिक गतिविधियों को विशेष तौर पर बढ़ावा दिया जा रहा है। प्रदेश सरकार के प्रयास अब हकीकत में भी नज़र आने लगे हैं। हाल ही में हमीरपुर जिला के नादौन में ब्यास नदी में तीन दिवसीय एशियन राफ्टिंग चैंपियनशिप का सफल आयोजन किया गया। इसमें नेपाल, भूटान और कजाकिस्तान जैसे देशों से प्रतिभागियों ने भाग लिया। कुल्लू-मनाली के उपरान्त नादौन ब्यास नदी पर राफ्टिंग का नया केंद्र बनकर उभरा है। नादौन क्षेत्र में पर्यटन विकास के दृष्टिगत एशियन विकास बैंक की मदद से 2500 करोड़ रुपये की परियोजना भी प्रस्तावित है। इससे पूर्व बिलासपुर जिला में स्थित गोविन्द सागर झील में भी जल क्रीड़ा से संबंधित गतिविधियां आयोजित की गईं। मण्डी जिला के ततापानी में कोल बांध झील में भी जल क्रीड़ा पर आधारित साहसिक गतिविधियों को बढ़ावा दिया जा रहा है। कांगड़ा जिला के पौंग डैम में वाटर स्पोर्ट्स, शिकारा, क्रूज़ तथा यॉट इत्यादि की भी व्यवस्था की जा रही है। प्रदेश सरकार पारम्परिक पर्यटन के साथ-साथ आधुनिक जरूरतों के अनुरूप पर्यटन गतिविधियों के विकास को बढ़ावा दे रही है। पर्यटन राजधानी कांगड़ा में अंतरराष्ट्रीय स्तर के गोल्फ कोर्स का निर्माण प्रस्तावित है। बनखण्डी में 300 करोड़ रुपये की लागत से चिड़िया घर का निर्माण किया जा रहा है। सरकार ने अपने प्रथम बजट में ही 60 करोड़ रुपये का प्रावधान इसके पहले चरण के निर्माण के लिए किया है। स्थानीय कला एवं संस्कृति को प्रोत्साहित करने के लिए 'पर्यटक ग्रामÓ की स्थापना भी की जा रही है। इसमें स्थानीय कला, संस्कृति, हस्तकला, संगीत इत्यादि को प्रसारित करते हुए स्थानीय युवाओं को रोजगार के अवसर प्रदान किए जाएंगे। पर्यटन क्षेत्र को नए आयाम देते हुए वरिष्ठ नागरिकों के लिए 'ओल्ड एज होमÓ विकसित किए जाएंगे। इसके अतिरिक्त एशियन विकास बैंक की सहायता से 1311 करोड़ रुपये की एक व्यापक पर्यटन विकास योजना की घोषणा सरकार ने इस वर्ष के बजट में की है। इसके अंतर्गत कांगड़ा जिला में 390 करोड़ रुपये, हमीरपुर जिला में 257 करोड़ रुपये, कुल्लू जिला में 229 करोड़ रुपये, शिमला जिला में 123 करोड़ रुपये तथा मण्डी जिला में 138 करोड़ रुपये व अन्य स्थानों पर 174 करोड़ रुपये पर्यटन विकास पर व्यय किए जाएंगे। इसके तहत पर्यटन स्थलों पर आधुनिक सुविधाएं, इलैक्ट्रिक बसें, जल क्रीड़ा, थीम पार्क, सड़क किनारे प्रसाधन सहित अन्य सुविधाएं, उच्च स्तरीय फूड कोर्ट, विरासत स्थलों के सौन्दर्यकरण और ईको टूरिज्म के लिए विस्तृत कार्य योजना तैयार की गई है। ग्रीष्म एवं शीतकालीन खेलों का सुचारू आयोजन सुनिश्चित करने के दृष्टिगत शिमला आईस स्केटिंग रिंक का उन्नयन करने के साथ ही मनाली में आईस स्केटिंग तथा रोलर स्केटिंग का निर्माण किया जाएगा। मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू का मानना है कि स्थानीय युवाओं को पर्यटन के साथ जोड़कर रोजगार के स्थायी अवसर सृजित किए जा सकते हैं। इससे पर्यटन विकास सुनिश्चित होगा और प्रदेश के राजस्व में भी बढ़ौत्तरी हो सकेगी। पर्यटन तथा आतिथ्य क्षेत्रों में क्षमता निर्माण से संबंधित प्रशिक्षण प्रदान कर युवाओं को पर्यटन क्षेत्र की वर्तमान आवश्यकताओं के अनुरूप दक्ष बनाने पर भी विशेष ध्यान केन्द्रित किया जा रहा है।
राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला डाडासीबा में चल रहे एनएसएस के विशेष साप्ताहिक शिविर के पांचवें दिन चंडीगढ़ से आए डॉक्टर ओपी सिंह ने बच्चों को करियर गाइडेंस एंड काउंसलिंग के बारे में एक लेक्चर दिया, जिसमें उन्होंने स्वयंसेवियों को प्लस टू करने के बाद कौन-कौन से कोर्स किए जा सकते हैं की जानकारी दी। इस मौके पर प्रधानाचार्य ब्रह्मानंद एनएसएस कार्यक्रम अधिकारी सुरेश नरयाल, सरोज शर्मा विशेष रूप से मौजूद रहे। कार्यक्रम अधिकारी ने बताया कि कैंप के दौरान बच्चे भिन्न गतिविधियों में हिस्सा ले रहे हैं।
राजकीय महाविद्यालय खुंडिया में रोवर एंड रेंजर इकाई द्वारा भारत स्काउट एंड गाइड्स स्थापना दिवस मनाया गया, जिसके अंतर्गत रोवर एंड रेंजर इकाई के संयोजक वीरेंद्र सिंह ने भारत स्काउट एंड गाइड्स के इतिहास के बारे में बताया। इस दौरान विभिन्न गतिविधियां आयोजित की गईं, जिसमें रेड रिबन क्लब के प्रतिभागियों द्वारा एड्स व टीबी विषय के ऊपर महत्वपूर्ण जानकारी दी गई। इसके बाद रोड एंड सेफ्टी क्लब के संयोजक सुरेंद्र कुमार के द्वारा सभी विद्यार्थियों को यातायात के नियमों के बारे में महत्वपूर्ण जानकारी दी गई तथा यातायात के नियमों का पालन करने के लिए शपथ दिलाई गई । समारोह के अंत में महाविद्यालय के प्राचार्य डॉ. अनिल कुमार जरियाल जी ने रोवर एंड रेंजर इकाई के सभी प्रतिभागियों व संयोजकों को बधाई दी।
दिवाली से पहले पटाखे बेचने के लिए धर्मशाला में स्थान निर्धारित कर दिए गए हैं इस बाबत एसडीएम धर्मेश रामोत्रा ने आदेश जारी करते हुए कहा कि कचहरी अड्डा, डिपो बाजार, सिविल बाजार तथा इसके आसपास के क्षेत्रों के लिए मिनी सचिवालय के मुख्य द्वार पर ग्राउंड फ्लोर पार्किंग में पटाखे बेचने के लिए स्थान निर्धारित किया गया है इसके साथ ही मुख्य बाजार कोतवाली, कैंट रोड, ब्रिज लाल रोड, गुरुद्वारा रोड, खनियारा रोड, ओल्ड चड़ी रोड, खड़ा डंडा रोड तथा इसके आसपास के क्षेत्रों के लिए कोतवाली के रामलीला ग्राउंड फव्वारा चैक में स्थान निर्धारित किया गया है। मैकलोडगंज तथा इसके आसपास के क्षेत्रों के लिए भागसूनाग रोड पर सब्जी मंडी ओपन प्लेस निर्धारित किया गया है। दाड़ी तथा इसके आसपास के क्षेत्रों के लिए दाड़ी मेला ग्राउंड का स्थान पटाखों को बेचने के लिए निर्धारित किया गया है। एसडीएम ने कहा कि निर्धारित स्थानों के अलावा कहीं भी पटाखे बेचने की इजाजत नहीं दी जाएगी तथा नियमों की अवहेलना करने वालों के खिलाफ नियमानुसार कार्रवाई की जाएगी। एसडीएम ने कहा कि पटाखे बेचने की अनुमति लेने के लिए 9 नवंबर से पहले आवेदन करना जरूरी होगा तथा इसके बाद किसी भी तरह के आवदेन स्वीकृत नहीं किए जाएंगे।
विधानसभा जयसिंहपुर बालकरूपी के अंतर्गत आने वाले गांव के लोगों ने बैंक और प्रशासन से एटीएम लगाने की मांग की है। एटीएम की मांग पहले भी रखी गई थी। बालक रूपी में पंजाब नेशनल बैंक की शाखा है। एटीएम को लेकर बैंक प्रबंधक से बात हुई थी, लेकिन हेड ऑफिस धर्मशाला से कोई कार्रवाई नहीं हो पाई। लोगों का कहना है कि बालक रूपी में एक बहुत प्रसिद्ध मंदिर है, जहां हर साल लाखों लोगों दर्शन करने आते हैं और मंदिर परिसर में हर साल मेले होते हैं तो श्रद्धालुओं को बड़ी मुश्किल का सामना करना पड़ता है। मंदिर से थोड़ी दूर आईटीआई, गवर्नमेंट स्कूल, आयुर्वेदिक हॉस्पिटल, आईपीएच ऑफिस के साथ पीडब्ल्यूडी का ऑफिस हैं, यहां लोगों का आना-जाना लगा रहता है। यहां की जानता ने बैंक प्रबंधक और विधायक गोमा से अपील की है कि जल्दी ही बालकरूपी में एटीएम लगाया जाए, ताकि लोगों को एटीएम की सुविधा मिल सके।
-प्रदेश में दुर्गम स्थानों पर मोबाइल वैन योजना कब शुरू कर रही है सरकार -कांग्रेस ने चुनावी घोषणा पत्र में हर वर्ग को ठगने का काम किया नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने कहा कि कांग्रेस का चुनावी घोषणा पत्र कांग्रेस की चुनावी गारंटियों की तरह खोखले निकले। बड़े ज़ोर-शोर से अपने केंद्रीय नेताओं के साथ हिमाचल कांग्रेस के नेताओं ने चुनावी गारंटी के साथ चुनावी घोषणा पत्र भी जारी किया था। जिसमें एक दावा था प्रदेश में सार्वजनिक वितरण प्रणाली को और मजबू करने की। इसके तहत कांग्रेस के नेताओं ने दावा किया था कि दुर्गम स्थानों पर लोगों की राशन देने के लिए मोबाइल वैन की सुविधा शुरू करेगी। सरकारी राशन के डिपो की संख्या बढ़ाने के साथ-साथ ही राशन डिपो धारकों के मानदेय बढ़ाकर को 20 हज़ार रुपये कर देगी। सरकार ने डिपो में सुविधाएं बढ़ाने के बजाय डिपो में मिल रही सुविधाएं भी कम कर दी हैं। सस्ते दामों मिलने वाले दाल-तेल सहित अन्य सामानों के दाम बढ़ा दिये हैं। उन्होंने कहा कि सरकार अपने इस चुनावी वादे की स्थिति स्पष्ट करे और बताए कि दुर्गम स्थानों पर राशन पहुंचाने के लिए कितनी मोबाइल वैन सेवाएं शुरू की हैं। जयराम ठाकुर ने कहा कि अपना घोषणापत्र जारी करते समेत कांग्रेस के वरिष्ट नेताओं ने कहा था कि चुनावी घोषणापत्र उनके लिए पवित्र दस्तावेज है। जिसे वह हर हाल में पूरा करेंगे। सरकार का एक साल का कार्यकाल पूरा होने वाला है और सरकार बनने के बाद कांग्रेसी नेताओं ने उस पवित्र दस्तावेज को एक बार छुवा तक नहीं हैं। उन्होंने कहा कि कांग्रेस ने दस गारंटियां देकर सिफ़र् युवाओं, मातृशक्ति और बुजुर्गों को ही नहीं बल्कि समाज के हर वर्ग को किसी न किसी प्रकार के झूठे वादों के ज़रिए ठगने का प्रयास किया है। नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि कांग्रेस के नेताओं को चाहिए कि वह अपनी पार्टी के चुनावी घोषणा पत्र को एक बार उठाकर देख लें और प्रदेश के लोगों से किए गए वादों को जल्दी से जल्दी पूरा करे। नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि कांग्रेस ने डिपो के संचालकों के मानदेय को बढ़ाकर 20 हज़ार रुपये प्रति महीना करने का वचन दिया था। इसके साथ ही साथ सहकारी समितियों के विक्रेता और कर्मचारियों को भी निजी डिपोधारकों की तरह वित्तीय लाभ देने की व्यवस्था करने की घोषणा की थी। सरकार बने एक साल होने वाले हैं लेकिन अभी तक न तो सरकार में बैठे लोगों ने इस बारे में कोई बात की है और न ही कांग्रेस पार्टी में ज़िम्मेदार पदों पर बैठे लोगों ने सरकार को अपने इस वादे के बारे में ही याद दिलाया है। जयराम ठाकुर ने कहा कि झूठ बोलकर एक बार चुनाव तो जीते जा सकते हैं लेकिन लोगों के दिल नहीं। हिमाचल प्रदेश के लोग आने वाले समय में कांग्रेस के इस झूठ का करारा जवाब देंगे।
राष्ट्रीय जैविक एवं प्राकृतिक खेती केंद्र, गाजियाबाद द्वारा वित्त पोषित कार्यक्रम के अंतर्गत सोलन के कृषि विज्ञान केंद्र ने जिला के कृषि अधिकारियों के लिए दो दिवसीय प्रशिक्षण शिविर का आयोजन किया, जिसमें 20 प्रतिभागियों ने भाग लिया। कार्यक्रम का समन्वयक डॉ. सीमा ठाकुर ने बताया कि राष्ट्रीय जैविक एवं प्राकृतिक खेती केंद्र गाजियाबाद से डॉ. रूचि सोनी तथा रवि ने इस कार्यक्रम में अधिकारियों को जैविक एवं प्राकृतिक खेती तथा केंद्र द्वारा चलाई जा रही परियोजनाओं के बारे में अवगत करवाया। कृषि विज्ञान केंद्र के प्रभारी डॉ. जितेंद्र चौहान ने अधिकारियों से आह्वान किया कि किसानों को जैविक एवं प्राकृतिक खेती की ओर प्रोत्साहित करें। केंद्र के वैज्ञानिक डॉ सीमा ठाकुर, डॉ राजेश ठाकुर, डॉ. अनुराग शर्मा तथा डॉ मीरा ने अधिकारियों को प्राकृतिक खेती में उपयुक्त आदानों को बनाने की प्रक्रिया का विस्तृत रूप से प्रदर्शन किया। डॉ. यशवंत सिंह परमार औद्यानिकी एवं वानिकी विश्वविद्यालय, नौणी से सब्जी विज्ञान विभाग में प्रधान वैज्ञानिक डॉ. कुलदीप ठाकुर ने अधिकारियों को प्राकृतिक खेती तथा जैविक खेती पर प्रशिक्षण देते हुए कहा कि जैविक खेती को अपनाने की प्रेरणा देने के साथ-साथ अधिकारियों को जैविक प्रमाणीकरण की प्रक्रिया में भी किसानों को ज्ञान देने की आवश्यकता है। उन्होंने प्राकृतिक खेती पर जोर देते हुए अधिकारियों से किसानों को प्रोत्साहित करने पर बल दिया।
-राज भवन में हुआ राज्य स्तरीय राज्य पुरस्कार समारोह राज्यपाल शिव प्रताप शुक्ल ने आज राज भवन में भारत स्काउट्स एंड गाइड्स के स्थापना दिवस और राज्य स्तरीय राज्य पुरस्कार समारोह की अध्यक्षता की। इस अवसर पर लेडी गवर्नर जानकी शुक्ल भी उनके साथ उपस्थित थीं। इस अवसर पर राज्यपाल ने वर्ष 2023 के लिए उत्कृष्ट कार्यों के लिए 42 स्काउट्स एंड गाइड्स एंड रेंजर्स को सम्मानित किया। उन्होंने प्रदेश के 222 से अधिक मेधावी स्काउट्स एंड गाइड्स तथा रोवर, रेंजर्स को प्रशस्ति-पत्र प्रदान किए। उन्होंने भारत स्काउट्स एंड गाइड्स हिमाचल प्रदेश के संरक्षक के नाते सभी स्वयंसेवकों को बधाई भी दी। उन्होंने कहा कि स्काउटिंग नई अवधारणा नहीं है अपितु यह पिछले 100 से अधिक वर्षों से समाज एवं समुदाय के उत्थान और बेहतर व्यक्तित्व निर्माण के लिए प्रतिबद्ध विचारधारा है। स्काउटिंग से जुडकर विश्व के करोड़ों युवा संबंधित सेवा क्षेत्रों में उत्कृष्ट एवं सराहनीय कार्य कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि इस संस्था एवं विचारधारा की सदस्यता गर्व का विषय है और वैश्विक पटल पर 200 से अधिक राष्ट्रों द्वारा अपने दैनिक तथा व्यावहारिक जीवन में इसे अपनाया गया है। यह एक ऐसी संस्था है विश्व भर में जिसके 5 करोड़ स्वयंसेवी सामाजिक सरोकारों एवं नि:स्वार्थ सेवा कार्यों का निर्वहन कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि भारत स्काउट्स एंड गाइड्स वर्तमान युग में युवाओं के लिए मील पत्थर साबित हो रहा है। इसके माध्यम से लाखों युवाओं ने अपना शारीरिक, मानसिक, बौद्धिक, आध्यात्मिक और आर्थिक विकास किया है। यह संस्था भेदभाव से परे सभी स्वयंसेवकों के लिए समान अवसरों का सृजन करती है। राज्यपाल ने कहा कि प्रदेश में नशा निवारण और नशे के समूल नाश के लिए युवाओं को एकजुट होकर कार्य करने की आवश्यकता है। उन्होंने कहा कि भारत स्काउट्स एण्ड गाइड्स हिमाचल प्रदेश द्वारा नशे की कुरीति को समाप्त करने के लिए अभिनव अभियान निश्चय आरंभ किया गया है। इस अभियान का उद्देश्य प्रदेश के सभी भागों में लोगों को इस कुरीति के दुष्प्रभावों के प्रति जागरूक करना है, ताकि इस कुरीति को समूल नाश किया जा सके। उन्होंने आशा व्यक्त की कि इस अभियान से बड़ी संख्या में लोग जुड़ कर नशे जैसी बुराई पर जीत हासिल करने के लिए अपनी भागीदारी सुनिश्चित करेंगे। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार के सहयोग से एक और अभियान की शुरुआत की जा रही है और नशे के विरुद्ध लड़ाई में गांव तथा पंचायत स्तर पर युवाओं के साथ-साथ जन प्रतिनिधियों और स्थानीय लोगों की की भागीदारी सुनिश्चित की जाएगी। उन्होंने नशे के विरुद्ध प्रदेश पुलिस के प्रयासों, विभिन्न जागरूकता अभियानों की सराहना की। उन्होंने कहा कि समाज से नशे के समूल नाश के लिए सभी वर्गों के लोगों को एकजुट होने की आवश्यकता है। निदेशक, उच्च शिक्षा अमरजीत शर्मा ने भारत स्काउट्स एंड गाईड्स की विभिन्न गतिविधियों के बारे में विस्तृत जानकारी दी। राज्यपाल के सचिव राजेश शर्मा, भारत स्काउट्स एंड गाईड्स के एडल्ट रिसोर्सिज की राज्य आयुक्त अंजू शर्मा, उप निदेशक उच्च शिक्षा लेख राज शर्मा और अन्य गणमान्य इस अवसर पर उपस्थित थे।
राष्ट्रीय विधिक सेवा दिवस सोलन मुख्यालय व सोलन जिला के सभी उपमंडलों में मनाया जाएगा। यह जानकारी जिला विधिक सेवा प्राधिकरण सोलन आकांक्षा डोगरा ने दी। उन्होंने कहा कि इस दिवस के आयोजन का मुख्य उद्देश्य उचित निष्पक्ष और न्याय प्रक्रिया के बारे सभी नागरिकों को जागरूक करना है। आकांक्षा डोगरा ने कहा कि राष्ट्रीय विधिक सेवा दिवस की शुरूआत वर्ष 1995 में सर्वोच्च न्यायलय द्वारा समाज के गरीब और कमज़ोर वर्गों को सहायता और समर्थन प्रदान करने के लिए की गई थी। उन्होंने कहा कि इस दिवस का मुख्य उद्देश्य लोगों को कानून के बारे में जागरूक करना है। सभी लोगों तक न्याय पहुंचाने के लिए आरम्भ की गई विभिन्न योजनाओं के बारे में जागरूकता फैलाना है।
-बोले, कैसे चलेगा परिवार का खर्चा, बताए सरकार सरकार के क्रशर बंद करने के निर्णय से जहां विभिन्न निर्माण व अन्य विकास कार्यों पर विराम लगा है, दिहाड़ीदार व अन्य कामगार वर्ग पर भी विपरीत प्रभाव पड़ा है। पिछले लगभग ढाई माह से अधिक समय से क्रशर उद्योग बंद होने से उक्त वर्ग को खाने के लाले पड़ रहे हैं। इस बारे क्षेत्र के विभिन्न क्रशर उद्योगों के कामगारों ने सरकार के इस निर्णय को मजदूर वर्ग विरोधी बताया है। यहां दो दर्जन से अधिक की संख्या में एकत्रित हुए क्रशर व अन्य कार्यों से जुड़े लोगों ने कहा कि पिछले दिनों करवा चौथ के व्रत पर आर्थिक तंगी के कारण वे आवश्यक खरीददारी नहीं कर पाए और यदि सरकार ने क्रशर उद्योग का संचालन शुरू नहीं किया तो अब दिवाली के त्योहार भी फीका रहने के आसार हैं। क्रशर उद्योगों पर चाय का काम करने वाले, वाहनों की मरम्मत करने वाले, लांगरी का काम करने वाले अमरीक सिंह, चैन सिंह, वैल्डर सुरेंद्र पाल, सुरेश बिल्ला व जीवन कुमार आदि ने बताया कि वे उक्त काम कर अपने परिवार का भरण पोषण करते हैं, लेकिन सरकार द्वारा क्रशर बंद किए जाने के कारण महंगाई के इस दौर में आर्थिक तंगी से गुजरना पड़ रहा है, जिसके चलते कामगारों में सरकार के प्रति रोष बढ़ता दिखाई पड़ रहा है। श्रमिक वर्ग ने सरकार से दीवाली से पहले क्रशर उद्योग चलाने की मांग करते हुए कहा कि यदि सरकार ऐसा नहीं करती है तो सरकार हर माह जब तक क्रशर उद्योग संचालित नहीं किए जाते तब तर न्यूनतम वेतन अथवा भत्ता राशि जारी करने का प्रावधान किया जाए। उन्होंने कहा कि बाढ़ में कामगारों का कोई कसूर नहीं है, लेकिन सरकार के इस निर्णय से उनके परिवारों को सजा मिल रही है।
हिमाचल प्रदेश विवि में बीएड प्रथम सत्र के प्रशिक्षुओं के लिए आज इंडक्शन कार्यक्रम का दूसरा दिन था। कार्यक्रम की मुख्य वक्ता डॉ. मनप्रीत कौर प्राचार्य प्रताप कॉलेज ऑफ एजुकेशन लुधियाना रहीं। उन्होंने कहा कि एक योग्य और अच्छे शिक्षक को विषय वस्तु से अच्छी तरह परिचित होना चाहिए और इसे सर्वोत्तम शिक्षण माध्यम से प्रदान करने में सक्षम होना चाहिए। उन्होंने कहा कि अच्छे अध्यापक को विभिन्न छात्रों की बुद्धि के स्तर के अनुसार विषयों को समझने में मदद कर करनी चाहिए। द्वितीय तकनीकी सत्र आचार्य अजय कुमार अत्री ने लिया। उन्होंने शिक्षण की अवस्थाओं एवं स्तरों की विस्तृत व्याख्या की। डॉ. युद्धवीर एवं डॉ. कनिका हांडा ने व्याख्यान प्रस्तुत किया। शोधार्थी मुकेश कुमार ने विभाग की विस्तृत व्याख्या पीपीटी के माध्यम से प्रस्तुत की कार्यक्रम के संयोजक डॉ. चमन लाल ने सभी आचार्य वर्ग का धन्यवाद प्रेषित किया।
अंतरराष्ट्रीय श्री रेणुका जी मेला के लिए कलाकारों का चयन ऑडिशन के माध्यम से किया जाएगा। ऑडिशन में सिरमौर सहित अन्य जिलों से श्रेणी 'सीÓ व 'डीÓ के कलाकार चयनित किए जायेंगे। कलाकारों के चयन के लिए आगामी 16 नवंबर को प्रात: 9 बजे एसएफडीए सभागार नाहन में ऑडिशन होंगे। अतिरिक्त जिला दंडाधिकारी एवं उपाध्यक्ष श्री रेणुका जी विकास बोर्ड एलआर वर्मा ने आज मंगलवार को नाहन में श्री रेणुका जी मेले की सांस्कृतिक कार्यक्रम आयोजन समिति की बैठक की अध्यक्षता करते हुए यह जानकारी प्रदान की। उन्होंने कहा कि ऑडिशन में चयनित कलाकारों को अंतरराष्ट्रीय श्री रेणुका जी मेला-2023 की सांस्कृतिक संध्याओं में 22 नवंबर से 27 नवंबर तक प्रस्तुतियां देने का अवसर प्रदान किया जाएगा। उन्होंने कहा कि यह ऑडिशन कलाकार चयन समिति की निगरानी में गीत-संगीत के प्राध्यापकों द्वारा की जाएंगी। इच्छुक कलाकारों को 16 नवम्बर को प्रात: 9 बजे निर्धारित स्थल पर पहुंचने के लिए कहा गया है, हालांकि ऑडिशन देर सांय तक चल सकती है। एलआर वर्मा ने कहा कि कलाकारों का पंजीकरण मौके पर ही किया जाएगा। इसके अलावा इच्छुक कलाकार अपना आवेदन जिला भाषा अधिकारी सिरमौर और जिला लोक सम्पर्क अधिकारी सिरमौर को 15 नवंबर तक कर सकते हैं। चयनित कलाकारों को उनके लिए निर्धारित प्रस्तुति की तिथि के अनुसार दूरभाष के माध्यम से एक दिन पूर्व सूचित किया जाएगा। ऑडिशन में भाग लेने वाले कलाकारों को आने-जाने व ठहरने की व्यवस्था स्वयं करनी होगी। उन्होंने कहा कि श्रेणी 'एÓ तथा 'बीÓ के स्थापित कलाकारों का चयन सांस्कृतिक समिति द्वारा उनके आवेदनों तथा पूर्व में गायन के रिकार्ड व अनुभव के आधार पर किया जाएगा। अधिक जानकारी के लिए दूरभाष न. 01702-223115 पर संपर्क किया जा सकता है। इस अवसर पर जिला भाषा अधिकारी कांता नेगी, सहायक लोक संपर्क अधिकारी राजेंद्र सिंह व अन्य संबंधित अधिकारी भी उपस्थित रहे।
हिमाचल प्रदेश के कांगड़ा जनपद में स्थित राजकीय महाविद्यालय शिवनगर की रेंजर्स एवं रोवर्स इकाई द्वारा झंडा दिवस मनाया गया। इस गतिविधि से जुड़े सभी बच्चों ने तिरंगा झंडा लहरा कर समाज और देश सेवा के प्रति अपने संकल्प को दोहराया। इकाई के संयोजक प्रोफेसर योगेश पाण्डेय ने इस दिन की महत्ता पर प्रकाश डाला। प्राचार्य प्रोफेसर उपेंद्र शर्मा ने बच्चों के उत्साह पर उनकी प्रशंसा की और अपने विद्वान अध्यापकों के मार्गदर्शन में समाज सेवा के कार्य में और तल्लीनता से जुटने का आग्रह किया। इस मौके पर प्रोफेसर संजीव शर्मा, प्रोफेसर राजेश कुमार, प्रोफेसर उज्जवल सिंह, प्रोफेसर विवेकानंद शर्मा भी उपस्थित थे।
हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय शिमला के लोक प्रशासन विभाग ने '21वीं सदी में शासन के बदलते प्रतिमान मुद्दे और चुनौतियां' विषय पर एक सह संगोष्ठी का आयोजन किया गया। कार्यक्रम के मुख्य अतिथि प्रो-वाइस-चांसलर प्रोफेसर राजिंदर वर्मा थे, जिन्होंने अपने संदेश में प्रभावी सार्वजनिक सेवा वितरण सुनिश्चित करने के लिए नागरिक केंद्रित शासन की वकालत की। संगोष्ठी में सम्मानित अतिथि अध्ययन संकायाध्यक्ष प्रो. बीके थे। शिवराम ने विशेष रूप से प्रकाश डाला कि शैक्षणिक सुधारों की क्या आवश्यकता है। एचपीयू के रजिस्ट्रार डॉ. वीरेंद्र शर्मा मुख्य वक्ता थे, जिसमें उन्होंने अपने विशाल प्रशासन अनुभव को साझा किया। उन्होंने विश्वविद्यालय स्तर पर आवश्यक विभिन्न प्रशासनिक सुधारों पर भी चर्चा की। डीएसडब्ल्यू, प्रो. श्याम लाल कौशल ने परीक्षा सुधारों और डीन प्लानिंग एंड टीचर्स मैटर्स प्रो. जेएस के बारे में बात की। धीमान ने विश्वविद्यालय प्रशासन में समावेशी उपायों के बारे में बात की। मुख्य वक्ता डॉ. केएल हिमाचल प्रदेश निजी शिक्षा नियामक आयोग के सचिव सैजल ने आपदा प्रबंधन पर विस्तृत प्रस्तुति दी। इस अवसर पर 30 से अधिक शोध पत्र प्रस्तुत किये गये।
जिला दंंडाधिकारी सोलन मनमोहन शर्मा ने दीपावली पर्व के दृष्टिगत सभी की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए पटाखों की बिक्री और प्रयोग के संबंध में एहतियाती उपायों के विषय में आवश्यक आदेश जारी किए हैं। ये आदेश आपराधिक दंड संहिता की धारा 144 के तहत प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए जारी किए गए हैं। इन आदेशों के अनुसार नगर निगम सोलन की परिधि में लोअर बाजार सोलन, चौक बाजार, अप्पर बाजार, लक्कड़ बाजार, गंज बाजार, माल रोड और पुराना बस अड्डा सोलन में पटाखों के भंडारण, बिक्री और प्रदर्शनी पर तुरंत प्रभाव से प्रतिबंध लगाया गया है। यह प्रतिबंध 14 नवंबर तक लागू रहेगा। इन आदेशों के अनुसार नगर निगम सोलन की परिधि में ठोडो मैदान, बाई पास सोलन पर सब्जी मंडी के सामने खुला स्थान, सपरुन सोलन में पुराना नगर नियोजन कार्यालय के समीप बड़ोग बाई पास मार्ग के आरंभ में खुला स्थान, चंबाघाट में वर्षा शालिका के समीप और ब्रूरी में मोहन मीकिन फैक्ट्री के गेट के सामने खुले स्थान पर ही पटाखों की खुदरा बिक्री की जा सकेगी। आदेशों में स्पष्ट किया गया है कि दीपावली त्योहार के समय पटाखों की खुदरा बिक्री के लिए अस्थाई लाइसेंस अथवा परमिट, संबंधित लाइसेंस प्राधिकरण द्वारा जारी किए जाएंगे। इस उद्देश्य के लिए स्थान अथवा स्टॉल नगर निगम सोलन के आयुक्त द्वारा उपमंडलाधिकारी सोलन के परामर्श से पहले आओ-पहले पाओ के आधार पर उपलब्ध करवाए जाएंगे। समक्ष प्राधिकरण द्वारा जारी लाइसेंस धारक को ही पटाखों की बिक्री भंडारण की अनुमति होगी। आदेशों के अनुसार रॉकेट एवं उड़ने वाले पटाखों के प्रयोग पर पूर्ण प्रतिबंध रहेगा। बाजार, सरकारी कार्यालयों एवं भवनों, रसोई गैस संयंत्र के समीप, पेट्रोल पंप, विरासत भवनों एवं आवासों के समीप पटाखों का प्रयोग प्रतिबंधित रहेगा। आदेशों के अनुसार माननीय सर्वोच्च न्यायालय और राष्ट्रीय हरित प्राधिकरण द्वारा पटाखों के संबंध में दिशा-निर्देश तथा हिमाचल प्रदेश सरकार के पर्यावरण, विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग द्वारा जारी निर्देशों का अक्ष:रश पालन सुनिश्चित बनाना होगा। आदेशों के अनुसार केवल पर्यावरण हितैषी पटाखे चलाने की ही अनुमति होगी। दीपावली त्यौहार के दिवस पर पटाखे चलाने के लिए रात्रि 8 बजे से रात्रि 10 बजे तक का समय निर्धारित किया गया है। आदेशों एवं प्रचलित निर्देशों के उल्लंघन पर विधिसम्मत कार्रवाई अमल में लाई जाएगी।
-योजना का लाभ उठाकर जगदीश प्रतिवर्ष कमा रहे 8-10 लाख -मुख्यमंत्री खेत संरक्षण योजना से सत्तर प्रतिशत मिल रहा किसानों को उपदान धर्मशाला। मुख्यमंत्री खेत संरक्षण योजना के तहत सरकार से उपदान पर खेतों के लिए मिली सोलर फेंसिंग की सुविधा किसानों बागबानों के लिए किसी वरदान से कम साबित नहीं हो रही है, फसल और पौधों के सुरक्षा कवच ने खेतों में हरियाली और किसानों के चेहरों पर लाली लौटा दी है। इसी योजना का लाभ उठाकर शाहपुर के सलोल के बागबान जगदीश सैणीे प्रतिवर्ष आठ से दस लाख की आमदनी अर्जित कर अपने परिवार का भविष्य संवार रहे हैं वहीं सोलर फेंसिंग लगाकर पौधों को सुरक्षा कवच प्रदान ही नहीं किया बल्कि अपने दिन रात की मेहनत के फल में निश्चिंतता के रंग भर दिए। जगदीश सैणी उन किसानों के लिए भी प्रेरणा पुंज बने हैं जिन किसानों ने जंगली जानवरों के डर से अपने खेतों को बंजर छोड़ दिया है और सोलर फेसिंग योजना का लाभ उठाकर किसान खेतीबाड़ी की ओर पुन: लौटने लगे हैं। सलोल के बागवान जगदीश चंद सैणी ने बताया कि वह पहले खेतों में सब्जियां उगाकर अपने परिवार का जीवन यापन करते थे लेकिन जंगली जानवरों के कारण उनकी 50 से साठ प्रतिशत फसल बर्बाद हो जाती थी, खेतों की रखवाली के लिए खेतों के चारों तरफ कटीली झाड़ियों का बाड़ लगाया करते थे, लेकिन इसे जंगली जानवर तोड़कर खेतों में प्रवेश कर जाया करते थे और फसलें नष्ट कर देते थे। जिसके कारण उनको काफी नुक्सान उठाना पड़ता था। उन्होंने बताया कि मुख्यमंत्री खेत संरक्षण योजना के बारे में जब कृषि विभाग के विशेषज्ञों ने उनको खेतों की फेंसिंग के लिए सत्तर प्रतिशत अनुदान के बारे में जानकारी दी तो तो उन्होंने इस योजना का लाभ उठाते हुए 50 कनाल में सात सौ मीटर के लगभग पांच लाख की लागत से सोलर फेंसिंग करवाई जिसमें 95 हजार रूपये खर्च किए जबकि सरकार की ओर से 4 लाख 5 हजार का अनुदान दिया गया तथा उन्होंने अपने 50 कनाल के खेत में 2000 पौधे नींबू, 800 पौधे गलगल, 200 पौधे मौसमी के लगाए हैं। इसके अलावा सरकार की ओर से दो बोरबेल तथा ड्रिप ईरिगेशन के लिए उपदान भी दिया गया। उन्होंने कहा कि सोलर फेंसिंग के कारण पौधों को जंगली जानवर किसी भी तरीके का नुक्सान नहीं पहुंचा रहे हैं। जगदीश सैणी ने बताया कि अब वर्ष में पांच से छह लाख रूपये के करीब नींबू तथा तीन से पांच लाख के करीब गलगल बेचकर अपना जीवन यापन कर रहे हैं तथा इनकी फसल को खेतों से खरीद लिया जाता है। जगदीश सैणी ने कहा कि सभी किसानों को इस योजना का लाभ उठाकर किसान जंगली जानवरों से चिंतामुक्त होकर अपनी खेती से बेहतर आमदनी अर्जित कर सकते हैं तथा बंजर भूमि का भी सही उपयोग हो सकेगा। उपायुक्त डॉ. निपुण जिंदल ने कहा कि कृषि में स्वरोजगार की असीम संभावनाएं हैं तथा सरकार की ओर से किसानों की उन्नति के लिए विभिन्न योजनाएं क्रिर्यान्वित की जा रही हैं इन योजनाओं का लाभ सभी किसानों तक पहुंचाने के लिए कृषि विभाग के अधिकारियों को व्यापक प्रचार प्रसार सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए हैं। उन्होंने कहा कि सरकार की ओर से किसानों की आमदनी दुगुनी करने के लिए आरंभ की गई हिम उन्नति योजना के तहत भी किसानों को कृषि विभाग की तरफ से आवश्यक सुविधाएं उपलब्ध करवाई जा रही हैं। उप निदेशक राहुल कटोच ने कहा कि मुख्यमंत्री खेत संरक्षण योजना के तहत फसलों को जंगली जानवरों तथा पशुओं से बचाने के लिए सरकार की ओर से सोलर फेंसिग के लिए सत्तर प्रतिशत अनुदान प्रदान किया जा रहा है तथा कांगड़ा जिला में किसानों को खेत संरक्षण योजना के बारे में जागरूक भी किया जा रहा है ताकि किसान अपनी फसल को बचा सकें और अच्छी आमदनी अर्जित कर सकें। उन्होंने कहा कि खेत संरक्षण योजना का लाभ लेने के लिए एग्रीडीबीटी ऑनलाइन पोर्टल पर आवेदन कर सकते हैं।
राजकीय महाविद्यालय ढलियारा की रोवर्स रेंजर्स इकाई द्वारा भारत स्काउट एवं गाइड का 74वां स्थापना दिवस बड़े हर्षोल्लास के साथ मनाया गया। कार्यक्रम की अध्यक्षता महाविद्यालय प्राचार्य डॉ. अंजू रानी चौहान ने की। इस अवसर पर रोवर्स रेंजर्स द्वारा ध्वजारोहण किया गया। अपने अध्यक्षीय भाषण में प्राचार्य ने स्काउटिंग का महत्व बताते हुए रोवर्स रेंजर्स को इसमें अपनी अधिक से अधिक भूमिका निभाने का आह्वान किया। रोवर्स एवं रेंजर्स इकाई द्वारा भाषण, पोस्टर मेकिंग, प्रश्नोत्तरी, पायनरिंग आदि प्रतियोगिताओं का आयोजन करवाया गया, जिसमें सभी विद्यार्थियों ने बढ़-चढ़कर भाग लिया। रेंजर्स लीडर प्रो. वंदना राणा ने समस्त रोवर्स एवं रेंजर्स को स्थापना दिवस की बधाई दी तथा भारत स्काउट एवं गाइड की भूमिका बताते हुए समस्त रोवर्स रेंजर्स को स्काउटिंग के प्रति उनके कर्तव्यों को बताते हुए स्काउटिंग में अधिक अधिक भाग लेने को कहा। इस अवसर पर प्रो. सुनीता शर्मा, रेंजर लीडर प्रो. शर्मीता, रोवर लीडर प्रो. सतपाल तथा प्रो. कपिल, प्रो. अक्षय, कार्यालय अधीक्षक ओंकार चांद डोगरा उपस्थित रहे।